पानागढ़/बर्दवान: पूर्व बर्दवान जिले की कालना महकमा पुलिस ने त्वरित कार्रवाई कर कालना थाना अंतर्गत नारकेलडांगा ग्राम स्थित क्षेत्रपाल पाड़ा में आठ शिशुओं को बलि चढ़ने से बचा लिया। हालांकि पुलिस की कार्रवाई का उपद्रवियों ने भारी विरोध किया और उन पर हमला कर दिया। झड़प में आधा दर्जन पुलिसकर्मी घायल हो गये।
स्थिति से निपटने के लिए अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की गयी और इलाके में सघन छापेमारी अभियान चलाकर 45 हमलावरों को गिरफ्तार किया गया। इनमें संबंधित तांत्रिक व नदिया जिले का निवासी सन्यासिनी सोरेन भी शामिल है। पुलिस ने सभी आरोपियों को शुक्रवार को कालना महकमा कोर्ट में पेश किया।
क्या है घटना
कालना महकमा पुलिस अधिकारी प्रियव्रत राय ने कहा कि सूचना मिली थी कि नारकेलडांगा ग्राम के क्षेत्रपाल पाड़ा के श्मशान घाट में काली पूजा के दौरान तांत्रिक सन्यासिनी सोरेन सिद्धि के लिए आठ शिशुओं की नरबलि देने की तैयारी में है।
पुलिस ने इस सूचना पर त्वरित कार्रवाई की। पुलिस टीम को संबंधित स्थल पर भेजा गया। मौके पर तांत्रिक आठ शिशुओं की नरबलि देने की प्रक्रिया में जुटा था। पुलिसकर्मियों ने बलि को बंद करने और शिशुओं को उसके कब्जे से लेने की कोशिश की।
पुलिस की कार्रवाई का तांत्रिक ने विरोध किया। इस दौरान तांत्रिक के उपद्रवी समर्थकों ने पुलिसकर्मियों पर हमला कर दिया। इस झड़प के बीच पुलिसकर्मियों ने सभी आठ बच्चों को वहां से निकाल लिया। लेकिन उपद्रवियों की संख्या अधिक होने के कारण संघर्ष में आधा दर्जन पुलिसकर्मी घायल हो गये। सभी घायल पुलिसकर्मियों को इलाज के लिए अस्पताल भेजा गया।
इसके बाद अतिरिक्त पुलिस बल के साथ उक्त इलाके में सघन छापेमारी अभियान चलाया गया। इसमें तांत्रिक सन्यासिनी सोरेन के साथ 45 उपद्रवियों को गिरफ्तार किया।
रायगंज में नरबलि का आरोप
बुधवार को नरक चतुर्दशी की देर रात रायगंज के शक्ति नगर इलाके में एक युवक की बलि देने का आरोप है। गुरुवार को दिवाली के दिन शव बरामद होने के बाद मामले का खुलासा हुआ। स्थानीय लोगों व पुलिस को शक है कि माणिक भौमिक नामक स्थानीय तांत्रिक ने अमावस्या की रात नरबलि दी है। पुलिस ने तांत्रिक को गिरफ्तार कर लिया है। घटना को लेकर इलाके में दहशत है।