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लखनऊ: समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने फिर दोहराया है कि वह लोकसभा चुनाव लड़ेंगे। इस घोषणा के साथ ही अखिलेश ने दिल्ली की राजनीति में अहम भूमिका का संकेत दे दिया है। अखिलेश ने लोकसभा चुनाव लड़ने की बात मंगलवार को प्रेस कांफ्रेंस में कही, लेकिन यह नहीं बताया कि वह किस सीट से चुनाव लड़ेंगे। गौरतलब है कि पिछले दिनों अखिलेश यादव ने कहा था कि उनकी पत्नी डिंपल यादव लोकसभा चुनाव नही लड़ेंगी, लिहाजा माना जा रहा है कि वह अपनी पुरानी लोकसभा सीट कन्नौज से ही चुनाव लड़ेंगे। यहां से उनकी पत्नी डिंपल सांसद हैं। अखिलेश हाल तक विधान परिषद सदस्य थे लेकिन अब वह किसी सदन के सदस्य नहीं है, जबकि उनके पिता मुलायम सिंह यादव, चाचा रामगोपाल यादव, सांसद हैं।

सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कैराना लोकसभा उपचुनाव प्रभावित करने की कोशिश की। इसके साथ ही विपक्ष के जनाधार वाले क्षेत्रों में ईवीएम में जानबूझ कर गड़बड़ी कराई गई। यह लोकतंत्र के लिए खतरा है। आगे के सभी चुनाव बैलेट पेपर से ही होने चाहिए।

 

अखिलेश ने सपा दफ्तर में पत्रकारों से बातचीत में कहा कि दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे पर रोडशो कर उपचुनाव को प्रभावित करने की कोशिश की और अपने भाषण में कोटा के अंदर कोटा देने की बात कही। हम आज भी कहते हैं कि अगर आप पिछड़ों और अति पिछड़ों को आरक्षण देना चाहते हैं तो पहले सबकी गिनती तो कीजिए, फिर सबको आबादी के हिसाब से हक और सम्मान दे दीजिए। चूंकि आपको चुनाव को प्रभावित करना था, केवल इसलिए उन्होंने यह बात कही। सीएम योगी आदित्यनाथ ने गंगा में (हरिद्वार में ) सुबह-सुबह स्नान कर प्रभावित करने की कोशिश की।

अखिलेश ने कहा कि ईवीएम के मुद्दे पर वह इस मुद्दे पर अन्य राजनीतिक दलों से बात करेंगे। पत्र भी लिखेंगे कि वे एकजुट होकर एक बार फिर ईवीएम के खिलाफ बात रखें। दुनिया के अनेक विकसित देश ईवीएम के बजाय मतपत्र पर ही भरोसा करते हैं।

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