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संविधान ने देश में बदलाव लाने में उल्लेखनीय मदद की: सीजेआई खन्ना

कोलकाता: पश्चिम बंगाल के उत्तरी 24 परगना स्थित बशीरहाट में हिंसक घटनाओं के बाद अब भी तनाव बना हुआ है। इस पूरे मामले पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने न्यायिक जांच के आदेश दे दिए हैं। इसके अलावा बशीरहाट के एसपी भास्कर मुखर्जी को हटा दिया गया है। उनकी जगह सी सुधाकर को वहां का नया एसपी बनाया गया है। वहीं शनिवार को एक बार फिर भाजपा नेताओं का एक प्रतिनिधिमंडल बशीरहाट जाने से रोक दिया गया था। भाजपा के इन नेताओं को कोलकाता में रोककर हिरासत में ले लिया गया, लेकिन बाद में उन्हें छोड़ दिया गया। इस बीच बीजेपी ने राज्यपाल से मिलकर राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की। दरअसल सोशल मीडिया पर एक आपत्तिजनक पोस्ट डाले जाने के बाद से यहां हिंसा भड़की थी। इस हिंसा का दायरा जब बढ़ा तो हालात पर क़ाबू पाने के लिए बीएसएफ़ को बुलाया गया। धारा 144 लागू होने के बाद भी हिंसा हुई और प्रदर्शनकारियों ने रास्ते बंद किए। इस पर पुलिस ने आंसू गैस के गोले भी छोड़े हिंसा के दौरान एक शख़्स की मौत भी हुई है। भाजपा के प्रतिनिधमंडल में सांसद मीनाक्षी लेखी, ओम माथुर और सत्यपाल सिंह शामिल थे

 लेखी ने पुलिसकर्मियों से पूछा था कि जैसा कि राज्य सरकार दावा कर रही है कि बशीरहाट में स्थिति नियंत्रण में है तो उन्हें वहां जाने की इजाजत क्यों नहीं दी जा रही? उन्होंने पुलिसकर्मियों से कहा, हम सांसद हैं और सिर्फ हम तीन ही लोग वहां जाएंगे। आप हमारे साथ चलिए। पुलिसवालों ने हालांकि उन्हें इसकी इजाजत नहीं दी थी।

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