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संविधान ने देश में बदलाव लाने में उल्लेखनीय मदद की: सीजेआई खन्ना

कोलकाता: भाजपा को रोकने के लिए माकपा तृणमूल कांग्रेस से किसी प्रकार का समझौता नहीं कर सकती। एक बार फिर माकपा के महासचिव सीताराम येचुरी ने यह साफ कर दिया। सीताराम येचुरी ने कहा है कि देश में भाजपा को रोकने के लिए विपक्ष की एकता के नाम पर पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस से हाथ मिलाने का सवाल ही नहीं उठता है। आरोप के अनुसार भाजपा के नेतृत्व में केंद्र सरकार देश में और ममता बनर्जी की अगुवाईवाली तृणमूल कांग्रेस सरकार पश्चिम बंगाल में समान रूप से लोकतंत्र की हत्या कर रही हैं।

माकपा के वरिष्ठ नेता ने दावा किया है कि माकपा अगले साल लोकसभा चुनाव में ममता और मोदी नेतृत्ववाले दोनों दलों को हरायेगी, जबकि केरल में माकपा कांग्रेस को मात देगी। माकपा की इस रणनीति से भाजपा को सत्ता में आने से रोकने के लिए विपक्षी दलों की एकजुटता को झटका लगने और माकपा के अलग-थलग पड़ने के सवाल पर येचुरी ने कहा, अतीत में भी भाजपा को रोकने के लिए अब तक बने सभी मोर्चे चुनाव के बाद गठित हुए। हाल ही में कर्नाटक में भी चुनाव परिणाम आने के बाद ही यह गठजोड़ बना।

कोलकाता: पंचायत चुनाव में मतदान के दिन मारे गये लोगों के परिजनों को राज्य सरकार की ओर से दो-दो लाख रुपये का मुआवजा दिया जायेगा। इसके अलावा, मतदान प्रक्रिया के दौरान मारे गये प्रीसाइडिंग ऑफिसर राजकुमार राय के परिजन को भी पांच लाख रुपये का मुआवजा व अधिकारी की पत्नी को सरकारी नौकरी दी जायेगी। यह जानकारी शुक्रवार को राज्य सचिवालय की ओर से दी गयी।

इससे पहले, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गुरुवार को ही राज्य सचिवालय से निकलते वक्त कहा था कि पंचायत चुनाव के दौरान हुई हिंसा में मारे गये लोगों को राज्य सरकार द्वारा मुआवजा दिया जायेगा। शुक्रवार को मुअावजे की राशि की घोषणा की गयी. मुख्यमंत्री ने रायगंज में मारे गये प्रीसाइडिंग अधिकारी राजकुमार राय की पत्नी से फोन पर बात की और आश्वस्त किया कि राज्य सरकार उनके साथ है। उन्हें हर संभव मदद करने को तैयार है।

उल्लेखनीय है कि राजकुमार राय, उत्तर दिनाजपुर जिले के रायगंज में सोनापुर प्राथमिक विद्यालय के 48 नंबर बूथ पर ड्यूटी पर तैनात थे। राज्य सरकार ने पंचायत चुनाव के मतदान के दिन हिंसा में मारे गये 14 लोगों के परिजनों को दो-दो लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की है।

कोलकाता: पश्चिम बंगाल पंचायत चुनावों में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस शानदार जीत की ओर बढ़ रही है। देर रात एक बजे तक घोषित नतीजों के अनुसार, तृणमूल कांग्रेस ने 20,848 सीटों पर कब्जा जमाया है जबकि भाजपा मुख्य प्रतिद्वंद्वी दल के रूप में उभरी है। माकपा तीसरे स्थान और कांग्रेस चौथे नंबर पर है। राज्य निर्वाचन आयोग के सूत्रों ने बताया कि तृणमूल कांग्रेस 148 ग्राम पंचायत सीटों पर आगे चल रही है। उन्होंने बताया कि भाजपा ने 5,636 सीटें जीती हैं और 21 सीटों पर बढ़त बना रखी है। प्रदेश भाजपा के वरिष्ठ नेता के अनुसार, पिछले दस वर्षों में यह पहली बार है कि पार्टी ने राज्य के हर जिले में ग्राम पंचायत स्तर पर सीटें जीती हैं।

सूत्रों ने बताया कि माकपा इस बार तीसरे नंबर पर खिसक गई। वर्ष 2013 में हुए पंचायत चुनावों में उसने दूसरा स्थान हासिल किया था। माकपा ने 1,461 ग्राम पंचायत सीटें जीती हैं और वह 10 सीटों पर आगे चल रही है। कांग्रेस 1,033 सीटें जीतकर चौथे स्थान पर है और दस पर आगे चल रही है। यह संख्या निर्दलीयों द्वारा जीती गई सीटों से भी कम है। निर्दलीय प्रत्याशियों ने 1,794 ग्राम पंचायत सीटों पर जीत हासिल की है और 18 सीटों पर आगे चल रहे हैं।

कोलकाता: राज्य में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने दोपहर 12 बजे तक आए परिणामों के मुताबिक ग्राम पंचायत की 2,467 सीटें जीत लीं हैं। राज्य निर्वाचन आयोग के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। आयोग के अधिकारियों ने बताया कि भाजपा ने ग्राम पंचायत की 386 सीटें और माकपा ने 94 सीटें जीती। तृणमूल ने 2,467 सीटें जीती और 2,683 सीटों पर वह आगे चल रही है।

अधिकारी ने बताया कि भाजपा ने 386 सीटें जीती हैं और वह 231 सीटों पर आगे चल रही है जबकि माकपा ने 94 सीटें जीती हैं और वह 163 सीटों पर आगे चल रही है। कांग्रेस ने 33 सीटें जीती है और वह 55 सीटों पर आगे चल रही है। उनके मुताबिक 158 सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवार विजेता रहे हैं और 163 सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवार ही आगे चल रहे हैं।

पंचायत समिति की सीटों के लिए उपलब्ध हाल के रूझान के मुताबिक तृणमूल 14 सीटें जीत चुकी है और 24 सीटों पर आगे चल रही है। जबकि अन्य दल पंचायत समिति सीटों पर अपना खाता भी नहीं खोल पाई हैं। तृणमूल जिला परिषद की 24 सीटों पर आगे चल रही है।

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