मुंबई: मुंबई की एक विशेष अदालत ने शीना बोरा हत्याकांड के आरोपी पूर्व मीडिया कारोबारी पीटर मुखर्जी की अंतरिम जमानत अर्जी बृहस्पतिवार को खारिज कर दी। नवंबर, 2015 से जेल में बंद मुखर्जी की पिछले महीने एक निजी अस्पताल में बाईपास सर्जरी हुई थी। उसके बाद वह मेडिकल आधार पर अंतरिम जमानत की मांग करते हुए अदालत पहुंचे थे। उनके वकीलों ने दलील दी थी कि आर्थर रोड जेल की दशा अस्वास्थ्यकर है और बाईपास सर्जरी के उपरांत वापस वहीं भेजने से उन्हें संक्रमण होगा। हालांकि, अदालत को यह दलील हजम नहीं हुई।
विशेष सीबीआई न्यायाधीश जे सी जागदाले ने अपने आदेश में कहा कि मुखर्जी को एक अलग बिल्डिंग में रखा गया है। अदालत ने शराब कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ चल रही प्रत्यर्पण की कार्यवाही का हवाला देते हुए कहा, ''यह वही परिसर है जिसे भारत सरकार ने एक भगोड़े आरोपी के मामले में ब्रिटेन की एक अदालत में पेश किया है।"
अभियोजन पक्ष के अनुसार शीना बोरा (24) की अप्रैल, 2012 में उसकी मां और मुखर्जी की पत्नी इंद्राणी बोरा ने अपने ड्राइवर श्यामवर राय और पूर्व पति संजीव खन्ना की मदद से कथित रूप से हत्या कर दी थी। आग्नेयास्त्र रखने के मामले में गिरफ्तार किये गये राय ने इसका खुलासा किया था जिसके बाद अगस्त, 2015 में यह मामला सामने आया।