अस्ताना (कजाखस्तान): पांच बार की विश्व चैम्पियन एमसी मैरीकोम और एशियाई खेलों की कांस्य पदक विजेता एल सरिता देवी को एआईबीए महिला विश्व मुक्केबाजी चैम्पियनशिप में अपने अपने दूसरे दौर के मुकाबलों में शिकस्त का सामना करना पड़ा जिससे वे ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करने में नाकाम रही। लंदन ओलंपिक 2012 में कांस्य पदक जीतने वाली मैरीकोम (51 किग्रा) को दूसरे दौर में जर्मनी की एजिज निमानी के खिलाफ 0-2 से शिकस्त झेलनी पड़ी जबकि सरिता (60 किग्रा) को विक्टोरिया टोरेस के खिलाफ 0-3 से हार का सामना करना पड़ा। इस प्रतियोगिता से ओलंपिक वर्गों के सेमीफाइनल में प्रवेश करने वाले मुक्केबाज ही रियो के लिए क्वालीफाई करेंगे। ओलंपिक के लिए अब भारत की एकमात्र उम्मीद पूजा रानी (75 किग्रा) बची हैं जो प्री क्वार्टर फाइनल में जगह बना चुकी हैं। मैरीकोम ने कहा कि मैंने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास किया। जीतना और हारना खेल का हिस्सा है। इस फैसले से मुझे चोट पहुंची है लेकिन यह मेरे हाथ में नहीं है। मुझे सच्ची खेल भावना के साथ जजों के फैसले का सम्मान करना होगा। मैरीकोम के पास हालांकि रियो में जगह बनाने का मामूली सा मौका है और यह उनके वर्ग के पदक विजेताओं पर निर्भर करेगा। लेकिन फिलहाल यह काफी जटिल नजर आता है।
निमानी को अगले दौर में इटली की शीर्ष वरीय डेविड मर्जिया का सामना करना है जिन्होंने हंगरी की कैटलिन एंकसिन को हराया। शाम के सत्र में सरिता ने टोरेस के खिलाफ ठोस शुरुआत की लेकिन मैक्सिको की खिलाड़ी ने धीरे-धीरे दबदबा बनाते हुए मैच जीत लिया। दोनों मुक्केबाजों ने एक दूसरे पर ताबड़तोड़ प्रहार किए और तीसरे दौर तक दोनों बुरी तरह थक चुकी थी। सरिता पहले दो दौर में खंडित फैसले से आगे चल रही थी लेकिन टोरेस ने अंतिम दौर में वापसी करते हुए जीत दर्ज की। यह टूर्नामेंट तीन ओलंपिक वर्गों 51 किग्रा, 60 किग्रा और 75 किग्रा के लिए अंतिम क्वालीफाइंग प्रतियोगिता है और इसके जरिये 12 मुक्केबाजों को ओलंपिक टिकट मिलेगा।