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लखनऊ: समाजवादी पार्टी के रहनुमा पूर्व रक्षामंत्री मुलायम सिंह यादव ने पार्टी सांसद आजम खां के खिलाफ की जा रही कानूनी कार्रवाई को राजनीति से प्रेरित बताया। उन्होंने लंबे अरसे बाद प्रदेश की राजनीति में संक्रिय भागीदारी करते हुए पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं से आजम खां के समर्थन में जनांदोलन शुरू करने का आव्हान किया। समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव ने करीब दो साल बाद लखनऊ स्थित समाजवादी पार्टी कार्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस की। प्रेस कॉन्फ्रेंस रामपुर से सपा सांसद आजम खां के बचाव में की।

चंदा मांगकर उन्होंने यूनिवर्सिटी बनाई

समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव ने करीब दो साल बाद लखनऊ स्थित समाजवादी पार्टी कार्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस की। प्रेस कॉन्फ्रेंस रामपुर से सपा सांसद आजम खां के बचाव में की। मुलायम सिंह यादव ने सांसद आजम खां का बचाव करते हुए कहा कि उन्होंने चंदा मांगकर जौहर यूनिवर्सिटी बनवाई। आजम खान ने सारी जिंदगी मेहनत की। मुलायम सिंह ने आगे कहा कि आजम पर गलत तरीके से मुकदमे दर्ज किए गए। यह आजम खां के खिलाफ एक साजिश है। मैं उन्हें नज़दीक से जानता हूं। एक गरीब परिवार के पढ़े लिखे इंसान हैं।

मुलायम सिंह ने सरकार की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि दो बीघा जमीन के लिए 27 केस क्यों दायर किए गए। जबकि आजम खां ने इस विश्वविद्यालय के लिए सारी जिंदगी काम किया है।

उन्होंने कहा, 'आजम खां लंबे समय से गरीबों की लड़ाई लड़ते आए हैं। उन्होंने हमेशा गरीबों की मदद की है और आज उन पर तरह-तरह के आरोप लगाए जा रहे हैं। गरीबों की मदद करने वाला जालिम कैसे हो सकता है?' मुलायम ने कहा कि जौहर यूनिवर्सिटी की जमीन का मामला उछालकर आजम को फंसाने की कोशिश की जा रही है। आजम ने जौहर यूनिवर्सिटी चंदे के पैसे से खरीदी है। मुलायम ने मौजूदा सरकार पर हमला बोलते हुए फिर सवाल खड़ा किया कि 2 बीघा जमीन के लिए 27 मुकदमे क्यों दर्ज करा दिए गए? मुलायम ने आजम पर दर्ज मुकदमों को बेबुनियाद और साजिश करार दिया। उन्होंने सपा कार्यकर्ताओं और नेताओं से आजम के समर्थन में आने की अपील भी की।

बताते चलें कि आजम खां पर जौहर यूनिवर्सिटी से जुड़े और कई अन्य मामलो में प्रशासन की ओर से 70 से ज्यादा मुकदमे दर्ज किए जा चुके हैं। इस संबंध में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव की भी सहमति है। मुलायम व आजम खां की दोस्ती तीन दशक से ज्यादा पुरानी है। बीच में आजम खां जरूर कुछ समय के लिए सपा से अलग हो गए थे लेकिन वह किसी दल में  नहीं गए थे।

मुलायम ने दो साल बाद की प्रेस कांफ्रेंस

मुलायम सिंह यादव ने दो साल बाद प्रेस कांफ्रेंस की है। आजम पर प्रशासन के बढ़ते दबाव को देखते हुए यह कदम उठाना पड़ा है। वैसे मुलायम सियासी तौर पर अब कम सक्रिय हैं। बढ़ती उम्र व बीमारी के कारण वह लोकसभा चुनाव में भी ज्यादा जगह प्रचार पर नहीं जा सके। लेकिन सपा बसपा गठबंधन से असहमति जताते हुए उन्होंने अपने संसदीय क्षेत्र मैनपुरी में आयोजित गठबंधन की रैली में बरसों पुरानी अदावत भुलाते हुए बसपा सुप्रीमो मायावती के साथ मंच शेयर किया था और उनकी तारीफ की थी। 

 

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