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चंडीगढ़ (जनादेश ब्यूरो): तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव गलवान घाटी में शहीद हुए सैनिकों और पिछले साल किसान आंदोलन के दौरान मारे गए किसानों को श्रद्धांजलि देने के लिए पंजाब में हैं। पंजाब में उन्होंने किसान नेताओं से केंद्र के खिलाफ अपना आंदोलन जारी रखने की अपील की, जब तक उन्हें फसलों के समर्थन मूल्य पर संवैधानिक गारंटी नहीं मिल जाती। उन्होंने कहा, 'किसान सरकारें बदल सकते हैं।' उन्होंने राष्ट्रव्यापी आंदोलन के लिए एकजुट होने का आह्वान करते हुए कहा कि वह आम आदमी पार्टी (आप) जैसे अन्य विपक्षी दलों के साथ शामिल होंगे और समर्थन करेंगे। प्रमुख किसान नेता राकेश टिकैत भी वहां मौजूद थे। 

तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव इन दिनों क्षेत्रीय दलों के प्रमुख नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं। साथ ही वह 2024 के चुनाव के लिए भूमिका तैयार करने में लगे हुए हैं। रविवार को वह दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ चंडीगढ पहुंचे। उन्होंने किसान आंदोलन के दौरान जान गंवाने वाले किसानों को श्रद्धांजलि दी।

उन्होंने किसानों से कहा कि वे तब तक आंदोलन करते रहें जब तक कि उन्हें एमएसपी की संवैधानिक गारंटी नहीं मिल जाती। उन्होंने कहा, किसान जब चाहें सरकार बदल सकते हैं। उनके लिए यह कोई बड़ी बात नहीं है। उन्होंने कहा, किसान पूरे देश में आंदोलन करें। हम लोग विपक्षी पार्टियों को साथ लेकर पूरा समर्थन करेंगे। किसानों को इस तरह संबोधित करते हुए उन्होंने राष्ट्रीय राजनीति में कदम जमाने की कोशिश शुरू कर दी है। उन्होंने चंडीगढ़ में मृतक किसानों के परिवार वालों को 3-3 लाख रुपये की मदद राशि भी दी।

प्रमुख किसान नेता राकेश टिकैत भी वहां मौजूद थे। राकेश टिकैत पिछले साल विवादास्पद कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन के नेताओं में से एक थे। केसीआई ने अपने भाषण की शुरुआत में उनका नाम भी लिया।

गौरतलब है कि कांग्रेस ने बीते दिनों उदयपुर में तीन दिनों का चिंतन शिविर आयोजित किया था। इसमें पार्टी के बड़े नेता शामिल हुए और 2024 आम चुनाव के लिए रणनीति तैयार की गई। चिंतन शिविर के आखिरी दिन राहुल गांधी ने क्षेत्रीय पार्टियों को लेकर बयान दिया था कि भाजपा को हराना रीजनल पार्टी के बस की बात नहीं है। इस बयान के बाद कांग्रेस के अलग-थलग पड़ने के कयास भी लगाए जा रहे थे। दूसरी तरफ अब तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव कांग्रेस को अलग छोड़कर क्षेत्रीय दलों के साथ मिलकर अलग मोर्चा बनाने की तैयारी में हैं।

केसीआर अब शनिवार को दिल्ली पहुंचे थे। उन्होंने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की और शिक्षा व्यवस्था की तारीफ की। अब वह पंजाब पहुंचकर किसान आंदोलन के दौरान जिन किसानों की जान गई है, उनके परिवारों से मिलने वाले हैं। अधिकारियों ने यह भी बताया कि मृतक किसानों के परिवारों को वह 3 लाख रुपये की मदद भी देंगे। उनके साथ दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवल और पंजाब के सीएम भगवंत मान रहेंगे।

अखिलेश यादव से की थी मुलाकात

केसीआर ने उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और सपा प्रमुख अखिलेश यादव से भी मुलाकात की। इसी बीच तेलंगाना कांग्रेस ने केसीआर पर दोहरा रवैया अपनाने का आरोप लगाया है। कांग्रेस प्रवक्ता दासोजू श्रवण ने कहा कि मुख्यमंत्री ने तेलंगाना में आत्महत्या करने वाले 8 हजार किसानों को लेकर आंखें बंद कर रखी हैं।

पश्चिम बंगाल और बिहार भी जाएंगे केसीआर

26 मई को केसीआर बेंगलुरु में पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा से मिलेंगे। इसके बाद वह महाराष्ट्र में रालेगण सिद्धी जाकर सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे से मुलाकात करेंगे। बताया जा रहा है कि अगले सप्ताह वह पश्चिम बंगाल और बिहार भी जाएंगे। वह उन जावनों के परिवारों से भी मुलाकात करेंगे जिनकी जान गलवान घाटी में संघर्ष के दौरान चली गई थी।

केसीआर 2024 के चुनाव से पहले भाजपा के खिलाफ क्षेत्रीय दलों को एकजुट करने में जुटे हैं। 2019 के चुनाव से पहले भी उन्होंने ऐसा प्रयास किया था लेकिन बात बन नहीं पाई थी।

 

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