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बेंगलुरू: कर्नाटक में रामनगरा विधानसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को उस समय करारा झटका लगा, जब उसके उम्मीदवार ने वोट डाले जाने से महज दो दिन पहले ही मैदान छोड़ते हुए कांग्रेस पार्टी का दामन थाम लिया। इस सीट पर मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी की पत्नी अनीता कुमारस्वामी अपना भाग्य आजमा रही हैं। भाजपा उम्मीदवार एल चंद्रशेखर के इस चौंका देने वाले कदम के बाद उनका चुनाव अब महज औपचारिकता भर रह गया है।

चंद्रशेखर ने कांग्रेस में अपने शामिल होने को मातृ दल में वापसी बताया और भाजपा पर आरोप लगाया कि उसके नेताओं ने टिकट देने के बाद उन्हें छोड़ दिया। उन्होंने संवाददाताओं को बताया, भाजपा में पार्टी का झंडा पकड़ा कर उनका स्वागत करने के बाद से, येदियुरप्पा (भाजपा प्रदेशाध्यक्ष) या किसी अन्य नेता ने चुनाव प्रचार में मेरा साथ नहीं दिया। उन्होंने रामनगरा की इसलिए उपेक्षा की क्योंकि दल के भीतर ही इसके नेताओं में आंतरिक उठापटक है। येदियुरप्पा पर फोन तक न उठाने का आरोप लगाते हुये उन्होंने कहा कि वह भाजपा में अपने राजनीतिक भविष्य को लेकर चिंतित थे इसलिए उन्होंने चुनावी मैदान से अपना नाम वापस लेने का फैसला किया।

चंद्रशेखर, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सी एम लिंगाप्पा के पुत्र हैं और जब कांग्रेस ने गठबंधन के सहयोगी जनता दल (सेक्युलर) का समर्थन करने का फैसला किया तो उन्होंने भाजपा का दामन थाम लिया और कुछ दिनों बाद उन्हें इस सीट से टिकट दे दिया गया।

इस घटनाक्रम पर टिप्पणी करते हुये येदियुरप्पा ने शिवमोगा में संवाददाताओं से बातचीत करते हुये आरोप लगाया कि चंद्रशेखर को वरिष्ठ कांग्रेसी नेता शिवकुमार ने खरीद लिया है। उन्होंने कहा, शिवकुमार और उनके भाई (डीके सुरेश) उन्हें पैसे देकर वापस ले गये हैं, मुझे अभी ये सूचना मिली है। ईश्वर भला करे।

इस सीट पर पहले कुमारस्वामी विजयी रहे थे लेकिन उन्होंने इससे इस्तीफा देकर चेन्नापटना सीट को बरकरार रखा था। कुमारस्वामी ने मई में हुये विधानसभा चुनावों में इन दोनों सीटों पर विजय हासिल की थी। राज्य में तीन लोकसभा सीटों शिवमोगा, बेल्लारी और मांड्या जबकि दो विधानसभा सीटों रामनगरा एवं झामखांडी के उपचुनावों के लिए तीन नवम्बर को मत डाले जायेंगे। मतों की गिनती छह नवम्बर को होगी।

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