ताज़ा खबरें
महाराष्ट्र के नतीजे पर उद्धव बोले- 'यह सिर्फ एक लहर नहीं, सुनामी थी'
संसद में वायनाड के लोगों की आवाज बनूंगी: चुनाव नतीजे के बाद प्रियंका
झारखंड में 'इंडिया' गठबंधन को मिला बहुमत, जेएमएम ने 34 सीटें जीतीं
पंजाब उपचुनाव: तीन सीटों पर आप और एक पर कांग्रेस ने की जीत दर्ज

रांची: झारखंड की राजधानी रांची में बीते शुक्रवार को हुए हिंसक प्रदर्शन के कथित आरोपियों की तस्वीरों वाला पोस्टर जारी किए जाने के एक दिन बाद राज्य के गृह सचिव राजीव अरुण इक्का ने बुधवार शाम वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) से इस कथित ‘गैरकानूनी' गतिविधि पर स्पष्टीकरण मांगा है। उल्लेखनीय है कि राज्य की राजधानी में विभिन्न स्थानों पर पोस्टर लगाने के बाद पुलिस ने ‘‘तकनीकी त्रुटि'' के कारण इन्हें वापस ले लिया था। पुलिस ने कहा था कि वह त्रुटि को ठीक कर पोस्टर जारी करेगी।

गृह, कारागार और आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव इक्का ने एसएसपी को लिखे पत्र में कहा, ‘‘यह कानून सम्मत नहीं है और नौ मार्च 2020 को माननीय इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा जारी आदेश का उल्लंघन है।''

बता दें कि पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ निलंबित भाजपा प्रवक्ता नुपुर शर्मा और नवीन जिंदल की कथित विवादित टिप्पणी को लेकर रांची में शुक्रवार को भीड़ ने विरोध प्रदर्शन किया था। इस दौरान जमकर हिंसा हुई तथा उपद्रवियों को नियंत्रित करने के लिए पुलिस की कार्रवाई में दो लोगों की मौत हो गई थी।

करीब दो दर्जन लोग घायल हो गए थे। इसके चलते रांची के 12 थाना क्षेत्रों में निषेधाज्ञा लागू कर दी गई है और पूरे रांची जिले में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई थी। वहीं बड़े पैमाने पर पुलिस और अर्धसैनिक बलों की तैनाती भी की गई है। इस मामले में झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने एसआईटी का गठन किया है।

  • देश
  • प्रदेश
  • आलेख