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नई दिल्ली: प्याज की बढ़ती कीमतों को लेकर लोकसभा में विपक्ष की ओर से सवाल उठने के बाद सरकार ने प्याज की कीमतों पर नियंत्रण की कवायद शुरू कर दी है। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने प्याज की आसमान छूती कीमतों के बारे में चर्चा करने के लिए केंद्रीय मंत्रियों और शीर्ष अधिकारियों के साथ गुरुवार को बैठक की। उन्होंने कीमतों को काबू करने के लिए आयात के जरिये प्याज की घरेलू उपलब्धता सुनिश्चित करने की दिशा में हुई प्रगति की समीक्षा की।

अधिकारियों ने इसकी जानकारी देते हुए कहा कि इस बैठक में रेल मंत्री पीयूष गोयल और कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने भाग लिया। खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान स्वास्थ्य कारणों से बैठक में शामिल नहीं हो सके। बैठक में मंत्रिमंडलीय सचिव राजीव गौबा, प्रधानमंत्री के सलाहकार पी.के.सिन्हा और उपभोक्ता मामलों के सचिव अविनाश श्रीवास्तव भी मौजूद थे। शाह ने प्याज की उपलब्धता बढ़ाकर कीमतों पर काबू करने के लिए आयात तेज करने के संबंध में पिछली बैठक में लिए गए निर्णय पर अमल की प्रगति की समीक्षा की।

श्रीवास्तव ने बैठक में प्याज की कीमतों की स्थिति प्रस्तुत की। उन्होंने बताया कि एमएमटीसी ने मिस्र और तुर्की से 21 हजार टन प्याज मंगाने के ठेके दिए हैं। इनकी खेप जनवरी मध्य तक पहुंचने का उम्मीद है।

बता दें कि प्याज की कीमतों को लेकर हाहाकार मचा हुआ है। पिछले सप्ताह तक जहां प्याज 70-80 रुपये किलो बिक रहा था अचानक दाम 100-150 रुपये किलो तक पहुंच गया है। प्याज की बढ़ती कीमतों पर विपक्ष भी हमलावर हो गया है और इसकी चर्चा से संसद का शीतकालीन सत्र गर्माया हुआ है।

मंत्रियों के बयान और तर्क

बता दें कि देश में प्याज के आसमान छूते दामों पर केंद्र सरकार के मंत्रियों की ओर से अजीबोगरीब बयान आ रहे हैं। पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि वह खाने में प्याज-लहसुन इस्तेमाल नहीं करतीं। उनके बाद केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे ने भी कमोबेश ऐसा ही बयान दिया। उन्होंने कहा, 'मैं शाकाहारी हूं। कभी प्याज नहीं खाया है। तो मेरे जैसा इंसान प्याज के दामों के बारे में कैसे जानेगा।'

केंद्रीय मंत्री ने वित्त मंत्री के बयान का भी बचाव किया। उन्होंने कहा, 'ऐसा कहां कहा उन्होंने। उन्होंने संसद में डटकर बयान दिया और बताया कि सरकार क्या-क्या योजना लेकर आई है। सीतारमण जी ने किसी प्रकार का कोई विवादास्पद बयान नहीं दिया है।'

आज ही जमानत पर रिहा हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने भी निर्मला सीतारमण के प्याज वाले बयान पर तंज कसते हुए कहा कि वह क्या खाती हैं? क्या वह एवोकाडो खाती हैं?' इसके साथ ही संसद परिसर में उन्होंने कांग्रेस नेताओं के साथ प्याज की कीमतों पर विरोध प्रदर्शन किया।

बाद में एक संवाददाता सम्मेलन में चिदंबरम ने कहा कि वित्त मंत्री पर उनकी टिप्पणी व्यंग्यात्मक नहीं थी। मैं व्यंग्य नहीं कर रहा था, मैं उसे उद्धृत कर रहा था। उन्हें पहले से योजना बनानी चाहिए थी, अब प्याज आयात करने का क्या मतलब है, वे कब आएंगे। लेकिन अगर वित्त मंत्री कहती हैं कि मैं प्याज नहीं खाती, तो इससे इस सरकार की मानसिकता का पता चलता है।

सरकार ने बुधवार को कहा था कि राज्य द्वारा संचालित ट्रेडिंग फर्म एमएमटीसी ने तुर्की से 4,000 टन प्याज आयात का एक और ऑर्डर दे रखा है और शिपमेंट जनवरी के मध्य तक पहुंचने की उम्मीद है। यह 17,090 टन प्याज के अलावा पहले से अनुबंधित है, जिसमें मिस्र से 6,090 टन और तुर्की से 11,000 टन शामिल हैं।

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