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दुबई: दुनिया की शीर्ष आठ टीमों के बीच बुधवार से चैंपियंस ट्रॉफी की शुरुआत होने जा रही है। आठ साल बाद इस टूर्नामेंट का आयोजन हो रहा है। दिलचस्प बात यह है कि इसका आयोजन हाइब्रिड मॉडल की तर्ज पर होगा जिसमें इसके मुकाबले पाकिस्तान और दुबई में खेले जाएंगे। भारत ने चैंपियंस ट्रॉफी के लिए पाकिस्तान की यात्रा करने से इंकार कर दिया था जो टूर्नामेंट का मेजबान है जिसके बाद आईसीसी ने भारत के मुकाबले दुबई में कराने का फैसला किया था।

चैंपियंस ट्रॉफी के लिए आठ टीमों को दो ग्रुप में बांटा गया है। ग्रुप ए में भारत, पाकिस्तान, न्यूजीलैंड और बांग्लादेश हैं, जबकि ग्रुप बी में दक्षिण अफ्रीका, अफगानिस्तान, इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया हैं। अपने-अपने ग्रुप में शीर्ष दो टीमें सेमीफाइनल के लिए क्वालिफाई करेंगी और दो टीमों के बीच नौ मार्च को फाइनल मुकाबला खेला जाएगा। भारत अगर टूर्नामेंट के खिताबी मुकाबले में पहुंचने में सफल रहा तो फाइनल मैच दुबई में ही आयोजित होगा। भारत के फाइनल में नहीं पहुंचने की स्थिति में यह लाहौर में खेला जाएगा।

आईसीसी टूर्नामेंट में अच्छा रहा है भारत का प्रदर्शन

भारत का पिछले कुछ समय से आईसीसी टूर्नामेंट में प्रदर्शन अच्छा रहा है। दिलचस्प बात यह है कि टीम इंडिया ने पिछले साल दक्षिण अफ्रीका को हराकर टी20 विश्व कप का खिताब जीता था और अब उसके पास छह महीने के अंदर दूसरा आईसीसी खिताब जीतने का मौका रहेगा। भारतीय टीम पिछली बार विजेता बनने से चूक गई थी और उसे फाइनल में पाकिस्तान से हार का सामना करना पड़ा था। भारत ने आखिरी बार 2013 में महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में चैंपियंस ट्रॉफी का खिताब जीता था और अब 12 साल बाद टीम की नजरें एक बार फिर इस खिताब को अपने नाम करने पर टिकी होंगी।

रोहित-कोहली पर होंगी नजरें

टीम समीकरणों के अलावा खिलाड़ियों पर भी नजरें होंगी जिनमें पहला नाम रोहित शर्मा और विराट कोहली का है। आधुनिक क्रिकेट के दोनों दिग्गज अपने करियर के आखिरी पड़ाव पर हैं और जीत के साथ विदा लेना चाहेंगे। भारतीय वनडे टीम में चैंपियंस ट्रॉफी के बाद रोहित और कोहली की जगह नहीं दिखती। यहां खराब खेलने पर टेस्ट क्रिकेट में भी उनके भविष्य पर असर पड़ सकता है। वहीं चैंपियंस ट्रॉफी में नाकामी की गाज कोच गौतम गंभीर पर भी गिर सकती है। इंग्लैंड के खिलाफ घरेलू सीरीज में अच्छे प्रदर्शन से गंभीर को क्षणिक राहत भले ही मिल गई हो, लेकिन न्यूजीलैंड और ऑस्ट्रेलिया के हाथों हार को इतनी जल्दी भुलाया नहीं जा सकता। ऐसे में आईसीसी खिताब उनके लिए बड़ा सहारा बन सकता है।

भारत को दबाव से बचना होगा

भारतीय टीम ने भी महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में 2013 चैंपियंस ट्रॉफी के बाद कोई वनडे खिताब नहीं जीता है। भारतीय टीम खिताब की प्रबल दावेदार के रूप में उतरेगी लेकिन एक सत्र या एक पल का खराब प्रदर्शन सारे समीकरण बिगाड़ सकता है। जैसा 2023 विश्व कप फाइनल में हुआ जब पूरे टूर्नामेंट में उम्दा प्रदर्शन के बाद भारतीय टीम आखिर में दबाव में आ गई।

पाकिस्तान-न्यूजीलैंड मैच से होगी शुरुआत

भारत के अलावा बात करें तो चैंपियंस ट्रॉफी की शुरुआत गत चैंपियन पाकिस्तान और न्यूजीलैंड के बीच मैच से होगी। इसके बाद गुरुवार को भारत का सामना बांग्लादेश से होगा। सभी की नजरें 23 फरवरी को दुबई में भारत और पाकिस्तान के बीच मुकाबले पर टिकी होंगी जो इस टूर्नामेंट का महामुकाबला होगा। आईसीसी टूर्नामेंट में हमेशा ही भारत का पलड़ा पाकिस्तान पर भारी रहता है, लेकिन भारतीय टीम 2017 की कड़वी यादों को दिमाग में रखना चाहेगी और पाकिस्तान से उस हार का बदला चुकता करने उतरेगी।

ऑस्ट्रेलिया-इंग्लैंड के लिए बड़ी चुनौती

वनडे विश्व कप की चैंपियन ऑस्ट्रेलिया टीम प्रमुख खिलाड़ियों की चोट से परेशान है। टीम अपने प्रमुख तेज गेंदबाजों पैट कमिंस, मिचेल स्टार्क और जोश हेजलवुड के बिना आई है, लेकिन उसके पास वनडे प्रारूप की जरूरतों पर खरे उतरने वाले बल्लेबाज हैं। इंग्लैंड के कुछ प्रमुख खिलाड़ियों पर बढ़ती उम्र और खराब फॉर्म हावी है, लेकिन जोस बटलर, जो रूट और लियाम लिविंगस्टोन से एक आखिरी बार उसी चिर परिचित प्रदर्शन की उम्मीद की जा सकती है या हैरी ब्रूक और बेन डकेट जैसे युवा खिलाड़ी नया रास्ता बना सकते हैं।

न्यूजीलैंड को पहले खिताब की तलाश

न्यूजीलैंड भी ट्रेंट बोल्ट और टिम साउदी के संन्यास के बाद नए खिलाड़ियों के साथ उतरी है। केन विलियमसन ट्रंपकार्ड हैं और उम्मीद है कि वह न्यूजीलैंड को पहला आईसीसी खिताब दिला सकेंगे। दक्षिण अफ्रीका ने 1998 में आईसीसी नॉकआउट ट्रॉफी जीती, लेकिन हाल ही में कोई खिताब नहीं जीत पाई और इस कमी को पूरा करना चाहेगी। अफगानिस्तान की जीत को अब उलटफेर नहीं माना जाता है। राशिद खान, आईसीसी वर्ष के सर्वश्रेष्ठ वनडे क्रिकेटर रहे अजमतुल्लाह उमरजई और रहमानुल्लाह गुरबाज जैसे मैच विनर उसके पास हैं। दूसरी ओर बांग्लादेश 2007 वनडे विश्व कप में उलटफेर कर चुका है और उसे दोहराना चाहेगा।

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