कोलकाता: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने आज (शुक्रवार) यहां होम्योपैथी और भारतीय औषधि प्रणाली की देश के स्वास्थ्य क्षेत्र में ‘‘महत्वपूर्ण भूमिका’’ को रेखांकित किया। यहां साइंस सिटी ऑडिटोरियम में होम्योपैथी अवार्ड समारोह में आज सुबह उन्होंने कहा कि औषधीय प्रणाली ज्यादा लोकप्रिय हो रही है क्योंकि यह एलोपैथी के मुकाबले सस्ती है और इसका कोई साइड इफेक्ट भी नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘होम्योपैथी और भारतीय औषधि व्यवस्था जैसे यूनानी और सिद्धा देश में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं और इनके योग्य चिकित्सकों की भारी कमी है।’’ राष्ट्रपति ने कहा कि होम्योपैथी और दूसरे केंद्र राष्ट्रपति भवन में खोले गये और यह ज्यादा से ज्यादा मरीजों को आकषिर्त कर रहे हैं। समारोह के आयोजक एलम होम्योपैथी के कार्यकारी निदेशक अशोक कुमार दास ने राष्ट्रपति के संबोधन से ठीक पहले अपनी बात रखते हुये कहा कि मुखर्जी को इस पद पर दूसरे कार्यकाल के लिये चुना जाना चाहिये। राष्ट्रपति ने देश के 196 होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेजों के कुछ टॉपरों को छठे डॉ. मालती एलन नोबल अवार्ड से सम्मानित किया। बांग्लादेश के दो कॉलेजों के टॉपरों को भी इस दौरान सम्मानित किया गया।
अन्य टॉपरों को इस महीने बाद में सम्मानित किया जायेगा।