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नागपुर: केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने शनिवार को नागपुर में एक समोराह के दौरान प्रधानमंत्री पद को लेकर नया खुलासा किया। उन्होंने कहा कि एक नेता ने उनके सामने यह प्रस्ताव रखा था कि अगर वे प्रधानमंत्री बनते हैं तो उनका समर्थन किया जाएगा। हालांकि, गडकरी ने यह खुलासा नहीं किया कि प्रस्ताव रखने वाले नेता किस पार्टी से थे।

'मैं आपसे समर्थन क्यों लूंगा?': गडकरी

गडकरी ने विदर्भ गौरव प्रतिष्ठान के कार्यक्रम में कहा, ''एक घटना मुझे याद आती है। एक नेता थे। मैं उनका नाम नहीं बताऊंगा। उन्होंने मुझसे कहा कि अगर आप प्रधानमंत्री बनते हैं तो हम आपका समर्थन करेंगे। तब मैंने उनसे कहा कि आप मेरा समर्थन क्यों करेंगे? और मैं आपसे समर्थन क्यों लूंगा? प्रधानमंत्री बनना मेरे जीवन का लक्ष्य नहीं है। मैं अपनी संस्था और अपने दृढ़ विचारों के लिए प्रतिबद्ध हूं। मैं किसी पद के लिए उससे समझौता नहीं करूंगा। मेरा दृढ़ संकल्प मेरे लिए सर्वोपरि है। मुझे लगता है कि दृढ़ निश्चय होना ही लोकतंत्र की ताकत है।''

कोल्हापुर: महाराष्ट्र में कुछ महीनों बाद विधानसभा चुनाव होने हैं। चुनावों से पहले ही राज्य की सियासत गरमा गई है। विपक्ष लगातार शिंदे सरकार पर हमला बोल रहा है। वहीं, एमवीए का ये भी कहना है कि महायुति गठबंधन में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है।

इस बीच पूर्व केंद्रीय मंत्री और एनसीपी (एसपी) नेता शरद पवार ने महा विकास अघाड़ी (एमवीए) के सीएम फेस को लेकर बड़ा बयान दिया है।

चुनाव नतीजों के बाद सीएम पर फैसला

शरद पवार ने कहा कि राज्य विधानसभा चुनाव से पहले महा विकास अघाड़ी (एमवीए) को मुख्यमंत्री पद का चेहरा घोषित करने की कोई जरूरत नहीं है। कोल्हापुर में पत्रकारों से बात करते हुए राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) के अध्यक्ष ने कहा कि मुख्यमंत्री कौन होगा, इसका फैसला चुनाव नतीजों के बाद किया जा सकता है।

शरद पवार ने कहा कि गठबंधन में सबसे ज्यादा सीटें जीतने वाली पार्टी के आधार पर मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार तय किया जाएगा।

मुंबई: महाराष्ट्र के बारामती से लोकसभा सांसद और एनसीपी (एसपी) गुट की कद्दावर नेता सुप्रिया सुले ने जातिगत जनगणना पर आरएसएस की टिप्पणी समेत कई मुद्दो पर अपनी राय रखी है। साथ ही उन्होंने महाराष्ट्र की कानून व्यवस्था पर भी सवाल उठाए हैं। इसके अलावा उन्होंने बीजेपी को भी जमकर घेरा है।

आरएसएस द्वारा जातिगत जनगणना पर की गई टिप्पणी पर सुप्रिया सुले ने कहा, "मेरी और मेरी पार्टी की पहले से ही भूमिका रही है कि जातीय जनगणना होनी चाहिए। अगर आरएसएस की भी यही भूमिका है तो मैं इसका स्वागत करती हूं।"

वहीं महाराष्ट्र की कानून व्यवस्था को लेकर शरद पवार की पार्टी की सांसद ने एकनाथ शिंदे सरकार को घेरा। साथ ही उन्होंने ये भी कहा कि गृहमंत्री देवेंद्र फडणवीस को इस्तीफा दे देना चाहिए। इसके अलावा बीजेपी को घेरते हुए सुप्रिया सुले ने कहा, "बीजेपी अब पहले जैसी पार्टी नहीं रही। पहले बीजेपी के नेता और हमारे बीच मतभेद रहते थे, लेकिन फिर भी ऐसे हालात नहीं थे। बीजेपी की नेता रहीं सुषमा स्वराज को मैं अपना गुरु मानती हूं। अब की बीजेपी में ऐसे नेताओं की कमी है।"

मुंबई: महाराष्ट्र के कोल्हापुर में छत्रपति शिवाजी महाराज की मूर्ति गिरने का मामले पर सियासत काफी गरमा गई है। महाविकास अघाड़ी के नेताओं ने मुंबई में एकजुट होकर सरकार के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया। इसे जोड़े मारो (जूता मारो) आंदोलन नाम दिया गया है।

महाविकास अघाड़ी के नेताओं ने साउथ मुंबई के हुतात्मा चौक से गेटवे ऑफ इंडिया तक पैदल मार्च निकाला। ​​​​​​इसमें शिवसेना यूबीटी प्रमुख ​उद्धव ठाकरे, आदित्य ठाकरे, एनसीपी (एसपी) प्रमुख शरद पवार, सुप्रिया सुले, कांग्रेस नेता नाना पटोले समेत घटक दलों के कई बड़े नेता शामिल हुए।

इस मार्च के दौरान शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे समेत एमवीए के कई नेताओं ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस और अजित पवार के पोस्टर पर चप्पल और जूते मारे। पीएम नरेंद्र मोदी की माफी को लेकर नेताओं ने आरोप लगाते हुए कहा कि उनकी माफी अहंकार से भरी हुई थी। वहीं, शरद पवार ने कहा, ''प्रतिमा का गिरना भ्रष्टाचार का एक उदाहरण है।''

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