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अहमदाबाद: पाटीदार नेता हार्दिक पटेल ने अपने समुदाय के लिए आरक्षण और किसानों का कर्ज माफ करने की मांग पर अपना अनिश्चितकालीन अनशन अस्पताल में भर्ती रहने के दौरान शनिवार को भी जारी रखा। उनका अनशन 15वें दिन में प्रवेश कर गया है। लोकतांत्रिक जनता दल के नेता शरद यादव, द्रमुक नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री ए राजा ने आज अस्पताल में हार्दिक से मुलाकात की और उनके प्रति समर्थन व्यक्त किया। हार्दिक 25 अगस्त ने भूख हड़ताल पर हैं और स्वास्थ्य बिगड़ने के बाद शुक्रवार को उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था।

हार्दिक ने ट्वीट किया, ‘‘शरद यादव जी मुझसे अस्पताल में मिलने आएं। उन्होंने समाजिक न्याय और किसानों के अधिकार के लिए मेरी लड़ाई का समर्थन किया। उनसे काफी प्रभावित हूं।’’ उन्होंने राजा के अस्पताल पहुंचने की एक तस्वीर भी ट्विटर पर साझा की और कहा कि द्रमुक ने उनको समर्थन दिया है। पाटीदार अनामत आंदोलन समिति (पास) के प्रवक्ता मनोज पनारा ने कहा कि हार्दिक की भूख हड़ताल जारी रहेगी। पनारा ने कहा, ‘‘उन्होंने कुछ खाया नहीं है लेकिन पानी पिया है। मांगे पूरी हाने तक हमारी लड़ाई जारी रहेगी।’’

अहमदाबाद: पाटीदार आरक्षण की मांग को लेकर 14 दिन से अनशन पर बैठे हार्दिक पटेल को तबीयत बिगड़ने पर अस्पताल में भर्ती कराया गया है। अन्न त्याग देने के कारण बीते कई दिनों से उनके स्वास्थ्य में गिरावट की खबरें आ रही थी। उन्होंने कुछ देर के लिए पानी से भी दूरी बना ली थी। आज खोडलधाम ट्रस्ट के अध्यक्ष नरेश पटेल हार्दिक से मुलाकात करने पहुंचे थे। नरेश पटेल से मुलाकात के बाद हार्दिक पटेल को अस्पताल ले जाया गया।

कांग्रेस भी आई समर्थन में

गुजरात कांग्रेस ने गुरुवार को घोषणा की कि यदि राज्य सरकार पाटीदार नेता हार्दिक पटेल से बातचीत नहीं करती है तो वह उनके समर्थन में शुक्रवार को 24 घंटे का उपवास रखेगी। पटेल के उपवास का गुरुवार को 13वां दिन था और वह व्हीलचेयर में बहुत ही कमजोर नजर आ रहे थे। उन्होंने अहमदाबाद के समीप अपने फार्महाऊस पर 25 अगस्त को उपवास शुरु किया था।

नई दिल्ली: पाटीदार आरक्षण आंदोलन समिति (पास) के नेता हार्दिक पटेल ने गुरुवार को अपने आमरण अनशन के 13 वें दिन एक बार फिर जल-त्याग कर दिया। राज्य सरकार को उनसे सीधी बातचीत के लिए उनके पास आने के वास्ते दिये गये 24 घंटे के अल्टीमेटम की अवधि आज शाम खत्म हो जाने पर पास के प्रवक्ता मनोज पनारा ने यह घोषणा की। उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें डर है कि सरकार हार्दिक को जबरन सरकारी अस्पताल में भर्ती कर उनके लीवर, किडनी और दिल के पहले से खराब होने की बात कह उनके स्वास्थ्य को खराब करने का षडयंत्र कर सकती है।

पनारा ने यह भी कहा कि उनके निजी चिकित्सक और करीबी साथी उन्हें अकेला नहीं छोड़ेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि पाटीदार धार्मिक संस्था खोडलधाम ट्रस्ट के चेयरमैन नरेश पटेल अगर मध्यस्थता करें तो पास को यह स्वीकार होगा। इस बीच, हार्दिक ने गुरुवार लगातार चौथे दिन भी सरकारी चिकित्सकों को जांच के लिए ब्लड और मूत्र के नमूने नहीं दिये। इतना ही नहीं उनके वजन को लेकर बुधवार को पैदा हुए विवाद के बाद आज उन्होंने अपना वजन कराने से भी इंकार कर दिया।

नई दिल्ली: पूर्व आईपीएस अधिकारी संजीव भट्ट को गुजरात सीआईडी ने बुधवार को 22 साल पुराने एक मामले में गिरफ्तार किया है। पुलिस ने यह जानकारी दी। पूर्व आईपीएस अधिकारी और सात अन्य को 22 साल पहले कथित तौर पर मादक पदार्थ रखने के मामले में एक व्यक्ति की गिरफ्तारी के संबंध में पूछताछ करने के लिए पहले हिरासत में लिया गया था। मीडिया रिर्पोटस के मुताबिक पुलिस महानिदेशक (अपराध जांच विभाग) आशीष भाटिया ने बताया कि पूछताछ के कुछ देर बाद भट्ट को अपराध जांच विभाग ने गिरफ्तार कर लिया जबकि अन्य अब भी हिरासत में हैं।

भट्ट 1996 में बनासकांठा जिले के पुलिस अधीक्षक थे। मामले की जानकारी के अनुसार भट्ट के नेतृत्व में बनासकांठा पुलिस ने वकील सुमेर सिंह राजपुरोहित को करीब एक किलोग्राम मादक पदार्थ रखने के आरोप में 1996 में गिरफ्तार किया था। उस समय बनासकांठा पुलिस ने दावा किया था कि मादक पदार्थ जिले के पालनपुर में होटल के उस कमरे से मिला था जिसमें राजपुरोहित ठहरे थे। राजस्थान पुलिस की जांच में खुलासा किया गया था कि राजपुरोहित को इस मामले में बनासकांठा पुलिस ने कथित तौर पर झूठे तौर फंसाया था ताकि उसे इसके लिए बाध्य किया जा सके कि वह राजस्थान के पाली स्थित अपनी विवादित संपत्ति हस्तांतरित करे।

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