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मुंबई: महाराष्‍ट्र का सियासी संकट सुलझने के बाद बजाय उलझता जा रहा है। एकनाथ शिंदे की अगुवाई वाले बागी विधायक ने अब अपने तेवर और सख्‍त कर लिए हैं। शिंदे के समर्थक विधायकों ने राज्‍यपाल भगत सिंह कोश्‍यारी और महाराष्‍ट्र विधानसभा के डिप्‍टी स्‍पीकर को पत्र लिखकर आग्रह किया है कि एकनाथ शिंदे, जिन्‍हें शिवसेना ने वर्ष 2019 में विधायक दल का नेता नियुक्‍त किया था, वे इस पद पर बने रहेंगे। इनका यह भी कहना है कि भारत गोगावले को पार्टी का चीफ व्हिप नियुक्‍त किया गया है और वे अभी भी शिवसेना में हैं।

'बागियों' के इस लेटर में विद्रोही तेवर अख्तियार करने के कारणों का खुलासा किया है। खास बात यह है कि इसमें कहा गया है कि वे इस बात की पुष्टि करते हैं कि शिंदे विधायक दल के नेता हैं। उन्‍होंने भरत गोगावले की चीफ व्हिप के तौर पर नियुक्ति की बात कही। इन्‍होंने सुनील प्रमुख की इस पद पर नियुक्ति को रद्द कर दिया। इस पत्र में निर्दलीय सहित 34 विधायकों के दस्‍तखत हैं। गौरतलब है कि शिंदे ने एक ट्वीट कर सीएम उद्धव ठाकरे की ओर से आज शाम को बुलाई गई पार्टी विधायकों की बैठक को "अवैध" बताया है।

बागियों के तेवरों को देखते हुए शिवसेना की ओर से बैठक का लेटर जारी किया था, जिसमें चेतावनी भरे लहजे में कहा कि शाम 5 बजे की इस बैठक में भाग न लेने वालों विधायकों पर कार्रवाई की जाएगी। व्‍हाट्सएप ईमेल और एसएमएस के जरिये भेजे गए इस लेटर में कहा गया है कि शिवसेना ने 'वर्षा' (सीएम उद्धव ठाकरे का आधिकारिक आवास) सभी विधायकों की बैठक बुलाई है। सीएम ठाकरे, जो कि कोविड संक्रमित है, के वीडियो कॉन्‍फ्रेसिंग के जरिये इस बैठक की अध्‍यक्षता करने की संभावना है।

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