कोलकाता: भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने बुधवार को कहा कि बिहार चुनाव में सफलता के बाद पार्टी का मुख्य ध्यान अब पश्चिम बंगाल पर होगा जहां विधानसभा चुनाव अप्रैल-मई 2021 में होने की उम्मीद है। भाजपा ने पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में 200 से अधिक सीटें जीतने का लक्ष्य निर्धारित किया है। बिहार विधानसभा चुनाव के मंगलवार को घोषित नतीजों के मुताबिक राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को 243 सदस्यीय राज्य सदन में 125 सीटों पर जीत मिली है। इनमें से भाजपा 74 सीटें जीतकर लालू प्रसाद की राजद के बाद राज्य में दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनी है जबकि भाजपा की सहयोगी जदयू ने 43 सीटों पर जीत दर्ज की है।
भाजपा के बंगाल प्रभारी विजयवर्गीय ने कहा कि बिहार चुनाव होने के बाद अब पार्टी का पूरा ध्यान राजनीतिक रूप से अहम पश्चिम बंगाल पर होगा जहां से लोकसभा के लिए 42 सांसद निर्वाचित होते हैं, यह संख्या बिहार से दो सीट अधिक है।
भाजपा सूत्रों ने कहा कि पिछले लोकसभा चुनाव में 42 में से 18 सीटें जीतकर भाजपा ने पश्चिम बंगाल में गहरी पैठ बना ली है (जो 2019 के आम चुनाव में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस से चार कम है) और भाजपा राज्य की ममता बनर्जी सरकार पर आखिरी दौर का हमला शुरू करने के लिए बिहार चुनावों के संपन्न होने का इंतजार कर रही थी।
विजयवर्गीय का मानना है कि केवल बिहार विधानसभा चुनाव के परिणाम ही नहीं बल्कि भाजपा की देशभर में हुए उपचुनावों में जीत ने यह दिखाया है कि लोगों का विश्वास न केवल उसमें बल्कि केंद्र की भाजपा सरकार के नीतियों में भी बढ़ा है।
उन्होंने कहा, ''किसी भी जीत से पार्टी कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ता है। बिहार और उपचुनावों में भाजपा की जीत राज्य में उसके कार्यकर्ताओं का मनोबल बढाने का काम करेगी। पश्चिम बंगाल राज्य अब हमारे लिए मुख्य ध्यान वाला होगा।'' उन्होंने कहा, ''बंगाल में एक परिवर्तन के लिए आधार तैयार हो चुका है और हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि तृणमूल कांग्रेस सरकार के खिलाफ गुस्से को एक दिशा मिले। हम लोगों को तृणमूल कांग्रेस के कुशासन से मुक्त करने के लिए हमारी पूरी ऊर्जा का इस्तेमाल करेंगे।''
उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में पार्टी की जीत बड़ी होगी और पार्टी दो तिहाई बहुमत हासिल करके सत्ता में आएगी। उन्होंने कहा, ''यदि आप बिहार और उपचुनाव के नतीजों का विश्लेषण करेंगे तो आप देखेंगे कि भाजपा का 'स्ट्राइक रेट बहुत अच्छा है। बंगाल में हम अकेले लड़ रहे हैं, इसलिए हम राज्य में 200 से अधिक सीटों के लक्ष्य को पार करने को लेकर आश्वस्त हैं।
केंद्रीय गृह मंत्री एवं भाजपा के शीर्ष नेता अमित शाह ने पिछले सप्ताह राज्य की अपनी यात्रा के दौरान कहा था कि पश्चिम बंगाल पार्टी के लिए ''प्रमुख ध्यान वाला राज्य है और वह यहां ''बड़े जनादेश के साथ जीतेगी।'' भाजपा प्रदेश प्रमुख दिलीप घोष ने कहा कि ''बिहार के बाद भाजपा के लिए पश्चिम बंगाल होगा।
घोष ने कहा, ''पड़ोसी राज्य बिहार में भाजपा के समर्थन में लहर पश्चिम बंगाल में भी तृणमूल कांग्रेस को बहा ले जाएगी। दोनों राज्यों के चुनावों में अंतर यह है कि हम बिहार में लगभग 15 वर्षों से सत्ता में थे, लेकिन पश्चिम बंगाल में हम एक चुनौती देने वाले हैं।'' राज्य के भाजपा नेताओं के एक वर्ग ने हालांकि यह रेखांकित किया कि बिहार चुनाव परिणामों का पश्चिम बंगाल के चुनावों पर सीमाई क्षेत्रों में सीटों के अलावा बहुत कम प्रभाव होगा। हालांकि यह बंगाल में पार्टी कार्यकर्ताओं के लिए ''मनोबल बढ़ाने का काम करेगा।'' हालांकि, तृणमूल कांग्रेस ने भाजपा के पश्चिम बंगाल में 200 से अधिक सीटें जीतने के लक्ष्य का मखौल उड़ाया।