ताज़ा खबरें
संभल हिंसा: सपा सांसद बर्क और पार्टी विधायक के बेटे पर मुकदमा
संसद में अडानी के मुद्दे पर हंगामा, राज्यसभा पूरे दिन के लिए स्थगित
संभल में मस्जिद सर्वे के दौरान भड़की हिंसा:अब तक 4 लोगों की मौत
निज्जर हत्याकांड: कनाडा में चार भारतीयों के खिलाफ सीधे होगा ट्रायल
हेमंत सोरेन ने पेश किया सरकार बनाने का दावा, 28 को लेंगे शपथ

भोपाल: भाजपा के वरिष्ठ नेता गोपाल भार्गव मध्य प्रदेश विधानसभा में नए नेता प्रतिपक्ष होंगे। पार्टी नेता और केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह और प्रदेश प्रभारी विनय सहस्त्रबुद्धे की मौजूदगी में हुई बैठक में उन्हें नए पद के लिए चुना गया। गोपाल भार्गव रहली से विधायक हैं। वह इस सीट से 1985 से लगातार चुनाव जीतते आ रहे हैं और 8वीं बार विधायक चुने गए हैं।

भाजपा ने स्पीकर के लिए अपना उम्मीदवार उतारा

मध्यप्रदेश में हाल ही में सत्ता में आई कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार द्वारा विधानसभा अध्यक्ष पद के लिए नामांकन पत्र दाखिल करने के बाद विपक्षी दल भाजपा ने भी इस दौड़ में अपना उम्मीदवार उतार दिया है। कांग्रेस के उम्मीदवार के तौर पर नरसिंहपुर जिले के गोटेगांव से विधायक एन पी प्रजापति ने विधानसभा सचिवालय में नामांकन दाखिल किया वहीं भाजपा के उम्मीदवार के तौर पर खंडवा जिले के हरसूद से विधायक एवं पूर्व मंत्री विजय शाह ने पर्चा भरा। भाजपा ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने प्रोटेम स्पीकर की नियुक्ति में वरिष्ठतम विधायक को चुनने की परंपरा को नहीं निभाया है।

भोपाल: मध्य प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद विधानसभा में विधायकों के हंगामे पर लगाम लगाने के प्रयास सत्र शुरू होने से पहले तेज हो गए है। कांग्रेस ने विधानसभा में होने वाले हंगामे को रोकने के लिए विधायकों का वेतन-भत्ता काटने पर मन बनाया है। राज्य के संसदीय कार्यमंत्री डॉक्टर गोविंद सिंह ने कहा है कि विधानसभा चर्चा और सहमति से चलेगी न कि हंगामे से। हंगामे के लिए सड़क है। लिहाजा विधानसभा में हंगामा न हो इसके लिए हंगामा करने वाले विधायकों के वेतन-भत्तों को काटा जाएगा, इसके लिए प्रस्ताव लाया जा रहा है।

वहीं, पूर्व विधानसभाध्यक्ष डॉ. सीताशरण शर्मा का कहना है कि पूर्व विधानसभा में भी हंगामा रोकने के लिए प्रस्ताव लाया जाने वाला था। सदन हमेशा आपसी सहमति से चलते हैं, सरकार के रुतबे से नहीं। जो भी व्यवस्था होगी वह सहमति के आधार पर होगी, सरकार मनमानी करेगी तो विपक्ष उसका विरोध करेगा। चुनाव से पहले कांग्रेस ने वचन पत्र में सदन में हंगामा रोकने का भरोसा दिलाया था।

भोपाल: मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कैबिनेट की पहली बैठक में दो बड़े फैसले किए हैं। इसमें सबसे पहला किसानों की कर्ज माफी को लेकर है और दूसरा लड़िकयों को शादी के लिए मिलने वाली मदद को 28,000 रुपए से बढ़ाकर 51,000 कर दिए गए हैं। सरकार के इन फैसलों की जानकारी सीएम कमलनाथ ने ट्वीट करके दी है और कहा है कि हमारे वचन पत्र का एक वादा और पूरा हो गया है। कमलनाथ ने शपथ लेने के बाद किसानों की कर्ज माफी वाली फाइल पर साइन कर दिए थें और अब उस फैसले को कैबिनेट से मुहर लग गई है।

कमलनाथ ने ट्वीट करके कहा है कि हमारे वचन पत्र का एक वादा और पूरा हो गया है। प्रदेश के किसानो की कर्ज माफी को लेकर आज हमने अहम फैसला लिया है। अब प्रदेश के किसानों का 12 दिसंबर 2018 तक लिया गया 2 लाख तक का कर्ज़ माफ किया जाएगा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार किसानों के हर सुख-दुःख में उनके साथ खड़ी है। उन्हें कर्ज से उबारना हमारी पहली प्राथमिकता है।

भोपाल: मध्यप्रदेश की कांग्रेस सरकार की ओर से हर महीने की एक तारीख़ को राज्य मंत्रालय के समक्ष वन्देमातरम गान की अनिवार्यता को फिलहाल रोक कर इसे नए रूप में लागू करने के निर्णय पर प्रदेश की राजनीति गर्मा गई है। इस मामले में पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर कहा है कि अगर कांग्रेस को राष्ट्र गीत के शब्द नहीं आते हैं या फिर राष्ट्र गीत के गायन में शर्म आती है, तो मुझे बता दें। हर महीने की पहली तारीख़ को वल्लभ भवन के प्रांगण में जनता के साथ वंदे मातरम् मैं गाऊंगा।

इस विवाद पर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि उनकी सरकार वंदे मातरम् के गायन की व्यवस्था को नए स्वरूप में सामने ला रही है। कमलनाथ ने यहां मीडिया से कहा कि यह व्यवस्था एक दो दिन में सामने आ जाएगी। उन्होंने कहा कि कभी मंदिर तो कभी वंदे मातरम् पर राजनीति की जा रही है। इसकी वजह निंदा करते हैं। मंगलवार रात मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा था कि हर महीने की एक तारीख को वंदेमातरम गायन की अनिवार्यता को फिलहाल अभी रोक कर नए रूप में लागू करने का निर्णय किया गया है।

  • देश
  • प्रदेश
  • आलेख