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चंडीगढ़: भारत और पाकिस्तान के बीच टी-20 वर्ल्ड कप मैच को लेकर तनाव का असर पंजाब के एक कॉलेज में देखने को मिला, जहां कथित तौर पर कश्मीरी छात्रों पर हमला हुआ। बवाल का पता चलने के बाद पंजाब पुलिस के अधिकारी मौके पर पहुंचे और माहौल को शांत कराया। पंजाब पुलिस के अधिकारियों का कहना है कि भाई गुरदास इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी में हालात काबू में कर लिए गए हैं। अभी किसी पक्ष या कॉलेज प्रबंधन की ओर से कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई गई है।

खबरों के मुताबिक, पंजाब के संगरूर जिले के इस इंजीनियरिंग कॉलेज में कश्मीरी छात्रों ने आरोप लगाया कि भारत के वर्ल्ड कप मैच हारते ही उन पर हमला किया गया। कश्मीरी छात्रों ने कहा, "हम यहां मैच देख रहे थे, तभी यूपी वाले हम पर टूट पड़े। हम यहां पढ़ाई करने आए हैं और हम भी हिन्दुस्तानी हैं। आप देख सकते हैं कि हमारे साथ क्या सलूक किया गया। क्या हम भारतीय नहीं हैं? तो मोदी जी क्या कहते हैं?"

कश्मीरी छात्रों ने उनके कमरे में की गई तोड़फोड़ दिखाई। अभी इस केस में कोई कानूनी कार्रवाई नहीं हुई है।

चंडीगढ़: पंजाब कांग्रेस में अभी भी अंदरुनी कलह थमने का नाम नहीं ले रही है। पंजाब से सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री मनीष तिवारी ने पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू और पार्टी के पूर्व प्रभारी हरीश रावत पर पलटवार किया है। उन्होंने ये भी आरोप लगाया कि राज्य में जिन मुद्दों को हल करने के लिए नए मुख्यमंत्री की नियुक्ति हुई थी, वो सभी फेल रहे हैं।

इंडियन एक्सप्रेस को दिए हरीश रावत के एक इंटरव्यू का जिक्र करते हुए तिवारी ने उनके नेतृत्व में कांग्रेस में अमरिंदर सिंह बनाम नवजोत सिंह की लड़ाई को नहीं सुलझाने का आरोप लगाया। तिवारी ने कहा कि जिस समिति ने प्रत्यक्ष रूप से कथित और वास्तविक शिकायतों को सुना, उसके निर्णय में एक गंभीर त्रुटि थी। उन्होंने पूछा कि पार्टी विधायकों और अन्य गणमान्य लोगों को उत्तेजित करने वाले मुद्दों पर अब तक क्या प्रगति हुई है? लूट, ड्रग्स, अवैध रेत खनन जैसे मुद्दों का क्या हुआ? क्या इस दिशा में कुछ भी प्रगति हुई?

चंडीगढ़: सीएम पद छोड़ने के बाद भी कैप्टन अमरिंदर सिंह और पंजाब कांग्रेस में उनके विरोधियों के बीच बयानबाजी खत्म नहीं हो रही। गुरुवार को पंजाब कांग्रेस प्रधान नवजोत सिद्धू ने कैप्टन अमरिंदर सिंह को तीन कृषि कानूनों का निर्माता बताया जिसके बाद अमरिंदर ने पलटवार किया। उन्होंने हरीश रावत से लेकर नवजोत सिद्धू और परगट सिंह सभी पर सवाल उठाए।

रावत को उन्होंने कहा कि मुझे धर्मनिरपेक्षता का पाठ न पढ़ाएं। मत भूलिए नवजोत सिद्धू भाजपा से कांग्रेस में आए थे और परगट सिंह अकाली दल से पार्टी में शामिल हुए थे। आज आप मुझ पर अपने प्रतिद्वंद्वी अकालियों की मदद करने का आरोप लगा रहे हैं। क्या इसलिए मैं पिछले 10 सालों से उनके खिलाफ कोर्ट केस लड़ रहा हूं। मैं 2017 के बाद से पंजाब में सभी चुनाव क्यों जीता हूं। आपको लगता है कि मैं पंजाब में कांग्रेस के हितों का नुकसान करूंगा, लेकिन सच ये है कि मुझ पर भरोसा न करके और पार्टी की कमान नवजोत सिद्धू जैसे अस्थिर आदमी के हाथ में देकर पार्टी ने अपने हितों को नुकसान पहुंचाया है।

चंडीगढ़: पंजाब की सियासत में नवजोत सिंह सिद्धूू और पूर्व सीएम कैप्‍टन अमरिंदर सिंह के बीच फिर जुबानी जंग छिड़ गई है। दोनों नेताओं के बीच इस बार तीन केंद्रीय कृषि कानूनों को लेकर भिड़ंंत हुई है। नवजोत सिद्धू ने कैप्‍टन अमरिंदर सिंह को केंद्रीय कृषि कानूनों का निर्माता करार दिया तो पूर्व सीएम ने पलटवार कर सिद्धू के ज्ञान पर ही सवाल उठा दिया।

सिद्धू ने कैप्टन को बताया तीन कृषि कानूनों का निर्माता तो अमरिंदर ने गुरु के ज्ञान पर उठाया सवाल

कांग्रेस के प्रदेश प्रधान पद से इस्तीफा दे चुके नवजोत सिंह सिद्धू ने फिर सोशल मीडिया के माध्यम से कैप्टन अमरिंदर सिंह पर हमला बोला। सिद्धू ने कैप्टन का एक पुराना वीडियो शेयर करते हुए लिखा है, कैप्टन तीन काले कानून को निर्माणकर्ता हैं। जो अंबानी को पंजाब की किसानी में लाए, जिन्होंने पंजाब की किसानी को बर्बाद कर दिया। कैप्टन ने भी सिद्धू को जवाब देने में देरी नहीं की। उन्होंने कहा, आप (सिद्धू) को फसल विविधीकरण और कृषि कानून में अंतर समझ में नहीं आता है।

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