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बीजिंग: चीन के पश्चिमी शिनजियांग क्षेत्र में तीन संदिग्ध उईगुर आतंकवादियों ने पांच लोगों की चाकू घोंपकर हत्या कर दी और बाद में पुलिस ने इन हमलावरों को मार गिराया। इस मुस्लिम बहुल अशांत प्रांत में हुआ यह सबसे ताजा ‘आतंकी हमला’ है। यह हमला बीती शाम पिशान प्रांत में हुआ था। हमले में 10 लोग जख्मी हो गये थे जिनमें से पांच को अस्पताल में मृत घोषित कर दिया गया। हांगकांग स्थित ‘साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट’ ने खबर दी है कि पुलिस ने तीनों हमलावरों को गोली मार दी। अधिकारियों ने इस घटना को ‘आतंकी हमला’ करार दिया। इस हमले के बाद देश में उच्चतम स्तर का सुरक्षा अलर्ट जारी किया गया। सरकार ने संदिग्धों और पीड़ितों की पहचान नहीं बताई है, लेकिन कुछ निवासियों ने कहा कि हमलावर उईगुर थे। चीन में सड़कों पर 10 से 20 मीटर की दूरी पर सशस्त्र पुलिस बल गश्त लगा रहे हैं। पाकिस्तान के कब्जे वाला पाकिस्तान (पीओके) और अफगानिस्तान की सीमा से लगता शिनजियांग कई वर्ष से उईगुर प्रदर्शनों के चलते अशांत रहा है। देश के विभिन्न हिस्सों से बड़े पैमाने पर हान चीनीयों की बस्तियों के खिलाफ उईगुर प्रदर्शन होते रहे हैं। क्षेत्र में होने वाले हमलों के लिये चीन ईस्ट तुर्किस्तान इस्लामिक मूवमेंट (ईटीआईएम) से उईगुर अलगाववादियों पर आरोप लगाता है।

वाशिंगटन: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार माइकल फ्लिन ने रूस के साथ संबंधों के आरोपों के मद्देनजर अपने पद से इस्तीफा दे दिया। आरोप है कि अमेरिकी राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण से पहले फ्लिन ने रूस के खिलाफ अमेरिकी प्रतिबंधों पर रूसी राजदूत के साथ चर्चा की थी। फ्लिन ने अमेरिकी न्याय विभाग की एक रिपोर्ट की पृष्ठभूमि में इस्तीफा दिया है। न्याय विभाग ने पिछले महीने ट्रम्प प्रशासन को यह चेतावनी दी थी कि फ्लिन ने अमेरिका में रूसी राजदूत के साथ अपनी बातचीत पर प्रशासन अधिकारियों को भ्रमित किया है और रूसी उन्हें ब्लैकमेल कर सकते हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति पद के चुनाव के दौरान ट्रम्प के शुरआती समर्थकों में शामिल फ्लिन महज तीन सप्ताह तक ही शीर्ष राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार पद पर रहे। व्हाइट हाउस ने घोषणा की कि फ्लिन की जगह लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) जोसेफ कीथ केलॉग को कार्यवाहक राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार नियुक्त किया गया है। अमेरिकी सेना के लेफ्टिनेंट जनरल :सेवानिवृत्त: फ्लिन ने अपने इस्तीफे में राष्ट्रपति ट्रम्प और उपराष्ट्रपति माइक पेंस से उनके शपथ ग्रहण से पहले रूसी राजदूत के साथ हुई अपनी बातचीत की आधी अधूरी जानकारी देने के मामले में माफी मांगी। यह पत्र व्हाइट हाउस ने मीडिया में जारी की है।

वाशिंगटन: राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने योग्यता आधारित आव्रजन प्रणाली का समर्थन करते हुए कहा है कि यह अमेरिकी अर्थव्यवस्था और रोजगार सृजन को लाभ पहुंचाएगी। ट्रंप के इस विचार का भारतीय आईटी पेशेवर और उद्यमी स्वागत करेंगे। व्हाइट हाउस ने इस आशय की जानकारी दी। व्हाइट हाउस के वरिष्ठ नीति सलाहकार स्टीफन मिलर ने एनबीसी न्यूज को बताया, ‘राष्ट्रपति ने यह स्पष्ट कर दिया है कि उनका मानना है कि योग्यता आधारित प्रणाली होनी चाहिए, जिसके तहत देश में आने वाले लोग हमारी अर्थव्यवस्था के विकास के लिए आर्थिक तौर पर विभिन्न प्रकार के लाभ लेकर आएं और सभी के रोजगार में वृद्धि के लिए मदद करें।’ अमेरिका में भारतीय आईटी पेशेवरों और उद्यमियों को सिर्फ अमेरिकी अर्थव्यवस्था को समृद्ध बनाने के लिए ही नहीं, बल्कि रोजगार सृजन के लिए भी जाना जाता है। हालांकि मिलर ने यह भी कहा कि कोई भी कानूनी आव्रजन व्यवस्था अमेरिकी कर्मचारियों को विस्थापित न करे और ‘धोखाधड़ी’ नहीं होनी चाहिए। एच-1बी वीजा प्रणाली के खिलाफ ये दो आरोप अकसर लगते रहे हैं। अमेरिकी सांसद, संघीय नेता और ट्रंप प्रशासन के शीर्ष अधिकारी इस वीजा प्रणाली पर लगातार हमला बोलते रहे हैं। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा, ‘हम एक कानूनसंगत आव्रजन प्रणाली लेकर आएंगे। हम अपने देश को समृद्ध बनाएंगे और लाभांवित करेंगे।’

बीजिंग: चीन ने सेना के इस्तेमाल के लिए एक साथ कई ड्रोनों के प्रयोग की तकनीक को बेहतर बनाने पर विचार कर रहा है। रक्षा विशेषज्ञों का कहना है कि इससे भविष्य में युद्ध नीतियों में बड़ा बदलाव आ सकता है। सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स ने आज लिखा है कि पिछले सप्ताह चीन के लालटेन उत्सव में गुआंगझोउ एयर शो के दौरान 1,000 ड्रोनों के सामूहिक रिकार्ड प्रदर्शन के बाद, सैन्य विशेषज्ञों का अनुमान है कि इससे भविष्य के मुकाबलों की रणनीति में बदलाव आ सकता है। एरोबेटिक शो के दौरान इस सामूहिक ड्रोन प्रदर्शन को गिनीज विश्व रिकार्ड में शामिल किया गया है। ड्रोनों के करतब में उन्नत दृश्य एवं संचार उपकरणों की आवश्यकता होती है, जबकि एक रक्षा विशेषज्ञ ने इसे कई ड्रोनों को एक साथ प्रयोग करने का तकनीक बताया है। एयरोस्पेस नॉलेज मैगजीन के मुख्य संपादक वांग यनान ने बताया कि सेना के प्रयोग के लिए बड़े पैमाने पर ड्रोन बनाना एक नया चलन है, जिसमें ड्रोन बनाने के लिए उच्च मानकों का पालन किया जाता है। वांग ने कहा कि सैन्य क्षेत्र के लिए एक साथ कई ड्रोनों के प्रयोग की तकनीक क्षमता संपन्न है।

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