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नई दिल्ली: बंगाल में भाजपा को विधानसभा चुनाव में सीधे मुकाबले में हराने के बाद से विपक्ष का चेहरा बनीं ममता बनर्जी नई तैयारियों में जुट गई हैं। वह देश भर में विपक्षी मुख्यमंत्रियों का एक साझा मोर्चा बनाने की तैयारी कर रही हैं। तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन ने रविवार रात को इस बात की जानकारी दी। स्टालिन ने ट्वीट किया, 'ममता बनर्जी ने मुझसे फोन पर बात की और इस बात पर दुख जताया कि कैसे गवर्नर राज्यों में अपने अधिकारों का बेजा इस्तेमाल कर रहे हैं और संवैधानिक मर्यादा को लांघने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने विपक्षी मुख्यमंत्रियों की एक मीटिंग का सुझाव दिया है। मैंने उन्हें भरोसा दिलाया है कि डीएमके राज्यों की स्वायत्ता के मामले में साथ है।' यही नहीं एमके स्टालिन ने ट्वीट कर यह भी बताया कि दिल्ली में जल्दी ही गैर-भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों की एक बैठक होगी।

उधर, तेलंगाना के चीफ मिनिस्टर के. चंद्रशेखर राव ने भी बताया कि वह जल्दी ही महाराष्ट्र जाने वाले हैं और अपने समकक्ष उद्धव ठाकरे से मुलाकात करेंगे।

चेन्नई: कर्नाटक में हिजाब विवाद के बीच तमिलनाडु में धोती विवाद को लेकर मामला गर्म है। कुछ लोगों ने ड्रेस कोड से संबंधित विवाद उठाए हैं और यह पूरे भारत में फैल रहा है। इस बीच मंदिरों में गैर हिन्दुओं के प्रवेश पर पांबदी लाने के संबंध में मद्रास उच्च न्यायालय ने गुरुवार को सुनवाई की। याचिकाकर्ता ने मांग की है कि सरकार को मंदिरों में प्रवेश करने के लिए एक ड्रेस कोड निर्धारित करने का आदेश देना चाहिए। कोर्ट ने मामले में टिप्पणी की कि सर्वोपरी क्या है, देश या धर्म?

गुरुवार को मद्रास हाई कोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश एमएन भंडारी और न्यायमूर्ति डी भरत चक्रवर्ती की पीठ ने कहा "यह वास्तव में चौंकाने वाला है, कोई 'हिजाब' के लिए कोर्ट जा रहा है, कोई 'टोपी' के लिए और कुछ अन्य चीजों के लिए जा रहे हैं। क्या यह एक देश है या यह धर्म से विभाजित है या कुछ और? यह काफी आश्चर्यजनक है।" धर्मनिरपेक्ष भारत को रेखांकित करते हुए कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश भंडारी ने कहा, "वर्तमान मामलों से जो सामने आ रहा है वह धर्म के नाम पर देश को विभाजित करने के प्रयास के अलावा और कुछ नहीं है। सर्वोपरि क्या है? देश या धर्म?"

चेन्नई: सरकार के एक विधेयक को 'ग्रामीण और आर्थिक रूप से पिछड़े छात्रों के हितों के खिलाफ' बताते हुए तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि ने राष्ट्रीय प्रवेश सह पात्रता परीक्षा (नीट) से छूट देने के प्रावधान वाले इस विधेयक को राज्य सरकार को लौटा दिया है। राजभवन की तरफ से जारी एक बयान में इस बात की जानकारी देते हुए कहा गया है कि राज्यपाल ने विधेयक और इस संबंध में राज्य सरकार की गठित एक उच्च स्तरीय समिति की रिपोर्ट विधानसभा अध्यक्ष एम अप्पावु को लौटा दी है।

राज्यपाल ने तर्क दिया है कि यह विधेयक ग्रामीण और आर्थिक रूप से पिछड़े छात्रों के हितों के खिलाफ है। राजभवन के बयान के मुताबिक, राज्यपाल ‘स्नातक चिकित्सा पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए नीट से छूट देने से संबंधित साल 2021 के एलए बिल संख्या 43 और इस संबंध में राज्य सरकार की गठित उच्च स्तरीय समिति की रिपोर्ट का विस्तृत अध्ययन करने और सामाजिक व आर्थिक रूप से पिछड़े छात्रों के लिए मेडिकल प्रवेश में सामाजिक न्याय की नीट पूर्व स्थिति पर गौर करने के बाद इस निष्कर्ष पर पहुंचे हैं कि यह विधेयक छात्रों, खासकर ग्रामीण और आर्थिक रूप से पिछड़े छात्रों के हितों के खिलाफ है।'

चेन्नई: तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई के तीन बड़े सरकारी मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों में 50 से ज्यादा डॉक्टर और स्वास्थ्य कर्मचारी कोविड-19 पॉजिटिव पाए गए हैं। उत्तरी चेन्नई के स्टेनली मेडिकल कॉलेज में ऊटी और कूर्ग की यात्रा पर गए कम से कम 30 मेडिकल छात्रों को कोरोना वायरस परीक्षण में संक्रमित पाया गया है। इसी कॉलेज कैंपस में दो पोस्ट ग्रेजुएट डॉक्टर और सात नर्स समेत 14 अन्य स्टाफ सदस्य भी संक्रमित हुए हैं।

स्टेनली कॉलेज के एक मेडिकल छात्र विरुधागिरी ने कहा, "हम सभी क्वारंटीन में हैं और अलग-थलग हैं. सभी सुरक्षित हैं। हमारे सभी संपर्कों की भी पहचान कर ली गई है और अगर वे पॉजिटिव हैं तो उन्हें भी आइसोलेट कर दिया जाएगा।"

शहर के बीच में स्थित किलपौक मेडिकल कॉलेज अस्पताल में पिछले एक सप्ताह में कम से कम 12 डॉक्टरों को कोविड पॉजिटिव पाया गया है। पिछले महीने शहर के राजीव गांधी मेडिकल हॉस्पिटल में भी 50 स्वास्थ्यकर्मी कोविड पॉजिटिव पाए गए थे।

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