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जयपुर: सात दिसम्बर को राजस्थान में 199 विधानसभा सीटों पर हुए मतदान के बाद मंगलवार को घोषित होने वाले परिणामों से पूर्व सत्ताधारी भाजपा और कांग्रेस राज्य में सरकार बनाने को लेकर अपनी अपनी ताल ठोल रहे हैं। रविवार को भाजपा की कोर कमेटी में परिणाम और सरकार बनाने को लेकर एक बैठक में मंथन किया गया जिसमें मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह, अर्जुन राम मेघवाल, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन लाल सैनी सहित सांसद, राजे मंत्रिमंडल के सदस्य और पार्टी के पदाधिकारी मौजूद थे।

बैठक के बाद संवाददाताओं से बातचीत में मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने एग्जिट पोल पर कुछ भी बोलने से इंकार करते हुए कहा कि परिणाम 11 तारीख को आयेंगे और हम राज्य में पूर्ण बहुमत के साथ भाजपा की सरकार बनाने जा रहे हैं। राज्य की चुनाव प्रबंधन कमेटी के संयोजक और केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने कहा कि हम पूर्णांक को प्राप्त करेंगे और पूर्ण बहुमत की सरकार बनायेंगे। मतगणना के दौरान किस प्रकार का प्रबंधन करना है, उसके लिये योजना के तहत अलग- अलग जिलों की क्षेत्रवार जिम्मेवारी बांटी गई है।

जयपुर: जयपुर के पूर्व राजघराने की बेटी और भाजपा की पूर्व विधायक राजकुमारी दीया कुमारी के पति नरेंद्र सिंह से अलग होने का फैसला कर लिया है। पिछले काफी दिनों से दोनों के बीच रिश्ते अच्छे नहीं चल रहे थे। दीया कुमारी और उनके पति पिछले 5 सालों से अलग रह रहे थे। जयपुर राजघराने की राजकुमारी दीया कुमारी ने अपने लव मैरेज के 21 साल बाद पति नरेंद्र सिंह से तलाक मांगा है।

दीया कुमारी ने फैमिली कोर्ट में अर्जी लगाई है। उन्होंने जयपुर के गांधीनगर के महानगर फैमिली कोर्ट में प्रार्थना पत्र दायर कर पति से तलाक की इच्छा जताई है। दीया कुमारी जयपुर के पूर्व राज महाराजा सवाई भवानी सिंह और राजमाता पद्मिनी देवी की बेटी हैं। उन्होंने अपनी शिक्षा जयपुर, दिल्ली व लंदन से की थी। दीया और सिवाड़ के कोठड़ा ठिकाने के नरेंद्र सिंह राजावत की शादी अगस्त 1997 में हुई थी और दोनों के दो बेटे और एक बेटी है।

जयपुर: राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए दोपहर 3 बजे तक करीब 60 फीसदी मतदाताओं ने वोट डाले। राज्य की 199 सीटों पर वोटिंग हो रही है। यह मतदान सुबह आठ बजे शुरू हुआ। शाम पांच बजे तक मतदाता अपने मताधिकार का उपयोग कर सकेंगे। इस बीच खबर है कि जयपुर सहित कई स्थानों पर इलेक्ट्रोनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) में तकनीकी खराबी आने के कारण कई स्थानों पर मतदान देरी शुरु से हुआ।

जानकारी के अनुसार, जयपुर के किशनोपाल, विद्याधरनगर, मालवीयनगर, हवामहल, सांगानेर, आदर्शनगर, मानसरोवर, चाकसू, बस्सी क्षेत्र के मतदान केन्द्र पर ईवीएम मशीन में तकनीकी खराबी आने के कारण मतदान शुरु होने में थोड़ी देरी हुई। इस दौरान केंद्रों के आगे मतदाताओं को मतदान शुरु होने का इंतजार करना पड़ा। राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए राज्य की 200 सीटों में से 199 सीटों पर मतदान जारी है। इसके लिए निर्वाचन विभाग ने सभी तैयारियां गुरुवार को ही पूरी कर ली थीं। राजस्थान में तकरीबन बीस लाख मतदाता ऐसे हैं जो पहली बार वोट डालने जा रहे हैं। राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए पिछले दिनों पीएम मोदी से लेकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने चुनावी प्रचार में हिस्सा लिया था।

जयपुर: राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे शरद यादव पर पलटवार किया है। राजे ने शुक्रवार को महिलाओं के लिए बने पिंक बूथ पर वोट डालने के बाद पत्रकारों से कहा कि चुनाव आयोग को शरद यादव पर कार्रवाई करनी चाहिए। राजे ने आगे कहा कि मैं आश्चर्यचकित हूं, मैं अपमान महसूस कर रही हूं। शरद को अपनी भाषा पर संयम रखना चाहिए, उन्होंने मेरा नहीं सभी महिलाओं का अपमान किया है। कांग्रेस पर हमला करते हुए राजे ने कहा के "क्या वो यही उदाहरण युवाओं के लिए सेट करना चाहते हैं? कांग्रेस और उसके सहयोगियों को अपनी भाषा में पाबंदी लगानी चाहिए।"

शुक्रवार को अलवर में यादव की अपमानजनक टिप्पणियों के बाद राजस्थान में बीजेपी ने चुनाव आयोग से शिकायत की है। राजस्थान विधानसभा चुनाव को लेकर राजे ने दावा किया कि प्रदेश में फिरसे हमारी सरकार बनेगी। सभी ने इस चुनाव के लिए कड़ी मेहनत की है। राजे ने आगे कहा हमने प्रदेश में विकास का काम किया है और जनता विकास के लिए वोट करेगी। बता दें कि राजस्थान में एक चुनावी सभा को सम्बोधित करते हुए पूर्व जदयू नेता शरद यादव ने अभद्र टिप्पणी कर दी।


गुरुवार को उन्होंने कहा कि अब वसुंधरा राजे को आराम करने के लिए भेज दो क्योंकि अब वह काम करने के योग्य नहीं रह गई हैं। उनकी टिप्पणी वसुंधरा के शरीर को लेकर थी। हालांकि उनके बयान के बाद जब हंगामा मचा तो यादव ने सफाई दी और कहा कि उनका किसी का अपमान करने का कोई इरादा नहीं था।

भाजपा ने शरद यादव की इस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि उनकी यह टिप्पणी बेहद शर्मनाक है और किसी सभ्य व्यक्ति से इसकी उम्मीद नहीं की जा सकती। उन्हें अपने बयान के लिए स्वयं ही माफी मांगनी चाहिए। शरद यादव पहले भी अपनी विवादित टिप्पणियों के लिए जाने जाते रहे हैं। महिला आरक्षण के मुद्दे पर संघर्ष करने वाली महिलाओं को उन्होंने 'परकटी औरतें' कह दिया था जिसके बाद हंगामा खड़ा हो गया था।

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