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मुंबई: निर्वाचन आयोग के दावों के विपरीत महाराष्ट्र में इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) से छेड़छाड़ की बात साबित हुई है। सूचना के अधिकार के तहत मिली जानकारी से शनिवार को यह खुलासा हुआ। आरटीआई कार्यकर्ता अनिल गलगली ने बताया कि महाराष्ट्र के बुलढाना जिले में हाल ही में हुए परिषदीय चुनाव के दौरान लोणार के सुल्तानपुर गांव में मतदान के दौरान ईवीएम से छेड़छाड़ की बात सामने आई। गलगली ने कहा, "मतदाता जब भी एक प्रत्याशी को आवंटित चुनाव चिह्न नारियल का बटन दबाते तो भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के चुनाव चिह्न कमल के सामने वाला एलईडी बल्ब जल उठता। निर्वाचन अधिकारी ने इसकी जानकारी जिलाधिकारी को दी, जिसका खुलासा आरटीआई से मिली जानकारी में हुआ।" इलाके की एक निर्दलीय प्रत्याशी आशा अरुण जोरे ने 16 फरवरी को हुए मतदान के दौरान आई इस गड़बड़ी की शिकायत की थी और निर्वाचन अधिकारी से मामले की जांच रिपोर्ट देने के लिए कहा था, जिसके बाद गलगली ने 16 जून को आरटीआई दाखिल की। गलगली ने बताया, "बुलढाना के जिला निर्वाचन विभाग से आरटीआई के तहत मिली सूचना में बताया गया है कि लोणार कस्बे के सुल्तानपुर गांव में स्थापित किए गए मतदान केंद्र संख्या-56 पर मतदाता ने जब क्रम संख्या-1 पर मौजूद निर्दलीय प्रत्याशी के चुनाव चिह्न नारियल का बटन दबाया, तो क्रम संख्या-चार पर भाजपा प्रत्याशी के चुनाव चिह्न के सामने वाली बत्ती जली, जिससे कि मत भाजपा प्रत्याशी को चला गया।"

मुंबई: शिकायत के बाद भी बीएमसी की लापरवाही ने एक परिवार की खुशियां छीन लीं। सुबह की सैर के लिए निकली कंचन नाथ को नहीं पता था कि रोड के किनारे लगा नारियल का पेड़ उसकी मौत की वजह बन जाएगा। कंचन दूरदर्शन की एंकर रह चुकी हैं। कंचन नाथ हर रोज की तरह सुबह मॉर्निंग वॉक पर निकली थी। वो शहर के चेंबूर एरिया में चंद्रोदय सोसायटी में टहल रही थीं, उसी वक्त रोड किनारे लगा नारियल का पेड़ टूटकर उनके ऊपर गिर गया। हादसे के बाद कांचन बेहोश हो गईं और आस-पास के लोग उन्हें हॉस्पिटल लेकर गए। सिर में गंभीर चोट की वजह से उनकी मौत हो गई। यह घटना बीते गुरुवार की है जो सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई। इसका वीडियो वायरल हो गया। शनिवार सुबह उनकी मौत हो गई। एक अधिकारी ने बताया, ‘‘यह घटना बीते गुरुवार को चेम्बूर में उस वक्त हुई जब वह सुबह की सैर पर निकली थीं। पेड़ उनके ऊपर गिर गया जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गईं।’’ कंचन के पति रजत ने कहा कि वह ‘लापरवाही’ को लेकर बीएमसी पर मुकदमा करेंगे।

मुंबई: उत्तर प्रदेश एटीएस और महाराष्ट्र पुलिस ने एक संयुक्त कार्रवाई में मुंबई एयरपोर्ट से लश्कर-ए-तैयबा के संदिग्ध आंतकी सलीम खान को सोमवार को गिरफ्तार कर लिया। यूपी पुलिस को 2008 से इस संदिग्ध आतंकी की तलाश कर रही थी। कुछ दिनों पहले फैजाबाद से गिरफ्तार आईएसआई के एजेंट आफताब से पूछताछ में सलीम के बारे में पता चला था। आईएसआई एजेंट आफताब ने बताया था कि सलीम उसे विदेश से निर्देश देता था और पैसे भी भेजता था। 2008 में रामपुर सीआरपीएफ कैंप में हमले में गिरफ्तार दो आतंकियों कौसर और शरीफ ने भी बताया था कि सलीम ने उनके साथ 2007 में मुजफ्फराबाद आंतकी कैंप में ट्रेनिंग ली थी। पुलिस ने सलीम को खोजने के लिए लुकआउट नोटिस जारी किया था जिसके आधार पर उसे मुंबई एयरपोर्ट पर रोका गया। सलीम खान मूल रूप से उत्तरप्रदेश के फतेहपुर में बंदीपुर गांव का रहने वाला है। एटीएस आईजी असीम अरुण ने बताया कि गिरफ्तार करने के बाद यूपी पुलिस और महाराष्ट्र पुलिस उससे पूछताछ कर रही है।

मुंबई: महाराष्ट्र सरकार ने अभिनेता संजय दत्त को 1993 के बम विस्फोट मामले में दी गई सजा की अवधि से आठ महीने पहले रिहा करने के अपने फैसले को जायज ठहराते हुए बंबई हाईकोर्ट से कहा कि ऐसा नियमों के अनुरूप किया गया और संजय दत्त के साथ कोई विशेष व्यवहार नहीं हुआ है। हथियार रखने के जुर्म में संजय दत्त को पांच साल की जेल की सजा सुनाई गई थी। ये हथियार 1993 के विस्फोटों में इस्तेमाल किए गए हथियारों के जखीरे का हिस्सा थे। इस मामले में मुकदमे की सुनवाई के दौरान जमानत पर बाहर रहे अभिनेता ने सुप्रीम कोर्ट द्वारा अपनी दोषसिद्धि बरकरार रखने के बाद मई, 2013 में आत्मसमर्पण किया था। संजय को पुणे के येरवदा जेल में रखा गया था और अच्छे आचरण को देखते हुए सजा पूरी होने से आठ महीने पहले ही फरवरी, 2016 में रिहा कर दिया गया था। सरकार ने न्यायमूर्ति आरएम सावंत और न्यायमूर्ति साधना जाधव की पीठ को सौंपी रिपोर्ट में कहा कि संजय को उनके अच्छे आचरण, अनुशासन एवं शारीरिक अभ्यास, शैक्षणिक कार्यक्रमों जैसे विभिन्न संस्थागत गतिविधियों में हिस्सा लेने तथा आवंटित काम करने के लिए सजा में छूट दी गई। जेल के दौरान संजय को कोई वीआईपी ट्रीटमेंट नहीं दिया गया था। यह रिपोर्ट पुणे के रहने वाले प्रदीप भालेकर की जनहित याचिका के जवाब में अदालत को सौंपी गई।

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