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हैदराबाद: रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने सोमवार को कहा कि शिक्षा देश प्रेम और व्यक्त्तिव विकास के मूल्यों को देने वाली चाहिए और देश के बारे में खराब बोलना अच्छी शिक्षा नहीं है। उन्होंने कहा, ‘वह (व्यक्त्तिव विकास) बहुत अहम पहलू है। मुझे तब बहुत ताज्जुब हुआ जब (एक कार्यक्रम में) महिलाएं एवं लड़कियां खड़ी हुईं और ‘वंदे मातरम’ कहनें लगीं। मुझे खुशी हुई। क्योंकि ‘वंदे मातरम’ राष्ट्र की भावना का पहला संकेत देता है।’ पर्रिकर ने कहा, ‘जब कुछ गलत होता है यहां तक कि कश्मीर में भी तो आप को बुरा लगता है। जब कुछ अच्छा होता है, तो आप प्रफुल्लित महसूस करते हैं। देश को इस पहलू की भी जरूरत है। अन्यथा आपके पास ऐसे लोग भी हैं जो विश्वविद्यालयों में देश के बारे में खराब बोलते हैं। मैं उसे वास्तव में अच्छी शिक्षा नहीं समझता हूं।’ पर्रिकर स्वर्ण भारत ट्रस्ट की हैदराबाद इकाई के उद्घाटन समारोह में बोल रहे थे। इस न्यास को केंद्रीय मंत्री एम वैंकेया नायडू के परिवार के सदस्य और अन्य चलाते हैं। कौशल विकास की अहमियत को रेखांकित करते हुए उन्होंने कहा कि नौकरी की तलाश करने वाले कई लोगों को रोजगार नहीं मिलता है क्योंकि उनके पास जरूरी हुनर नहीं हेाता है। रक्षा मंत्री ने कहा, ‘ज्यादातर वक्त मैं देखता हूं कि नौकरियों की कमी नहीं है। बेरोजगार युवकों की भी कमी नहीं है। फिर क्या नहीं है? कड़ी नहीं है। बुनियादी तौर पर बेरोजगारों के पास मौजूदा संभावित नौकरी में काम करने के लिए ज्ञान या हुनर नहीं होता है।’

हैदराबाद: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी दक्षिण में अपने वार्षिक प्रवास के तहत दस दिन के लिए गुरुवार को यहां पहुंचे। राज्यपाल ईएसएल नरसिंहन, तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव और राज्य के कैबिनेट मंत्रियों के साथ केंद्रीय मंत्री बंडारू दत्तात्रेय तथा वरिष्ठ अधिकारियों ने हाकिमपेट एयरफोर्स स्टेशन पर राष्ट्रपति की अगवानी की। मुखर्जी यहां राष्ट्रपति निलयम में ठहरेंगे जो 1860 में निजाम शासन के समय में बनाया गया महल है। अब इस 90 एकड़ में फैले परिसर में छुट्टियों के दौरान राष्ट्रपति ठहरते हैं। राष्ट्रपति कल सिकंद्राबाद में आर्मी कॉलेज ऑफ डेंटल साइंस के दीक्षांत समारोह में शिरकत करेंगे। वह फेडरेशन ऑफ तेलंगाना और आंध्र प्रदेश चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के शताब्दी समारोहों को भी संबोधित करेंगे। वह 24 दिसंबर को यहां महिला दक्षता समिति और बंसीलाल मालानी कॉलेज ऑफ नर्सिंग का उद्घाटन करेंगे। एक सरकारी विज्ञप्ति के अनुसार अगले दिन वह बेंगलूरू जाएंगे और निखिल भारत बंग साहित्य सम्मेलन के 89वें वार्षिक सम्मेलन का उद्घाटन करेंगे। राष्ट्रपति 26 दिसंबर को यहां मौलाना आजाद राष्ट्रीय उर्दू विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह में शामिल होंगे और 29 दिसंबर को तिरवनंतपुरम में भारतीय इतिहास कांग्रेस के 77वें सत्र का शुभारंभ करेंगे। वह मैसूरू भी जाएंगे जहां भारत स्काउट और गाइड्स के 17वें अधिवेशन का उद्घाटन करेंगे।

हैदराबाद: हैदराबाद के शहर में कालाधन के खिलाफ कार्रवाई करते हुए आयकर विभाग ने दो हजार के नए नोटों में 66 लाख रुपये जब्त किए हैं। पहली घटना यहां के हिमायतनगर में तेलुगू अकादमी में रिपोर्ट की गई। 16 दिसंबर की रात को आयकर विभाग (आई-टी) के दल ने कुछ लोगों को पकड़ा, जो उन्हें देखते ही पास के एक अपार्टमेंट घुस गए थे। Ads by ZINC आई-टी सूत्रों ने बताया, ‘अपार्टमेंट की तलाशी लेने पर 2,000 के नोटों में 36 लाख रुपये नकद बरामद किए गए। नकद के स्रोत की जांच की जा रही है।’ दूसरा मामला भी हिमायतनगर से ही है। 17 दिसंबर को पुलिस के साथ विभाग के जांचकर्ताओं ने यहां के टैंक बंड इलाका में एक तेज गति से आती होंडा एक्टिवा को पकड़ा। उन्होंने बताया, ‘अधिकारियों ने उसमें से दो व्यक्तियों के पास से 2,000 के नोटों में 30 लाख रुपये नकद बरामद किए। मामले में जांच जारी है।’

हैदराबाद: विपक्ष के विधायकों के दल बदल कर सत्तारूढ़ तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) में शामिल होने के मुद्दे पर बहस कराने की मांग करने पर आज (शनिवार) कांग्रेस और तेदेपा के करीब एक दर्जन सदस्यों को तेलंगाना विधानसभा से निलंबित कर दिया गया। विपक्ष के सदस्यों के विधानसभा अध्यक्ष के आसन के पास पहुंचने के साथ कांग्रेस के नौ और तेदेपा के दो विधायकों को दिन भर के लिए निलंबित कर दिया गया। निलंबन के बाद कांग्रेस के विधायक एम बी विक्रमरका ने आरोप लगाया कि उनका निलंबन और विपक्ष के सदस्यों का कथित रूप से दल बदल कर टीआरएस में शामिल होना लोकतंत्र के सिद्धांतों के खिलाफ है। सत्तारूढ़ टीआरएस की विधायक जी सुनीता ने संवाददाताओं से कहा कि कांग्रेस सदस्यों ने सदन को बाधित करने की कोशिश की क्योंकि वे नहीं चाहते कि सरकार द्वारा किए जा रहे अच्छे काम पर सदन में चर्चा हो। उन्होंने कहा कि फैसला हुआ था कि प्रश्नकाल के बाद कोई भी स्थगन प्रस्ताव उठाया जाएगा लेकिन कांग्रेस के विधायकों ने कार्यवाही बाधित करने की कोशिश की। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस और तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) ने दोहरा मापदंड अपनाया है क्योंकि पड़ोस के आंध्र प्रदेश में विपक्षी वाईएसआर कांग्रेस के सदस्य सत्तारूढ़ तेदेपा में शामिल हुए और अविभाजित आंध्र प्रदेश में तत्कालीन मुख्यमंत्री वाई एस राजशेखर रेड्डी के कार्यकाल में कांग्रेस में विपक्ष के सदस्यों को शामिल किया गया था।

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