नई दिल्ली: आयकर विभाग ने अपने आकलन अधिकारियों से कहा है कि वे रुग्ण कंपनियों की ओर से बायफर की मंजूर पुनर्वास योजना के तहत टैक्स में राहत के लिए प्रस्तुत किए गए दावों की जांच करें। रुग्ण कंपनी अधिनियम 2085 के तहत वित्तीय खस्ताहाली में फंसी कंपनियों के पुनर्गठन के लिए औद्योगिक एवं वित्तीय पुनर्गठन बोर्ड (बायफर) द्वारा मंजूर प्रस्तावों के तहत ऐसी कंपनियां टैक्स राहत का दावा कर सकती है। आयकर विभाग ने कहा है कि ऐसी कंपनियों के लिए टैक्स राहत अब स्वत: लागू नहीं होगी क्योंकि उपरोक्त अधिनियम 1 दिसंबर 2016 से खत्म किया जा चुका है। विभाग ने सभी प्रधानम मुख्य आयकर आयुक्तों को एक परिपत्र लिख कर कहा है कि आकलन अधिकारी ऐसे दावों की जांच करेंगे कि कही दावा अनुचित तरीके से तो नहीं किया गया है या राहत गलती से तो नहीं दी गयी है।