अंबाला: कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने के लिए दिल्ली की ओर कूच कर रहे किसानों का विरोध प्रदर्शन अब उग्र हो गया है। पंजाब के शंभू बॉर्डर की तरफ से दिल्ली जा रहे किसान प्रदर्शनकारियों ने जहां पुलिस बैरिकेड उठाकर नदी में फेंक दिए, वहीं सड़क पर लगे डिवाइडरों को भी नुकसान पहुंचाया और पुलिस कर्मियों पर पथराव भी किया। प्रदर्शनकारी किसानों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस अंबाला के पास शंभू बॉर्डर पर वाटर कैनन का भी इस्तेमाल कर रही है, लेकिन किसान काबू में आते नहीं दिख रहे हैं।
हरियाणा में किसानों के 'दिल्ली चलो' विरोध प्रदर्शन को देखते हुए दिल्ली-जम्मू हाइवे पर भारी संख्या में पुलिस कर्मी तैनात किए गए हैं और स्थिति पर नजर रखने के लिए पुलिस ड्रोन कैमरों का भी इस्तेमाल कर रही है। पंजाब के फतेहगढ़ साहिब से दिल्ली की तरफ आ रहे एक प्रदर्शनकारी ने बताया कि हम दिल्ली को कूच कर रहे हैं, वहां रोका जाएगा तो सब सड़कों पर जाम लगा देंगे। हमारे पास 4-5 महीने का सामान है, हजार से ज्यादा ट्रॉलियां जा रही हैं।
किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए दिल्ली से लगे गुरुग्राम और फरीदाबाद के बॉर्डरों पर पुलिस बल तैनात कर दिए गए हैं और वाहनों की भी गहनता से जांच की जा रही है।
वहीं, दिल्ली-हरियाणा के सिंघू बॉर्डर पर भारी संख्या में पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं। स्थिति पर नजर रखने के लिए पुलिस ड्रोन का भी इस्तेमाल कर रही है।
हरियाणा ने पंजाब से लगी सीमाएं पूरी तरह सील कीं
हरियाणा ने पंजाब से लगी अपनी सभी सीमाओं को पूरी तरह सील कर दिया है। पंजाब के किसानों को केन्द्र के कृषि संबंधी कानूनों के खिलाफ प्रस्तावित 'दिल्ली चलो' मार्च के लिए हरियाणा से लगी सीमाओं के पास इकट्ठा होता देख यह कदम उठाया गया है। अधिकारियों ने बताया कि पंजाब से लगी सीमाओं पर बड़ी संख्या में हरियाणा पुलिस की तैनाती की गई है। उन्होंने बताया कि दिल्ली से लगी सीमाओं पर भी हरियाणा पुलिस को पर्याप्त संख्या में तैनात किया गया है।
हरियाणा में भाजपा सरकार ने कहा था कि वह किसानों के दिल्ली की ओर जुलूस निकालने के मद्देनजर 26 और 27 नवम्बर को पंजाब से लगी अपनी सीमाओं को बंद कर देगी।
वहीं, दिल्ली पुलिस ने बुधवार को कहा कि उसने केंद्र के नए कृषि कानूनों के खिलाफ राजधानी में प्रदर्शन के लिए विभिन्न किसान संगठनों से मिले सभी अनुरोधों को खारिज कर दिया था। पुलिस ने कहा था कि कोविड-19 महामारी के बीच किसी प्रकार का जमावड़े करने के लिए शहर आने पर प्रदर्शनकारी किसानों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
पंजाब के किसान 30 किसान संगठनों का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। किसानों के ट्रैक्टर पर राशन, पानी सहित सभी इंतजाम दिख रहे हैं। वे अपनी ट्रैक्टर-ट्रॉलियों पर हरियाणा की सीमाओं के पास एकत्रित होना शुरू हो गए हैं। हरियाणा के अधिकारियों ने प्रदर्शन को रोकने के लिए कई इलाकों में धारा 144 भी लगा दी है। इस बीच, सर्दी और बारिश के मौसम में हजारों किसानों ने अस्थायी तंबुओं और ट्रैक्टर-ट्रॉलियों में रात गुजारी। किसान संगठनों ने कहा है कि उन्हें राष्ट्रीय राजधानी जाते हुए, उन्हें जहां कहीं भी रोका गया, वे वहीं धरने पर बैठ जाएंगे।