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गुवाहाटी: आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने गुरुवार को कहा कि हमारा देश एक है।समस्याओं के समाधान के लिए समाज का एकजुट होना जरूरी है। सभी को एक साथ मिलकर काम करना होगा। मोहन भागवत ने यह बात असम के माजुली के उत्तरी कमला बारी सत्र में आयोजित "पूर्वोत्तर संत मणिकंचन सम्मेलन- 2023" में कही। आरएसएस प्रमुख ने कहा, "हमारा देश एक है, यहां विभिन्न समुदाय हैं, लेकिन जिसे हम 'धर्म' कहते हैं, वह सभी के लिए समान है। यह मानवता है, यह 'सनातन धर्म' है। यह जरूरी है कि हमारा समाज एकजुट हो और एकजुट होकर अपनी समस्याओं का समाधान करे।"

भारत की परंपरा सर्व-समावेशी

आरएसएस प्रमुख ने कहा, "भारत की 'संस्कृति' 'एकम सत् विप्रा बहुधा वदन्ति' (सत्य एक है लेकिन बुद्धिजीवियों द्वारा इसे अलग-अलग तरीके से प्रकट किया जाता है) के माध्यम से प्रतिबिंबित होती है। यह सर्व-समावेशी परंपरा केवल भारत में मौजूद है।"

गुवाहाटी: असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने भगवद गीता के एक 'श्लोक' के गलत अनुवाद के लिए माफी मांगी है। गीता के इस 'श्लोक' के गलत अनुवाद को लेकर विवाद पैदा हो गया था, जिससे बाद असम के सीएम ने माफी मांगी है। गीता के श्‍लोक से जुड़ी 'एक्स' पर हिमंता बिस्‍वा सरमा की पोस्ट ने उन्हें विपक्ष के निशाने पर ला दिया था... कई नेताओं ने उन पर जाति विभाजन को बढ़ावा देने का आरोप लगाया था। हिमंता बिस्‍वा सरमा ने बताया कि यह श्लोक उनकी टीम द्वारा फालोअर्स के साथ प्रतिदिन एक गीता 'श्लोक' साझा करने के ट्रेडिशन को बनाए रखने के लिए उनके एक्स अकाउंट पर पोस्ट किया गया था।

गलती का अहसास होते ही पोस्‍ट हटाई

हिमंता बिस्‍वा सरमा ने कहा, "नियमित तौर पर मैं हर सुबह अपने सोशल मीडिया हैंडल पर भगवद गीता का एक श्लोक अपलोड करता हूं। अब तक, मैंने 668 श्लोक पोस्ट किए हैं। हाल ही में मेरी टीम के एक सदस्य ने अध्याय 18 श्लोक 44 से एक श्लोक गलत अनुवाद के साथ पोस्ट किया है।" भाजपा नेता ने कहा कि गलती का एहसास होते ही उन्होंने ट्वीट हटा दिया।

गुवाहाटी: असम के राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया ने न्याय प्रणाली से जुड़े लोगों से वंचितों के लिए न्याय सुनिश्चित करने का आह्वान किया है। एक आधिकारिक बयान के अनुसार, राज्यपाल ने शनिवार को यहां गुवाहाटी उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन के ‘प्लैटिनम जुबली’ समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि बार एसोसिएशन को कमजोर और वंचितों को कानूनी सेवाएं प्रदान करने को प्राथमिकता देनी चाहिए और न्याय प्रणाली से जुड़े लोगों को वंचितों के लिए न्याय सुनिश्चित करना चाहिए।

कटारिया ने गुवाहाटी उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन की सेवाओं की सराहना करते हुए कहा कि इसने ऐसे वकील तैयार किए हैं जिन्होंने न केवल न्यायिक प्रणाली के शिखर पर काम किया है बल्कि कानूनी सेवाओं के व्यापक विस्तार में भी योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि यह एसोसिएशन व्यक्तिगत अधिकारों के उल्लंघन के खिलाफ सुरक्षा मुहैया कराने का काम करती है और यह सुनिश्चित करती है कि गलत काम करने वालों को उनके कृत्यों के लिए उचित सजा मिले।

गुवाहाटी: असम में लगभग 1,300 मिडिल इंग्लिश (एमई) मदरसों को तत्काल प्रभाव से सामान्य एमई स्कूलों में तब्दील कर दिया गया है। राज्य सरकार की ओर से एक आदेश में यह जानकारी दी गई। मिडिल इंग्लिश (एमई) मदरसे अंग्रेजी माध्यम में शिक्षा उपलब्ध कराते हैं।

प्राथमिक शिक्षा विभाग की निदेशक सुरंजना सेनापति द्वारा बुधवार को जारी आदेश में कहा गया है कि प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय के तहत राज्य भर में 1,281 उच्च प्राथमिक एमई मदरसों को तत्काल प्रभाव से एमई स्कूल के रूप में जाना जाएगा।

इससे पहले अप्रैल 2021 में, मदरसा बोर्ड के तहत सभी 610 राज्य संचालित मदरसों को उच्च प्राथमिक, उच्च और उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में परिवर्तित कर दिया गया था। लेकिन, इसमें शिक्षण और गैर-शिक्षण कर्मचारियों की स्थिति, वेतन, भत्ते और सेवा शर्तों में कोई बदलाव नहीं होगा।

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