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बेंगलुरू: कर्नाटक में सोमवार को 105 शहरी स्थानीय निकायों (यूएलबी) के लिए मतों की गिनती सुबह 8 बजे से शुरू हो गई। 31 अगस्त को हुए निकाय चुनावों के परिणाम आज देर शाम तक या मंगलवार सुबह तक आने की उम्मीद है। राज्य की 29 नगरपालिकाओं, 53 टाउन नगर पालिकाओं और 23 टाउन पंचायतों के 2,633 वार्डों में और तीन नगर निगमों के 135 वार्डों में मतदान हुआ। कर्नाटक भाजपा अध्यक्ष बीएस येदियुरप्पा ने कहा कि नतीजे उम्मीद से ज्यादा खराब हैं। उन्होंने कहा कि गठबंधन सरकार की वजह से पार्टी उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं कर पाई। हालांकि उन्होंने यह भी यकीन जताया कि लोकसभा चुनाव का परिणाम इससे काफी अलग होगा और भाजपा बहुमत से जीतेगी।

राज्य निर्वाचन आयोग के मुताबिक, शनिवार को हुए चुनावों में कांग्रेस को 966 सीटों पर जीत मिली और भाजपा के खाते में 910 सीटें आयीं। अभी तक 2,709 में से 2,628 सीटों के नतीजे घोषित किए गए हैं। राज्य सरकार में गठबंधन में होने के बावजूद कांग्रेस और जेडीएस ने अलग-अलग चुनाव लड़ा था लेकिन उन्होंने पहले ही एलान कर दिया कि वे शहरी निकाय चुनावों के बाद गठबंधन करेंगे।

कांग्रेस और जेडीएस ने मिलकर 1,339 सीटें जीती हैं जिसके साथ उन्हें स्पष्ट तौर पर भाजपा पर बढ़त और यूएलबी की अधिकतम सीटों पर कब्जा मिल गया है। निकाय चुनावों के लिए राज्य में 67.5 प्रतिशत मतदाताओं मे मतदान किया। सभी जगह में मतदान के लिए इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) का इस्तेमाल किया गया था। शहरी स्थानीय निकाय चुनाव के लिए कुल 36 लाख मतदाताओं ने पंजीकरण कराया और 13.33 लाख मतदाता तीन शहरों मैसूर, शिमोगा और तुमकुरू के थे। कुल 8,340 उम्मीदवार मैदान में हैं।

शहरी निकाय चुनावों में में कांग्रेस के 2,306 उम्मीदवार, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के 2,203 और जनता दल-सेकुलर (जेडी-एस) के 1,397 मैदान में हैं जबकि 814 शहर निगमों में चुनाव लड़ रहे हैं, जिनमें कांग्रेस से 135, भाजपा से 130 और जेडी-एस से 129 उम्मीदवार शामिल हैं। साल 2013 में 4,976 सीटों पर शहरी निकाय चुनाव हुए थे। कांग्रेस ने 1,960 सीटें जीती थीं, जबकि बीजेपी और जेडी-एस ने दोनों ने 905 सीटें जीती थीं और निर्दलियों ने 1,206 सीटें जीती थीं।

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