हावड़ा/रांची: झारखंड से कांग्रेस के तीन विधायकों को शनिवार रात पुलिस ने पश्चिम बंगाल के हावड़ा जिले में रोका। उनके वाहन से भारी मात्रा में नकदी बरामद की गई है। इधर, पार्टी विधायकों के पास से कैश की जब्ती के बाद कांग्रेस की झारखंड इकाई ने दावा किया कि भारी मात्रा में यह नकदी हेमंत सोरेन सरकार को गिराने की बीजेपी की साजिश का हिस्सा है। कांग्रेस राज्य में लालू प्रसाद यादव की राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के साथ सोरेन सरकार का हिस्सा है।
झारखंड कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष बंधु टिर्की ने कहा, ‘‘ऐसा लगता है कि यह भाजपा की साजिश है. हेमंत सोरेन सरकार के सत्ता में आने के बाद से ही भाजपा उसे अस्थिर करने का प्रयास कर रही है। अगर हम देखें कि महाराष्ट्र और कुछ अन्य राज्यों में क्या हुआ तो यह साफ हो जाएगा कि भाजपा सरकारों को सत्ता से बाहर करने के लिए धन का प्रयोग करती है।''
उन्होंने कहा, ‘‘मैं पार्टी आलाकमान से इन तीन विधायकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का अनुरोध करता हूं, ताकि पार्टी के अन्य सदस्यों को कड़ा संदेश दिया जा सके।''
गौरतलब है कि भ्रष्टाचार के एक मामले में दोषी पाए जाने के बाद हाल ही में टिर्की को विधायक पद से अयोग्य करार दिया गया था।
पूरे प्रकरण पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस के राष्ट्रीय संचार प्रभारी जयराम रमेश ने ट्वीट किया, "झारखंड में भाजपा का 'ऑपरेशन लोटस' हावड़ा में बेनकाब हो गया।" उन्होंने लिखा, "दिल्ली में 'हम दो' का गेम प्लान झारखंड में वही करना है, जो उन्होंने महाराष्ट्र में ई-डी (एकनाथ शिंदे-देवेंद्र फडणवीस) जोड़ी लगाकर किया।"
वहीं, पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने दावा किया कि ये बीजेपी की सरकार को अस्थिर करने की साजिश है। कांग्रेस नेता ने महाराष्ट्र के राजनीतिक संकट का उल्लेख किया, जो पिछले महीने उद्धव ठाकरे सरकार के पतन के साथ समाप्त हुआ था, जब शिवसेना के विधायकों के एक गुट ने पार्टी प्रमुख के खिलाफ विद्रोह कर दिया था, और असम के गुवाहाटी में रुके थे।
झारखंड में सत्तारूढ़ झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा, ‘‘पार्टी इस मुद्दे पर अपना रुख बाद में बताएगी।'' विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की झारखंड इकाई के अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने कहा कि कांग्रेस विधायकों को बताना चाहिए कि उन्हें इतनी बड़ी मात्रा में नकदी कहां से मिली।
कांग्रेस के बयान का समर्थन करते हुए पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने दावा किया कि विधायकों की खरीद-फरोख्त और झामुमो नीत झारखंड सरकार को संभावित रूप से सत्ता से बाहर करने की अफवाहों के बीच नकदी बरामद की गई है।
टीएमसी ने ट्वीट किया, ‘‘विधायकों की खरीद-फरोख्त और झारखंड सरकार को संभावित रूप से सत्ता से बाहर करने की अफवाहों के बीच झारखंड कांग्रेस के तीन विधायकों को बंगाल में भारी मात्रा में नकदी लाते हुए पकड़ा गया है। इस धन का स्रोत क्या है? क्या कोई केंद्रीय एजेंसी इस पर स्वत: संज्ञान लेगी? या नियम चुनिंदा लोगों पर ही लागू होते हैं?''
वहीं, झारखंड से निर्दलीय विधायक सरयू रॉय ने कांग्रेस से यह बताने को कहा है कि क्या विधायक नकदी लेकर झारखंड लौट रहे थे या झारखंड से किसी और राज्य में जा रहे थे। उन्होंने पूछा, ‘‘धन का स्रोत कौन-सा राज्य है-असम, बंगाल या झारखंड?'' पश्चिम बंगाल की मंत्री शशि पांजा ने इस मामले की विस्तृत जांच की मांग की है।
उन्होंने कहा, ‘‘ईडी अधिकारी, क्या आप इस मामले का संज्ञान ले रहे हैं या मामला इतना गंभीर नहीं है? झारखंड के तीन विधायक जिस कार में सवार थे, उसमें से बरामद नकदी को गिनने के लिए मशीनें मंगवाई गई हैं।'' सूत्रों ने बताया कि हावड़ा ग्रामीण पुलिस को पश्चिम बंगाल की सीआईडी से वाहन में नकदी ले जाए जाने की खुफिया सूचना मिली थी।
गौरतलब है कि 82 सदस्यीय विधानसभा में, कुछ अन्य पार्टियों के समर्थन के अलावा झारखंड मुक्ति मोर्चा (30) और कांग्रेस (17) के पास 47 सदस्य हैं। बहुमत के आंकड़े से थोड़ा अधिक. जबकि, विधानसभा वेबसाइट के अनुसार, भाजपा 25 सदस्यों के साथ मुख्य विपक्ष है।