पुणे: पूरे विश्व में कोरोना वैक्सीन और उसके वितरण को लेकर बातचीत जोरों पर है। इसी बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कोविड-19 वैक्सीन उत्पादन और प्रस्तावित वितरण योजना को देखने के लिए शनिवार को सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) का दौरा करेंगे। पुणे मंडल के आयुक्त सौरभ राव ने कहा, "हमें 28 नवंबर को प्रधानमंत्री की पुणे यात्रा के बारे में आधिकारिक पुष्टि मिल गई है। पीएम सीरम संस्थान जाएंगे जो कोविड -19 वैक्सीन के उत्पादन पर काम कर रहा है।" हालांकि, अभी तक उनकी यात्रा पर प्रधानमंत्री कार्यालय से कोई स्वतंत्र पुष्टि नहीं की गई थी।
इस बीच प्रधानमंत्री मोदी की पुणे यात्रा की तैयारी के लिए प्रशासन ने पहले ही कई बैठकें की हैं। अधिकारियों के अनुसार, प्रधानमंत्री एसआईआई के हडपसर परिसर में विभिन्न सुविधाओं का देखेंगे, जहां पुणे की फर्म ने कोविशिल्ड वैक्सीन का उत्पादन शुरू किया है। दुनिया की सबसे बड़ी वैक्सीन बनाने वाली कंपनी एसआईआई ने ब्रिटिश-स्वीडिश फार्मा कंपनी एस्ट्राजेनेका के साथ मिलकर जेनर इंस्टीट्यूट ऑफ ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी द्वारा विकसित वैक्सीन के निर्माण के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं।
ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय और एस्ट्राजेनेका दोनों ने सोमवार को कहा कि उनकी वैक्सीन आखिरी चरण के परीक्षण में में 90% तक प्रभावी थी, उम्मीद है कि साल के अंत तक भारत में यह वैक्सीन आ जाएगी।
राव ने कहा कि मोदी का मिनट टू मिनट कार्यक्रम दोपहर तक तैयार हो जाएगा। इसके अलावा जिला प्रशासन के एक अन्य अधिकारी ने कहा कि पीएम की यात्रा का उद्देश्य कोरोनावायरस संक्रमण के लिए वैक्सीन उम्मीदवार की स्थिति की समीक्षा करना और उसके प्रक्षेपण, उत्पादन और वितरण तंत्र के बारे में जानना होगा।
प्रधानमंत्री की यात्रा कोविड-19 वैक्सीन के उत्पादन और कंपनी के वितरण योजना की देखरेख के लिए 4 दिसंबर को पुणे के सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया में विभिन्न देशों के राजदूतों और उच्चायुक्त के आगमन से पहले होगी, जब इसे उपयोग के लिए नियामकों से अनुमति मिल जाएगी।
विदेश मंत्रालय द्वारा जारी यात्रा कार्यक्रम के अनुसार, दिल्ली में स्थित विदेशी राजदूतों और उच्चायुक्तों की परिचय यात्रा एक दिन और दो समूहों में होगी। राजदूत सुबह SII जाएंगे और कंपनी के हडपसर परिसर में लगभग तीन घंटे का दौरा कर सुविधाओं को देखेंगे। दिल्ली वापस जाने से पहले दोपहर तक वे गेन्कोवा बायोफार्मास्यूटिकल्स लिमिटेड में पहुंचेंगे, जो अपने हिंजेवाड़ी परिसर में एक और कोविड-19 वैक्सीन के उत्पादन पर भी काम कर रहा है।