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नई दिल्ली: शेयर बाजार विशेषज्ञों का कहना है कि नये सप्ताह में मंगलवार को होने वाली भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समीक्षा बैठक के नतीजे, विदेशी निधियों के निवेश के रख और तिमाही नतीजों की घोषणा शेयर बाजार की दिशा निर्धारित करेंगे। ट्रेड स्मार्ट ऑनलाइन के संस्थापक निदेशक विजय सिंघानिया ने कहा, सप्ताह के दौरान ब्याज दर में कटौती तथा कंपनियों के नतीजे कारोबारी धारणा को निर्धारित करेंगे। निवेशकों के लिए अगली बड़ी घटना रिजर्व बैंक की नीतिगत समीक्षा बैठक होगी। रिजर्व बैंक मंगलवार को वर्ष 2016-17 के लिए पहली द्वैमासिक मौद्रिक नीति घोषणा करेगा। उन्होंने कहा, संभवत: आगामी मौद्रिक नीति शेयर बाजार की आगे की दिशा को निरपित करने के लिहाज से मुख्य उत्प्रेरक तत्व साबित होगी। उन्होंने कहा कि ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदों के अलावा निवेशकों की उम्मीदें मार्च, 2016 तिमाही के कंपनियों के नतीजों पर भी टिकी हैं। भेल द्वारा 31 मार्च को समाप्त होने वाले वर्ष के लिए गुरुवार को अपने नतीजों की घोषणा करेगी।

नई दिल्ली: देश की प्रमुख सिगरेट कंपनियों आईटीसी, गोडफ्रे फिलिप्स और वीएसटी ने सिगरेट पैक पर स्वास्थ्य संबंधी चित्रात्मक चेतावनी के नए नियम के खिलाफ आज एक अप्रत्याशित फैसले में अपने कारखानों में उत्पादन तुरंत प्रभाव से बंद करने का फैसला किया है। कंपनियों ने कहा है कि सिगरेट पैकेट के 85 प्रतिशत हिस्से पर चित्रात्मक चेतावनी प्रकाशित करने संबंधी नियम संशयपूर्ण हैं। टोबाको इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की सदस्य ये कंपनियां देश में सिगरेट पर शुल्क में 98 प्रतिशत योगदान करती है। इनका दावा है कि उनके कारोबार बंद करने से दैनिक 350 करोड़ रुपये के कारोबार का नुकसान होगा। टोबाको इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (टीआईआई) ने एक वक्तव्य में कहा है, 'तंबाकू उत्पाद के पैकेटों पर ग्राफिक स्वास्थ्य चेतावनी के नीतिगत संशोधन मामले में संशय की स्थिति के चलते सदस्य एक अप्रैल 2016 से आगे सिगरेट विनिर्माण जारी रखने में असमर्थ हैं।' टीआईआई के निदेशक सैयद महमूद अहमद ने भारतीय तंबाकू उद्योग ने 15 मार्च को स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय को पत्र लिखकर इस मामले में स्पष्टीकरण मांगा था।

मेलबर्न: वित्त मंत्री अरूण जेटली ने देश के विनिर्माण तथा बुनियादी ढांचा क्षेत्र में महत्वपूर्ण निवेश अवसरों को रेखांकित करते हुए ऑस्ट्रेलियाई कंपनियों को भारत आने व निवेश करने का न्योता दिया है। जेटली ऑस्ट्रेलिया की चार दिन की यात्रा पर यहां आए हुए थे। अपनी यात्रा के दौरान जेटली ने प्रधानमंत्री मेलकम टर्नबुल, उर्जा मंत्री जोश रफीडनबर्ग, वित्त मंत्री स्काट मोरिसन, वित्त मंत्री मेथियास कोरमन्न व अन्य वरिष्ठ नेताओं से मुलाकात की। अपनी यात्रा के पहले दिन जेटली ने सिडनी में ‘मेक इन इंडिया’ सम्मेलन का उद्घाटन किया और भारत में विदेशी निवेश पर जोर दिया। इस दौरान उन्होंने विशेष रूप से विनिर्माण तथा बुनियादी ढांचा क्षेत्र को रेखांकित किया। केनबरा में जेटली ने टर्नबुल से मुलाकात की और व्यापार सहित अन्य द्विपक्षीय मुद्दों पर चर्चा की। जेटली ने केनबरा में भारतीय उच्चायोग द्वारा आयोजित एक विशेष कार्य्रकम में भी भाग लिया जहां वे भारतीय समुदाय के लोगों से मिले। मेलबर्न में वित्त मंत्री ने आस्ट्रेलिया के सेवानिवृत्ति कोषों के एक उच्च स्तरीय प्रतिनिध मंडल तथा निवेशकों और फिक्की के प्रतिनिधि मंडल से मुलाकात की।

नई दिल्ली: सरकार ने मंगलवार को ऑनलाइन रिटेल प्लेटफॉर्म के क्षेत्र में 100 प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) की अनुमति दे दी है। इस फैसले से अमेजन और ईबे जैसी विदेशी कंपनियों के अलावा फ्लिपकार्ट और स्नैपडील जैसी घरेलू कंपनियों को बढ़ावा मिलेगा। औद्योगिक नीति एवं संवर्धन विभाग (डीआईपीपी) के दिशानिर्देशों में यह स्पट है कि माल रखकर ई-कॉमर्स के जरिये उसकी खुदरा बिक्री के मॉडल में एफडीआई की अनुमति नहीं होगी। डीआईपीपी के प्रेस नोट में कहा गया है कि ई-कॉमर्स मार्केट प्लेस विक्रेता को भंडारगृह, लॉजिस्टिक्स, ऑर्डर को पूरा करने, कॉल सेंटर, भुगतान लेने और अन्य सेवाओं के रूप में सपोर्ट सेवाएं उपलब्ध करा सकते हैं। हालांकि, इस तरह की इकाइयों का इन्वेंटरी पर स्वामित्व का अधिकार नहीं होगा। इस तरह के स्वामित्व से कारोबारी मॉडल इन्वेंटरी आधारित मॉडल हो जाएगा। दिशानिर्देश में हालांकि कहा गया है कि ई-कॉमर्स कंपनी को अपने मार्केट प्लेस पर किसी एक वेंडर या अपने समूह की कंपनी को कुल बिक्री का 25 प्रतिशत से अधिक करने की अनुमति नहीं होगी।

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