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मैसूर: कर्नाटक में लुटेरों के एक गिरोह ने पैसा देने से मना करने पर एक छात्रा के साथ कथित तौर पर गैंगरेप किया। इतना ही नहीं छात्रा के बॉयफ्रेंड को गुंडों ने बेरहमी से पीटा भी। पुलिस के मुताबिक यह घटना कर्नाटक के मैसूर में सामने आई है। पुलिस ने पीड़िता की शिकायत पर मामले में एफआईआर (प्रथम सूचना रिपोर्ट) दर्ज कर ली है। एफआईआर के अनुसार, शहर के बाहरी इलाके में चामुंडी हिल्स के समीप लुटेरों के गिरोह ने कपल को घेर लिया और उनसे पैसे मांगे। मना करने पर उन पर हमला किया गया। दो आरोपियों ने कथित तौर पर छात्रा के साथ बलात्कार किया, उसके बॉयफ्रेंड को गिरोह के सदस्यों ने पीटा।

मामले में गृह मंत्री अरागा ज्ञानेंद्र ने कहा कि एफआईआर दर्ज कर ली गई है। हमारे अधिकारियों को बेंगलुरु से मैसूर भेजा गया है। मैं भी कल मैसूर जा रहा हूं। यह बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। कल शाम करीब साढ़े सात बजे दो छात्र हेलीपैड के पास जंगल में गए। बदमाशों के एक समूह ने उनका पीछा कर वारदात को अंजाम दिया है। देर रात करीब डेढ़ बजे छात्रा को अस्पताल में भर्ती कराया गया। सुबह अस्पताल से जानकारी मिली।

बंगलूरू: कोरोना वायरस की तीसरी लहर की आशंकाओं के बीच कर्नाटक सरकार ने कमर कस ली है। इसके मद्देनजर राज्य सरकार ने गुरुवार को मुहर्रम और गणेश चतुर्थी के दौरान 20 अगस्त तक सभी जुलूसों पर प्रतिबंध लगाने का आदेश जारी किया। मुहर्रम के लिए जारी आदेश में राज्य सरकार ने कहा है कि सभी नमाज मस्जिदों में कोरोना मानदंडों तहत ही आयोजित की जानी चाहिए। वहीं, 10 वर्ष से कम और 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोग अपने घरों में ही नमाज अदा करें।

मस्जिदों में कोरोना प्रोटोकॉल का पालन हो
सरकार ने कहा कि 20 अगस्त तक सभी प्रकार के जुलूसों पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। आलम/पांजा और ताजिया को बिना छुए दूर से देखा जा सकता है। प्रार्थना कक्षों में मास्क पहनना अनिवार्य होगा। सभी नमाज मस्जिदों में कोरोना प्रोटोकॉल के तहत होनी चाहिए। मुहर्रम के अवसर पर मस्जिद को छोड़कर, सामुदायिक हॉल, खुले मैदान, शादी महल आदि में सामूहिक प्रार्थना सभा की अनुमति नहीं होगी।

बंगलूरू: तीसरी लहर की आशंका के बीच बंगलूरू में कोरोना खतरनाक रूप अख्तियार कर चुका है। आंकड़ों की बात की जाए तो एक से 11 अगस्त के बीच सिर्फ बंगलूरू में ही 543 बच्चों में कोरोना की पुष्टि हुई है। इन सभी की उम्र 0 से 19 वर्ष के बीच है। इस बीच अपने अधिकारिक दौरे से लौटे सीएम  बसवराज बोम्मई ने शुक्रवार को विशेषज्ञों के साथ आपात बैठक बुला ली है। 

गौरतलब है कि, विशेषज्ञों की राय के बाद ही सीएम ने कर्नाटक में स्कूलों को खोले जाने का आदेश पारित किया था। लेकिन, विकराल होते कोरोना को देखते हुए इस बैठक में कई कड़े निर्णय लिए जा सकते हैं। उधर, बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका की ओर से जारी किए गए बयान में बताया कि जिन 543 बच्चों व युवाओं में कोरोना की पुष्टि हुई है। उनमें से ज्यादातर में कोरोना के या तो हल्के लक्षण हैं या फिर लक्षण ही नहीं है। 

वैज्ञानिक, इसे बड़ा खतरा मान रहे हैं। क्योंकि, बिना लक्षणों के कोरोना बच्चों व युवाओं पर आक्रमण कर रहा है। इससे तीसरी लहर की आशंका भी बढ़ती जा रही है।

बेंगलुरू: मंत्रिमंडल के गठन के बाद किसी भी मुख्‍यमंत्री के लिए विभागों का बंटवारा करना आसान काम साबित नहीं होता। हाल ही में कर्नाटक के सीएम बने बासवराज बोम्‍मई भी इसी समस्‍या का सामना कर रहे। अपने सभी कैबिनेट को खुश करने के लिए उन्‍हें मशक्‍कत करनी पड़ रही है। कांग्रेस से भाजपा में आए कांग्रेस विधायक आनंद सिंह का कहना है कि वह अपने विभाग-पर्यटन, पारिस्थितिकी और पर्यावरण से संतुष्‍ट नहीं है। सिंह ने अपने गृह जिले बेल्‍लारी में संवाददाताओं के साथ चर्चा में कहा, 'मैं इसके लिए नहीं कहा था। मैं केवल यही कह सकता हूं कि मैंने जो भी आग्रह किया था, वह पूरा नहीं हुआ। मैं अभी इस बारे में कमेंट नहीं कर सकता। मैं फिर सीएम से मिलूंगा और एक बार फिर अनुरोध करूंगा।'

रिपोर्ट के अनुसार, एमटीबी नागराज भी नगरीय प्रशासन और गन्‍ना मंत्रालय के प्रभार से नाखुश बताए जाते हैं। वे भी ऐसे पूर्व कांग्रेसी नेता है जिन्‍होंने वर्ष 2019 में जेडीएस-कांग्रेस गठबंधन सरकार को गिराने में मदद की थी और अपनी 'निष्‍ठा' बदली थी।

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