सासाराम: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को बिहार विधानसभा चुनावों के लिए अपनी पहली चुनावी रैली में हिस्सा लेने सासाराम पहुंचे थे। पीएम ने यहां पर कई मुद्दों को लेकर विपक्ष पर हमला किया। उन्होंने इस दौरान जम्मू-कश्मीर में विशेष दर्जा देने वाली धारा 370 हटाने के केंद्र के फैसले का भी जिक्र किया और कहा कि विपक्ष इस फैसले की आलोचना कर रहा है। उन्होंने कहा, 'सबको आर्टिकल 370 हटाए जाने का इंतजार था, लेकिन ये लोग कह रहे हैं कि अगर वो सत्ता में आते हैं तो वो इस फैसले को पलट देंगे।'
पीएम ने कहा, 'एनडीए सरकार ने आर्टिकल 370 को हटा दिया। ये लोग कहते हैं कि अगर ये वापस सत्ता में आए तो इसे दोबारा ले आएंगे। ऐसे बयान देने के बाद ये लोग बिहार में वोट मांगने की हिम्मत कैसे कर सकते हैं? क्या यह बिहार का अपमान नहीं है? ऐसा राज्य जो अपने बेटे-बेटियों को सीमा पर सुरक्षा करने के लिए भेजता है।' दिलचस्प यह है कि पिछले साल अगस्त में केंद्र की मोदी सरकार के इस फैसला का विरोध खुद नीतीश कुमार ने किया था।
यहां तक कि उनकी पार्टी जनता दल यूनाइटेड के सांसदों ने संसद के दोनों सदनों में इसका विरोध किया था। एनडीए की सहयोगी होने के बावजूद नीतीश कुमार के इस स्टैंड ने सबको हैरान कर दिया था। हालांकि, इसके कुछ दिनों बाद ही नीतीश कुमार और उनकी पार्टी केंद्र के साथ ही लाइन पर आ गई।
जेडीयू नेताओं ने कहा कि उसने इस कदम का विरोध इसलिए किया था क्योंकि इसपर उससे चर्चा नहीं की गई थी, लेकिन चूंकि अब यह कानून बन चुका है, ऐसे में पार्टी इसका समर्थन करेगी। पार्टी के नेता आरसीपी सिंह ने पिछले साल अगस्त में कहा था कि 'कश्मीर को मिला विशेष दर्जा खत्म हो गया है और अब हमने धारा 370 को पीछे छोड़ दिया है।'