नई दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को फिर कहा कि वह राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) को लेकर कहे गए अपने हर शब्द पर कायम हैं। साथ ही वह संघ के 'घृणास्पद और विभाजनकारी एजेंडे' से लड़ना कभी नहीं छोड़ेंगे। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को ट्वीट कर कहा कि वह अपने उस बयान पर कायम हैं, जिसमें उन्होंने महात्मा गांधी की हत्या को लेकर आरएसएस के लोगों को जिम्मेदार ठहराया था। राहुल गांधी ने ट्वीट किया, 'मैं आरएसएस के घृणित और विभाजनकारी एजेंडे के खिलाफ हमेशा लड़ता रहूंगा। मैं अपने हर एक शब्द पर आज भी कायम हूं।' राहुल ने इस ट्वीट के साथ ही 2014 में मुंबई के भिवंडी में अपने भाषण का छोटा सा वीडियो भी शेयर किया है। गौरतलब है कि राहुल गांधी का यह ट्वीट ऐसे समय आया है जब बुधवार को राहुल के वकील ने सुप्रीम कोर्ट में बयान पर सफाई देते हुए कहा- आरएसएस नहीं बल्कि इससे जुड़ा एक व्यक्ति उनकी हत्या के लिए जिम्मेदारी है। सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा कि अदालत यह मानती है कि राहुल ने महात्मा गांधी की हत्या के लिए आरएसएस संस्था को हत्यारा नहीं कहा था। सिर्फ संघ से जुड़े लोगों के लिए राहुल ने ऐसा कहा था। कोर्ट ने कहा कि ऐसे में आरएसएस के लिए मानहानि की बात नहीं लगती। मामले की अगली सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में एक सितंबर को होगी। कोर्ट उसी दिन केस रद्द करने के आदेश दे सकती है।
बुधवार की सुनावाई के बाद कांग्रेस और आरएसएस के बीच चल रहे राजनीतिक वाकयुद्ध का पटाक्षेप होता दिख रहा है लेकिन गुरुवार को एक बार फिर से राहुल के ट्वीट के बाद इस मामले के और तूल पकड़ने के आसार बन गए हैं। संघ और भाजपा इस मुद्दे को फिर से सियासी जामा पहनाकर हंगामेदार बना सकती है। राहुल गांधी ने 2014 में लोकसभा चुनाव दौरान भिवंडी में एक सभा के दौरान कहा था, 'आरएसएस के लोगों ने गांधीजी को गोली मारी और आज उनके लोग गांधीजी की बात करते हैं। सरदार पटेल कांग्रेस के नेता थे। उन्होंने आरएसएस के बारे में साफ लिखा है। उनके संगठन के बारे में बहुत साफ लिखा है और आज कांग्रेस पार्टी के नेताओं को कहते हैं कि अरे वो तो हमारे नेता थे। तो सोच हम देते हैं, नेता हमारे होते हैं, उनका वो विरोध करते हैं और फिर अपना बता देते हैं।'