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नई दिल्ली: जेएनयू में देशविरोधी नारे लगाने के आरोपी उमर, अनिर्बान को अदालत ने तीन दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया है। दिल्ली पुलिस ने छात्रों की सात दिन की पुलिस रिमांड मांगी थी। देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तार उमर खालिद और अनिर्बान भट्टाचार्य से आरकेपुरम थाने में पुलिस ने बुधवार को लगभग दस घंटे तक पूछताछ की। इस पूछताछ के दौरान उन्होंने कई सवालों के जवाब दिए और कई सवालों पर चुप्पी साधे रखी। कई सवालों के जवाब उसने कन्हैया एवं अन्य आरोपियों पर टाल दिए। सूत्रों की माने तो पूछताछ के दौरान उसने कबूल किया है कि वह अफजल गुरु से प्रभावित है। लेकिन वह आतंकी नहीं है और देश विरोधी नारों का समर्थन नहीं करता। पुलिस सूत्रों के अनुसार आयोजन को लेकर जब खालिद से पूछा गया तो उसने बताया कि इसकी अनुमति उसने ली थी। छात्रों ने अनुमति का काम उसे सौंपा था। उससे पुलिस ने कार्यक्रम में मौजूद पोस्टर एवं बैनरों के बारे में पूछा। उसने बताया कि यह पोस्टर एवं बैनर बनवाने की जिम्मेदारी उसे मिली थी।

नई दिल्ली: जेएनयू के छात्र उमर खालिद और अनिर्बान भट्टाचार्य ने राष्ट्रविरोधी नारे लगाने की बात से इनकार किया है। उन पर परिसर में कथित रूप से देश के खिलाफ नारे लगाने का आरोप है। पुलिस ने उन छात्रों से पांच घंटें तक पूछताछ की है। पुलिस सूत्रों से यह जानकारी मिली है। खालिद और भट्टाने मंगलवार देर रात पुलिस के सामने समर्पण कर दिया। वहीं, आशुतोष कुमार, रामा नागा और अनंत प्रकाश नारायण पर भी यही आरोप हैं और उन्होंने अभी तक समर्पण नहीं किया है। सूत्रों के मुताबिक, हिरासत में छात्रों ने पुलिस को बताया कि कार्यक्रम अव्यवस्थित था और बिना अनुमति के किया गया और हो सकता है कि भीड़ में किसी ने अलगाववाद के समर्थन में नारे लगाए हों। मामले की जांच से जुड़े एक अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, 'आशुतोष ने कार्यक्रम के लिए पोस्टर और बैनर का इंतजाम किया था, जबकि रियाज ने फैसला किया कि कार्यक्रम के दौरान नारेबाजी की जाए।

नई दिल्ली: दिल्ली के उप राज्यपाल नजीब जंग ने जेएनयू छात्र संघ के नेता कन्हैया कुमार के मामले में पुलिस का प्रतिनिधित्व करने के लिए चार वकीलों की नियुक्ति की और आप सरकार के वकील राहुल मेहरा को इस मामले से हटा दिया। इस मुद्दे को लेकर उप राज्यपाल और आप सरकार के बीच नए सिरे से सियासी जंग शुरू हो सकती है। संयुक्त आयुक्त (दक्षिण-पूर्व) को भेजे पत्र में उप राज्यपाल के कार्यालय ने अनिल सोनी को दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 24(8) के तहत वकील नियुक्त करने को मंजूरी दी है। सोनी के अलावा तुषार मेहता, संजय जैन और शैलेंद्र बब्बर को भी नया वकील नियुक्त किया गया है।

नई दिल्ली: हैदराबाद विवि के छात्र रोहित वेमुला को न्याय दिलाने के लिए मंगलवार को देशभर के हजारों छात्र राजधानी पहुंचे। इस हुजूम में विभिन्न वाम व दलित संगठनों के अलावा जेएनयू के छात्र, शिक्षक और अन्य संगठनों के लोग शामिल हुए। पुलिस की चाक चौबंद व्यवस्था में प्रदर्शनकारियों ने अम्बेडकर भवन से जंतर-मंतर तक शांतिपूर्ण तरीके से जस्टिस फॉर रोहित मार्च निकाला। प्रदर्शनकारी रोहित वेमुला को इंसाफ दिलाने के अलावा जेएनयू के छात्र कन्हैया की रिहाई सहित दोषी हैदराबाद विवि कुलपति और केंद्रीय मंत्री स्मृति पर कार्रवाई की मांग कर रहे थे। छात्रों की रैली का समर्थन करने जंतर-मंतर में कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल भी पहुंचे। रैली में रोहित वेमुला के परिजनों के अलावा वृंदा करात, उमर खालिद के पिता डॉ सैयद कासिम उसूल ने भी हिस्सा लिया।

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