ओटावा: मार्क कार्नी को कनाडा की लिबरल पार्टी का नया नेता चुना गया है। वह जस्टिन ट्रूडो की जगह लेंगे और कनाडा के 24वें प्रधानमंत्री बनेंगे। बैंक ऑफ कनाडा के गवर्नर रहे मार्क कार्नी अब आम चुनावों में लिबरल पार्टी का नेतृत्व करेंगे। ट्रूडो ने जनवरी में अपने पद से इस्तीफे का एलान कर दिया था।
लिबरल पार्टी के नेतृत्व की दौड़ में कार्नी को निर्णायक जीत मिली है। उन्हें कुल 85.9 फीसदी वोट मिले। कार्नी ने अपने कैंपेन में खुद को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के विरोधी के तौर पर पेश किया। ट्रंप की टैरिफ धमकी को लेकर कार्नी ने कहा कि हम उन्हें सफल नहीं होने देंगे। उन्होंने कहा कि अमेरिका के खिलाफ टैरिफ तब तक लागू रहेगा जबतक अमेरिका हमारे साथ मुक्त व्यापार समझौता नहीं करता।
कौन हैं मार्क कार्नी
कनाडा की राजनीति में तेजी से उभरे 59 वर्षीय मार्क कार्नी एक प्रसिद्ध अर्थशास्त्री और पूर्व केंद्रीय बैंकर हैं। जस्टिन ट्रूडो के इस्तीफे के एलान के बाद वह प्रधानमंत्री की रेस में सबसे आगे चल रहे थे।
मार्क कार्नी का जन्म कनाडा के उत्तर पश्चिमी क्षेत्र के एक छोटे शहर में हुआ। उन्होंने हार्वर्ड और ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से अपनी पढ़ाई पूरी की। उन दिनों कार्नी हॉकी खेला करते थे।
2008 के वित्तीय संकट के दौरान मार्क कार्नी बैंक ऑफ कनाडा के गवर्नर थे और उन्होंने देश को बखूबी संभाला। इसके बाद वह बैंक ऑफ इंग्लैंड के गवर्नर भी बने, जिसके बाद उनकी ख्याति दुनियाभर में हुई। इस पद पर रहने वाले वह पहले गैर-ब्रिटिश नागरिक बने। सार्वजनिक सेवा में आने से पहले उन्होंने गोल्डमैन सैक्स में निवेश बैंकिंग के क्षेत्र में काम किया।
मार्क कार्नी को जब इंग्लैंड की केंद्रीय बैंक का गवर्नर बनाया गया तो वहां सभी राजनीतिक दलों ने उनकी तारीफ की। जिसके बाद वह एक अर्थशास्त्री के रूप में प्रसिद्ध हुए।
मार्क कार्नी ने 2020 में बैंक ऑफ इंग्लैंड से हटने के बाद संयुक्त राष्ट्र में भी काम किया। इतना अनुभव होने के बावजूद मार्क कार्नी ने कभी चुनाव नहीं लड़ा और न ही कनाडा की संसद में रहे।
कनाडा के नए प्रधानमंत्री मार्क कार्नी इंग्लैंड के किंग चार्ल्स तृतीय की प्रतिनिधि गवर्नर जनरल मैरी साइमन से मिलेंगे, जो उन्हें सरकार बनाने का न्योता देंगी।