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बेंगलुरु: कावेरी मुद्दे पर तमिलनाडु में कल राज्यव्यापी बंद से पहले कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने आज (गुरूवार) तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जे जयललिता को पत्र लिखकर उनसे अनुरोध किया है कि कन्नड़ भाषी लोगों की जान और माल की हिफाजत की जाए। सिद्धरमैया ने अपने पत्र में लिखा, ‘मैं इस बात से बहुत चिंतित हूं कि कुछ संगठनों ने कल तमिलनाडु में बंद का आह्वान किया है। आप इस बात से सहमत होंगी कि दोनों राज्यों के बीच किसी तरह की कटुता के बढ़ने से दोनों ही राज्यों को सामूहिक नुकसान होगा।’ विज्ञप्ति के रूप में यहां मीडिया को जारी पत्र में कहा गया है, ‘मैं आपसे इस बाबत कदम उठाने का अनुरोध करता हूं कि 16 सितंबर 2016 को तथाकथित बंद के दौरान कोई अप्रिय घटना नहीं घटे और तमिलनाडु में कन्नड भाषी जनता की जान और माल की हिफाजत हो।’ कर्नाटक में तमिलनाडु के लोगों पर हमलों के खिलाफ किसानों और व्यापारियों के संगठनों ने कल बंद का आह्वान किया है। बंद को द्रमुक, एमडीएमके, पीएमके, माकपा, भाकपा और अन्य दलों का समर्थन है। सिद्धरमैया ने कहा कि कावेरी जल बंटवारे के मुद्दे पर अदालतें फैसला कर रही हैं और कावेरी सुपरवाइजरी समिति इसे देख रही है तो बंद और आंदोलनों के माध्यम से कोई फायदा नहीं मिलने वाला। सिद्धरमैया ने जयललिता से मीडिया को भी कावेरी आंदोलन से जुड़े घटनाक्रम की खबरें जिम्मेदार तरीके से प्रसारित प्रकाशित करने के लिए परामर्श जारी करने का अनुरोध करते हुए कहा, ‘‘हमने मीडिया को कावेरी आंदोलन से संबंधित घटनाक्रम की रिपोर्टिंग जिम्मेदाराना तरीके से करने की सलाह दी है।

मैं आपसे भी ऐसा ही करने का अनुरोध करता हूं।’

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