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अहमदाबाद: साबरकांठा जिले में 14 माह की बच्ची से बलात्कार की घटना के बाद गैर-गुजरातियों पर कथित तौर पर हमला करने के मामलों में गुजरात के विभिन्न भागों से पुलिस ने अब तक 342 लोगों को गिरफ्तार किया है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी। इस घटना के बाद राज्य के कई हिस्सों में गैर- गुजरातियों, खासतौर पर उत्तर प्रदेश और बिहार के रहने वाले लोगों को निशाना बनाया जा रहा है। गत 28 सितम्बर को एक बच्ची के साथ कथित रूप से बलात्कार करने के लिए बिहार के एक निवासी को गिरफ्तार किये जाने के बाद गैर-गुजरातियों को निशाना बनाया गया और सोशल मीडिया पर घृणा संदेश फैलाये गये।

पुलिस महानिदेशक शिवानंद झा ने पत्रकारों को बताया,''मुख्य रूप से छह जिले (हिंसा से) प्रभावित हुए है। मेहसाणा और साबरकांठा सबसे अधिक प्रभावित हुए है। इन जिलों में, 42 मामलें दर्ज किये गये है और अब तक 342 आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है। जांच के दौरान आरोपियों के नाम सामने आने के बाद और लोगों को गिरफ्तार किया जायेगा।

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने 22 साल पुराने एक मामले में गिरफ्तार पूर्व आईपीएस अधिकारी संजीव भट्ट की गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली उनकी पत्नी की याचिका गुरुवार को खारिज कर दी। भट्ट पर एक वकील को गिरफ्तार करने के लिए साजिशन मादक पदार्थ रखने के आरोप हैं। चीफ जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस के.एम. जोसेफ की बैंच ने कहा कि याचिका गुजरात हाईकोर्ट को भेजी जा सकती है।

याचिका में आरोप लगाया गया था कि भट्ट को हिरासत में रहते हुए सुप्रीम कोर्ट से संपर्क करने के लिए जरूरी किसी भी कागज पर हस्ताक्षर नहीं करने दिए जा रहे हैं। बनासकांठा पुलिस से संबद्ध कुछ पूर्व पुलिसकर्मियों सहित भट्ट और सात अन्य को शुरू में पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया था। भट्ट 1996 में बनासकांठा जिला के पुलिस अधीक्षक थे। वकील को झूठे केस में फंसाने का है आरोप पुलिस के अनुसार, भट्ट के अंतर्गत बनासकांठा पुलिस ने 1996 में पेशे से वकील सुमेर सिंह राजपुरोहित को करीब एक किलोग्राम मादक पदार्थ रखने के आरोप में गिरफ्तार किया था। बनासकांठा पुलिस ने उस वक्त दावा किया था कि जिले के पालनपुर शहर के जिस होटल में राजपुरोहित ठहरे थे उसके कमरे से मादक पदार्थ बरामद किया गया।

अहमदाबाद: प्रस्तावित मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन से प्रभावित करीब एक हजार किसानों ने गुजरात उच्च न्यायालय में मंगलवार को हलफनामा दायर कर परियोजना का विरोध किया है। मुख्य न्यायाधीश आर सुभाष रेड्डी और न्यायमूर्ति वी एम पांचोली की एक खंडपीठ हाई स्पीड रेल परियोजना के लिये जमीन अधिग्रहण को चुनौती देने वाली पांच याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है। इन याचिकाकर्ताओं के अलावा 1000 किसानों ने उच्च न्यायालय में अलग से हलफनामा देकर कहा कि केंद्र की इस महत्वाकांक्षी 1.10 लाख करोड़ रूपये की परियोजना से काफी कृषक प्रभावित हुए हैं और वे इसका विरोध करते हैं।

बुलेट ट्रेन के प्रस्तावित मार्ग से जुड़े गुजरात के विभिन्न जिलों के प्रभावित किसानों ने हलफनामे में कहा कि वे नहीं चाहते कि परियोजना के लिये उनकी जमीन का अधिग्रहण किया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि मौजूदा भू अधिग्रहण प्रक्रिया इस परियोजना के लिये भारत सरकार को सस्ती दर पर कर्ज मुहैया कराने वाली जापान इंटरनेशनल कोऑपरेशन एजेंसी (जेआईसीए) के दिशा निर्देशों के भी विपरीत है।

अहमदाबाद: गुजरात के अहमदाबाद में दिल्ली के बुराड़ी कांड जैसा सनसनीखेज मामला सामने आया है। काली ताकतों (काला जादू) के चक्कर में एक ही परिवार के तीन लोगों ने आत्महत्या कर ली। पुलिस को कुणाल का लिखा एक तीन पेज का सुसाइड नोट मिला है जिसमें उसने आत्महत्या की वजह काली ताकतों को बताया है।

बता दें कि बुराड़ी में तंत्र-मंत्र के चक्कर में एक ही परिवार के 11 लोगों ने 1 जुलाई को सामूहिक आत्महत्या की थी। अहमदाबाद के नरोदा इलाके में रहने वाले व्यापारी कुणाल त्रिवेदी (50) ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली जबकि उसकी पत्नी कविता (45) और बेटी शिरीन (16) ने जहरीला पदार्थ पीकर जान दे दी।

वहीं, कुणाल की मां जयश्री बेन (75) बेहोशी हालत में मिलीं उन्होंने भी जहरीला पदार्थ पीया था। उनकी हालत नाजुक है। पुलिस अधिकारी ने बताया कि मामले की जांच व्यापारी द्वारा पत्नी और बेटी की हत्या कर आत्महत्या करने के एंगल से भी की जा रही है।

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