ताज़ा खबरें
संविधान ने देश में बदलाव लाने में उल्लेखनीय मदद की: सीजेआई खन्ना

न्यूयॉर्क: डोनाल्ड ट्रंप की जीत की भविष्यवाणी करने वालों में से एक अमेरिकी प्रोफेसर ने चौंकाने वाली एक अन्य भविष्यवाणी की है कि अंतत: ट्रंप पर महाभियोग चलेगा और उनका स्थान एक अन्य नेता लेगा जिनपर भरोसा किया जा सके और जिन्हें नियंत्रित किया जा सके। वाशिंगटन पोस्ट की खबर के अनुसार, प्रो. एलान लिच्टमैन ने अनुमान लगाया है कि यदि निर्वाचित राष्ट्रपति ट्रंप पर अंतत: रिपब्लिकन कांग्रेस द्वारा महाभियोग चलाया जाएगा तो माइक पेंस जैसे नेता उनकी जगह लेंगे जिन्हें रिपब्लिकन कांग्रेस पसंद करती है एवं जिनपर वह भरोसा करती है। लिच्टमैन ने कहा, ‘मैं एक अन्य अनुमान लगाने जा रहा हूं। यह किसी प्रणाली पर आधारित नहीं है बल्कि यह मेरा साहस है। वे ट्रंप को राष्ट्रपति के रूप में नहीं चाहते हैं, क्योंकि वे उनपर काबू नहीं रख सकते। वह अनुमान से परे हैं। वे पेंस को पसंद करते हैं जो बिल्कुल रूढ़िवादी, नियंत्रण में रहने वाले रिपब्लिकन हैं।’ उन्होंने कहा कि यह पक्का है कि ट्रंप राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा में डालने वाला कोई कृत्य कर या फिर अधिक खर्च कर किसी न किसी को महाभियोग का मौका देंगे।

वाशिंगटन: व्हाइट हाउस ने कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ 90 मिनट तक चली बैठक के बाद ‘नए विश्वास’ के साथ बाहर आए। उसने कहा कि वार्ता के दौरान इस बात को सुनिश्चित करने पर जोर दिया गया कि अगले प्रशासन को सत्ता हस्तांतरण में कोई दिक्कत न आए। व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव जोश अर्नेस्ट ने अपने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘मेरा मानना है कि राष्ट्रपति ओबामा प्रभावी एवं बिना किसी बाधा के सत्ता हस्तांतरण को लेकर नवनिर्वाचित राष्ट्रपति की ओर से जताई गई प्रतिबद्धता के प्रति नए भरोसे के साथ बैठक से बाहर आए।’ उन्होंने कहा, ‘नवनिर्वाचित राष्ट्रपति द्वारा व्यक्त की गई समान प्रतिबद्धता को सुनकर राष्ट्रपति प्रसन्न हुए।’ 90 मिनट की बैठक में ओबामा ने ट्रंप को घरेलू एवं विदेश नीति के मामलों पर संक्षिप्त जानकारी दी। इसके अलावा उन्होंने यूनान, जर्मनी की यात्राओं एवं पेरू में एपीईसी शिखर सम्मेलन के बारे में जानकारी दी। अर्नेस्ट ने कहा, ‘राष्ट्रपति ने नवनिर्वाचित राष्ट्रपति को उन कुछ मामलों के बारे में जानकारी दी जिन पर यात्रा के दौरान हमारे सहयोगियों, साझेदारों एवं विश्व के अन्य नेताओं के साथ बैठक में बात हो सकती है।’ ओबामा ने बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा, ‘ज्यादातर मैं आपसे यह कहना चाहता हूं कि निर्वाचित राष्ट्रपति, कि हम आपकी सफलता के लिए जो मदद कर सकते हैं वह करने वाले हैं क्योंकि अगर आप सफल होंगे तो देश सफल होगा।’’

मजार-ए-शरीफ: तालिबान ने एक शक्तिशाली ट्रक बम के जरिए अफगानिस्तान के मजार-ए-शरीफ शहर में स्थित जर्मन दूतावास पर हमला कर दिया। युद्ध प्रभावित इस देश में हुए इस बड़े आतंकी हमले में कम से कम दो लोग मारे गए और 100 से ज्यादा लोग घायल हो गए। तालिबान ने इसे अमेरिका के उन हवाई हमलों के ‘बदले में किया गया हमला’ करार दिया है, जो इस माह की शुरूआत में अशांत कुंदुज प्रांत में किया गया था। उस हमले में 32 नागरिक मारे गए थे। आम तौर पर शांत रहने वाले मजार-ए-शरीफ में कल भारी विस्फोट हुआ और उसके बाद छिटपुट गोलीबारी हुई। इसके कारण आसपास की दुकानों की खिड़कियों के शीशे चटक गए और घबराए हुए स्थानीय नागरिक छिपने के लिए भागने लगे। स्थानीय पुलिस प्रमुख सैयद कमाल सादत ने को बताया, ‘आत्मघाती हमलावर ने विस्फोटकों से भरी अपनी कार से शहर में स्थित जर्मन दूतावास की दीवार में टक्कर मार दी।’ काबुल में मौजूद जर्मन अधिकारियों ने एएफपी द्वारा संपर्क किए जाने पर कोई भी टिप्पणी करने से इनकार कर दिया।

इस्लामाबाद: पाकिस्तान ने गुरूवार को कहा कि इसने भारत-पाक तनावों को कम करने के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति चुने गए डोनाल्ड ट्रंप की ओर से मध्यस्थता किए जाने की चुनाव प्रचार के दौरान की गई पेशकश का स्वागत किया है। इसने नये ट्रंप प्रशासन के साथ करीबी रूप से काम करने की इच्छा जाहिर की है। विदेश कार्यालय प्रवक्ता नफीस जकारिया ने कल आम चुनाव में ट्रंप को मिली जीत पर यहां साप्ताहिक न्यूज ब्रीफिंग में सवालों का जवाब देते हुए यह कहा। उन्होंने कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति चुने गए ट्रंप ने प्रचार के दौरान कश्मीर विषय पर पाकिस्तान और भारत के बीच मध्यस्थता करने की पेशकश की थी और हमने इस पेशकश का स्वागत किया है। हालांकि, खबरों में यह जिक्र नहीं किया गया कि ट्रंप ने कश्मीर का विशेष रूप से कोई जिक्र किया है। रेडियो पाकिस्तान ने भी जकारिया का हवाला देते हुए कहा कि कश्मीर के लोगों ने आत्मनिर्णय के अधिकार के लिए कुर्बानी दी है और कश्मीर में भारतीय सेनाओं की जारी प्रता़ड़ना से पाकिस्तान चिंतित है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान कश्मीरियों के हितों को नैतिक, राजनीतिक और कूटनीतिक समर्थन देने के अलावा मानवाधिकार उल्लंघनों को अंतरराष्ट्रीय मंच पर उठाना जारी रखेगा। प्रवक्ता ने कहा कि पाकिस्तान दोनों देशों के पारस्परिक हित के लिए नये अमेरिकी प्रशासन के साथ करीबी तौर पर काम करने के लिए आशावादी है।

  • देश
  • प्रदेश
  • आलेख