ताज़ा खबरें
किसान आंदोलन: एसकेएम नेता डल्लेवाल को पुलिस ने हिरासत मे लिया
कन्नौज में एक्सप्रेस-वे पर दुर्घटना, सैफई में तैनात पांच डॉक्टरों की मौत
संविधान ने देश में बदलाव लाने में उल्लेखनीय मदद की: सीजेआई खन्ना
दिल्ली-यूपी में बढ़ी ठंड, हिमालयी क्षेत्रों में बर्फबारी; तमिलनाडु में तूफान

नई दिल्ली: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण एनडीए सरकार के दूसरे कार्यकाल का पहला बजट पेश किया। एनडीए सरकार के दूसरे कार्यकाल का पहला बजट पेश करते हुए निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में कहा कि देश का हर व्यक्ति बदलाव महसूस कर रहा है। सरकार का प्रदूषण मुक्त देश बनाने का लक्ष्य है। बजट पेश करने के दौरान निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में कहा कि हमारे सामने निर्धारित लक्ष्य के साथ हम इस बात को लेकर दृढ़ संकल्प हैं कि हम भारत को उस ऊंचाई पर ले जाएंगे, जिसका वह हकदार है।

इससे पहले बजट पेश करने के लिए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर संसद पहुंचे। इस बार पुरानी परंपराओं को बदलते हुए बजट के दस्तावेजों को ब्रीफकेस में नहीं रखा है, बल्कि इसे एक लाल रंग की फाइल में रखा है। बजट के दस्तावेज लाल रंग के कपड़े से फोल्ड की गई फाइल में है। इस पर अशोक चिन्ह भी दिख रहा है। बजट पेश करने के लिए संसद भवन पहुंचने से पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की। उनके साथ वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर भी मौजूद थे।

इस बार नौकरीपेशा लोगों के लिए महत्वपूर्ण आयकर के मोर्चे पर कर स्लैब में बदलाव की उम्मीद की जा रही है। 2019-20 के अंतरिम बजट में 5 लाख रुपये तक की आय पर कर छूट देने की घोषणा की गयी थी।

यह बजट वैश्विक आर्थिक नरमी और मौसम विभाग के देश के कुछ भागों में बारिश सामान्य से कम रहने की आशंकाओं के बीच आ रहा है। पिछले वित्त वर्ष 2018-19 में आर्थिक वृद्धि दर पांच साल के न्यूनतम स्तर 6.8 तक गिर गई। चालू वित्त वर्ष के दौरान इसे फिर से सात प्रतिशत से ऊपर पहुंचाने का दारोमदार बजट पर होगा। देश के किसानों को इस बार आम बजट के पिटारे से कई सौगातें मिल सकती हैं। किसान क्रेडिट कार्ड पर एक लाख तक कर्ज को ब्याज मुक्त किया जा सकता है।

क्रेडिट कार्ड का दायरा बढ़ाते हुए किसानों के अलावा मछुआरों, पशुपालकों को देने की व्यवस्था हो सकती है। गिरते भूजल को देखते हुए बजट में सिंचाई परियोजनाओं के लिए धन आवंटन बढ़ाया जा सकता है। नौकरीपेशा लोगों के लिये महत्वपूर्ण आयकर के मोर्चे पर कर स्लैब में बदलाव की उम्मीद की जा रही है। 2019-20 के अंतरिम बजट में 5 लाख रुपये तक की आय पर कर छूट देने की घोषणा की गयी थी।

पिछले वित्त वर्ष 2018-19 में आर्थिक वृद्धि दर पांच साल के न्यूनतम स्तर 6.8 तक गिर गई। चालू वित्त वर्ष के दौरान इसे फिर से सात प्रतिशत से ऊपर पहुंचाने का दारोमदार बजट पर होगा।

  • देश
  • प्रदेश
  • आलेख