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मुंबई: साल 2012 के शीना बोरा हत्याकांड में सीबीआई ने शुक्रवार को यहां की एक विशेष अदालत में दूसरा पूरक आरोप-पत्र दाखिल किया। आरोप-पत्र में सीबीआई ने कहा कि शीना की मां और इस हत्याकांड की मुख्य आरोपी इंद्राणी मुखर्जी शव के निपटारे की जगह चुनने को लेकर अपने पति पीटर मुखर्जी को फोन पर सारी जानकारी दे रही थी। करीब 200 पन्नों का पूरक आरोप-पत्र विशेष सीबीआई न्यायाधीश एच एस महाजन की अदालत में दाखिल किया गया। पिछले शनिवार को एजेंसी ने बंबई उच्च न्यायालय को बताया था कि वह इस हफ्ते इस मामले में आरोप-पत्र दाखिल करेगी। आरोप-पत्र के मुताबिक, इंद्राणी के पूर्व पति से हुई उसकी बेटी शीना और पीटर की पहली पत्नी से हुए बेटे राहुल के बीच ‘अंतरंग संबंधों’ को लेकर इंद्राणी और पीटर नाराज थे। पीटर इस मुद्दे पर अक्सर राहुल से झगड़ता था, क्योंकि उसे शीना और अपने बेटे का रिश्ता नामंजूर था। आरोप-पत्र के मुताबिक, पीटर अपनी बेटी विधि को भी राहुल और शीना से कोई संपर्क रखने से मना करता था। कथित तौर पर इंद्राणी, उसके पूर्व पति संजीव खन्ना और उसके पूर्व ड्राइवर श्यामवर राय ने अप्रैल 2012 में 24 साल की शीना की गला दबाकर हत्या कर दी थी। बाद में शीना का शव पड़ोस के रायगड जिले के एक जंगल में फेंक दिया गया था। सीबीआई ने यह भी कहा कि इंद्राणी शीना के शव के निपटारे की जगह चुनने को लेकर अपने पति पीटर मुखर्जी को फोन पर सारी जानकारी दे रही थी।

मुंबई: दक्षिण मुंबई के पोश इलाके की एक रिहायशी इमारत में आज भीषण आग लग गई जिसमें दो व्यक्तियों की मौत हो गई। वहीं दमकल कर्मियों ने आग में फंसे 11 लोगों को बचाया है। मुंबई दमकल मुख्य दमकल अधिकारी पीएस राहंगडाले ने बताया कि शुरूआती जानकारी के मुताबिक 20वीं मंजिल के फ्लैट में आग लगी। यह फ्लैट उस उद्योगपति परिवार का है जो बजाज समूह का मलिक है। उन्होंने कहा कि आग मेकर टॉवर की 20वीं मंजिल पर सुबह छह बज कर करीब 37 मिनट पर लगी जिसपर काबू पा लिया गया है। पुलिस उपायुक्त मनोज कुमार शर्मा ने कहा कि दमकमल कर्मियों ने कम से कम 11 निवासियों को बचाया है, जबकि गंभीर रूप से जख्मी हुए दो लोगों को सरकारी सेंट जॉर्ज अस्पताल में भेजा गया, जहां उन्हें दाखिल करने से पहले मृत घोषित कर दिया। दमकल अधिकाररियों ने कहा कि 25 मंजिली इमारत पर हर मंजिल पर दो फ्लैट हैं और आग पहले 20वीं मंजिल पर लगी और फिर 21वें मंजिल पर फैल गई। उन्होंने कहा कि सूचना मिलने के फौरन बाद, दमकल के आठ दमकल गाड़िया, छह जेटी, दो ऐंबुलेंस को सेवा में लगाया गया, जबकि दमकल कर्मियों को आने जाने में आसानी हो इसके लिए कफ परेड पुलिस ने आसपास के इलाके की नाकेबंदी कर दी।

मुंबई: राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना ने आज कहा कि वह करण जौहर की जल्द रिलीज होने वाली फिल्म ‘ऐ दिल है मुश्किल’ पर अपना विरोध तेज करेगी क्योंकि इसमें पाकिस्तानी कलाकार हैं। मनसे ने मल्टीप्लेक्सों में फिल्म दिखाये जाने पर वहां तोड़फोड़ की परोक्ष धमकी भी दी। मनसे और कुछ अन्य राजनीतिक दलों द्वारा उरी आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के कलाकारों का विरोध किये जाने से जौहर की फिल्म के भविष्य को लेकर सवाल खड़े हो गये हैं जिसमें पाक कलाकार फवाद खान ने अभिनय किया है। मनसे नेता अमेय खोपकर ने कहा, ‘हम राज्य में कहीं भी फिल्म की स्क्रीनिंग का विरोध करेंगे। अगर कोई मल्टीप्लेक्स संचालक फिल्म प्रदर्शित करने का साहस करता है तो उन्हें याद रखना चाहिए कि मल्टीप्लेक्स महंगे कांचों से सजे हैं।’ उन्होंने कहा, ‘हम शाहरुख खान की ‘रईस’ का भी विरोध करेंगे हालांकि वह जनवरी में रिलीज होगी।’ मनसे ने संकेत दिया कि इंडियाज मोशन पिक्चर प्रोड्यूसर्स एसोसिएशन ने भी उसके रख का समर्थन किया है। पार्टी ने अपने बयान में कहा कि एकल स्क्रीन वाले सिनेमाघर संचालकों ने ऐलान किया है कि वे जौहर की फिल्म नहीं दिखाएंगे लेकिन मल्टीप्लेक्स संचालकों ने ऐसा आश्वासन नहीं दिया है इसलिए मनसे ने आज अपना रुख साफ किया है।

मुंबई: मुस्लिम समाज के विभिन्न पंथों के विद्वानों और धर्मगुरुओं ने समान नागरिक संहिता पर विधि आयोग की प्रश्नावली को लेकर विरोध दर्ज कराया। कई मुस्लिम संगठनों के प्रतिनिधि समूह ऑल इंडिया मुस्लिम मजलिस-ए-मुशावरत के बैनर तले मुंबई में मुस्लिम धर्मगुरुओं की बैठक हुई जिसकी अध्यक्षता दारूल उलूम मोहम्मदिया के प्रमुख सैयद मोहम्मद खालिद अशरफ ने की। इन धर्मगुरुओं ने कहा, ‘मुस्लिम पर्सनल लॉ में किसी तरह के दखल को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। समाज सुधार और लैंगिक न्याय के नाम पर समान नागरिक संहिता को थोपने का कोई भी प्रयास किया गया तो इसके विपरीत परिणाम होंगे।’ अशरफ ने कहा, ‘सरकार को इस पर लगाम लगाने की साजिश रचने की बजाय मुसलमानों के रुख का सम्मान करना चाहिए। सरकार पर्सनल लॉ से जुड़े मामलों में मुसलमानों पर दूसरे समुदायों का अनुसरण करने का दबाव नहीं बना सकती।’ पिछले दिनों विधि आयोग ने एक प्रश्नावली सामने रखी जिसमें समान नागरिक संहिता और तीन तलाक सहित कुछ बिंदुओं पर लोगों की राय मांगी गई है। बीते गुरुवार को ऑल इंडिया पर्सनल लॉ बोर्ड तथा कुछ अन्य प्रमुख मुस्लिम संगठनों ने इस प्रश्नावली का बहिष्कार करने का फैसला किया और कहा कि अगर देश में समान नागरिक संहिता को लागू किया गया तो यह सभी को ‘एक रंग में रंगने’ जैसा होगा। 

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