उन्नाव: बढ़ रहे अपराधों की वजह से यूपी का उन्नाव जिला चर्चा का विषय बना हुआ है। उन्नाव पुलिस के दामन में नाकामी के दाग कई बार लग चुके हैं। एक बार फिर उन्नाव पुलिस का अमानवीय चेहरा सामने आया है। यहां दुष्कर्म पीड़िता की मौत के बाद बिहार थानाक्षेत्र के गांव में पहुंचे नेताओं व अधिकारियों के सामने शनिवार को एक और महिला अपनी शिकायत लेकर पहुंची। महिला ने पत्रकारों के सामने आकर बताया कि उसके साथ भी कुछ समय पूर्व छेड़खानी की घटना हुई थी। कुछ लोगों ने उसके साथ दुष्कर्म करने का प्रयास किया था। इस पर वह अपनी शिकायत लेकर पहले बिहार थाने गई। न्याय न मिलने पर पुलिस अधीक्षक के पास भी गई थी लेकिन उसकी अब तक रिपोर्ट दर्ज नहीं हो सकी है। महिला का कहना था कि उसे थाने से हर बार भगा दिया गया और कहा गया कि जब दुष्कर्म हो जाए तब आना।
बताते चले कि उन्नाव जिले के एक गांव में रहने वाली सामूहिक दुष्कर्म पीड़िता को गुरुवार सुबह पांच युवकों ने पेट्रोल डालकर जला दिया। नई दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में इलाज के दौरान शुक्रवार रात पीड़िता की मौत हो गई थी। कड़ी सुरक्षा के बीच रविवार को पीड़िता को दफनाया गया।
इस मामले में भी उन्नाव पुलिस सवालों के घेरे में है। पिता ने पुलिस पर आरोप लगाते हुए कहा कि मेरी बेटी न्याय के लिए थाने के चक्कर काटती रही लेकिन उसे मौत मिली। इससे पहले विधायक कुलदीप सेंगर प्रकरण भी चर्चा में रहा। विधायक पर गांव की ही युवती पर दुष्कर्म का आरोप है।
पीड़िता के परिवार ने इस मामले में पुलिस पर कई बार सवाल उठाए कि पुलिस ने आरोपियों का प्रभाव देखते हुए समय पर सुनवाई नहीं की। पीड़िता परिवार थाने के चक्कर काटता रहा लेकिन उनकी एक न सुनी गई। इस मामले में पीड़िता अभी तक न्याय के इंतजार में है।