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वाशिंगटन: अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि भारत ने रूस के साथ अपनी साझेदारी को आवश्यकता वश किया है क्योंकि अमेरिका पहले ऐसा करने की स्थिति में नहीं था। उन्होंने बुधवार को सांसदों से कहा, "भारत से एक रिश्ता है जो दशकों पुराना है। भारत के लिए रूस अनिवार्य रूप से पसंद का भागीदार था, जब हम भागीदार बनने की स्थिति में नहीं थे।" ब्लिंकन ने कहा, "अब, हम उस प्रयास में निवेश कर रहे हैं। मुझे लगता है कि संयुक्त राज्य अमेरिका और भारत के बीच एक बढ़ती रणनीतिक अभिसरण है।"

एंटनी ब्लिंकन ने आगे कहा कि निश्चित रूप से, चीन इसका एक बड़ा हिस्सा है," ब्लिंकन ने सीनेट विनियोग उपसमिति ऑन स्टेट, फॉरेन ऑपरेशंस द्वारा कांग्रेस की सुनवाई के दौरान सीनेटर विलियम हैगर्टी के एक सवाल के जवाब में ये बात कही। दरअसल हेगर्टी ने भारत-अमेरिका संबंधों पर ब्लिंकन के विचार मांगे थे।

जिसके जवाब में ब्लिंकन ने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने "प्रधान मंत्री मोदी और भारत के नेतृत्व के साथ सीधे जुड़ने में काफी समय बिताया है।"

वाशिंगटन: वाशिंगटन में एक हिंदू संगठन ने धार्मिक स्वतंत्रता पर यूएससीआईआरएफ की रिपोर्ट पर अपनी नाराजगी जताई है। इस रिपोर्ट को लेकर संगठन ने कहा, "हिंदूफोबिक" आयोग के सदस्यों का काम है। जबकि मुस्लिम और ईसाई संगठनों ने यूएससीआईआरएफ की रिपोर्ट में की गई टिप्पणियों की सराहना की हैं। बता दें कि इस रिपोर्ट में राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन को धार्मिक स्वतंत्रता के दर्जे के संबंध में भारत, चीन, पाकिस्तान, अफगानिस्तान और 11 अन्य देशों को ‘‘खास चिंता वाले देशों'' की सूची में डालने की सिफारिश की गयी है। हालांकि, अमेरिकी सरकार इस सिफारिश को मानने के लिए बाध्य नहीं है।

हिंदूपैक्ट ने एक बयान में आरोप लगाया कि यूएससीआईआरएफ को "इंडोफोबिक और हिंदूफोबिक सदस्यों" ने अपने नियंत्रण में ले लिया है। वहीं अमेरिकन मुस्लिम इंस्टीट्यूशन (एएमआई) और उसके सहयोगी संगठनों ने यूएससीआईआरएफ की सिफारिश की सराहना करते हुए कहा कि भारत में धार्मिक स्वतंत्रता की स्थिति 2021 में "काफी खराब" हो गई है।

वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन अगले महीने भारत के प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करने वाले हैं। व्हाइट हाउस की ओर से ये जानकारी दी गई है। व्हाइट हाउस ने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन अगले महीने दक्षिण कोरिया और जापान की यात्रा करेंगे और टोक्यो में क्वाड शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे। इस दौरान वे भारत के प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात करेंगे। बाइडेन की दक्षिण कोरिया और जापान की यात्रा 20 से 24 मई को होनी है।

व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने बुधवार को कहा, "यह यात्रा स्वतंत्र और खुले हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए बाइडेन-हैरिस प्रशासन की ठोस प्रतिबद्धता को आगे बढ़ाएगी।" बाइडेन दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यूं सुक येओल और जापान की प्रधानमंत्री किशिदा फुमियो के साथ भी द्विपक्षीय बैठक करेंगे।

प्रेस सचिव जेन साकी ने आगे कहा कि नेता हमारे महत्वपूर्ण सुरक्षा संबंधों को गहरा करने, आर्थिक संबंधों को बढ़ाने और व्यावहारिक परिणाम देने के लिए हमारे घनिष्ठ सहयोग का विस्तार करने के अवसरों पर चर्चा करेंगे।

नई दिल्ली: ट्विटर को अधिग्रहण करने के बाद एलन मस्क ने मंगलवार को अपने 'फ्री स्पीच' वाले बयान पर एक ट्वीट किया और बताया कि 'फ्री स्पीच' से उनका क्या मतलब था। मस्क ने कहा कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता कानून से मेल खानी चाहिए और वे सेंसरशिप के खिलाफ हैं, जो कानून से बहुत आगे जाती है। एलन मस्क ने ट्वीट करते हुए लिखा, 'फ्री स्पीच' से मेरा सीधा मतलब है कि जो कानून से मेल खाती हो, मैं सेंसरशिप के खिलाफ हूं जो कानून से बहुत आगे जाती है। अगर लोगों को कम फ्री स्पीच चाहिए तो उन्हें सरकार से इसको लेकर कानून बनाने की मांग करनी चाहिए।

टेस्ला प्रमुख ने एक अन्य ट्वीट में अपने आलोचकों पर भी निशाना साधा और कहा कि 'फ्री स्पीच' से डरने वालों की चरम एंटीबॉडी प्रतिक्रिया ये सब कहती है।"

गौरतलब है कि दुनिया के सबसे धनी व्यक्ति एलन मस्क और ट्विटर के बीच सोमवार को डील फाइनल हुई थी। जानकारी के अनुसार मस्क ने ट्विटर को 44 अरब डॉलर (लगभग 3,36,927 करोड़ रुपये) में खरीदा है।

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