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वाशिंगटन: भारत अमेरिका का ‘सबसे बड़ा’ रणनीतिक साझेदार है जो अमेरिका में प्रौद्योगिकी और चिकित्सीय पेशों की प्रगति में ‘मददगार’ रहा है। वर्जीनिया के गवर्नर और शक्तिशाली नेशनल गवर्नर्स एसोसिएशन (एनजीए) के अध्यक्ष टेरी मैकऔलिफ ने कहा, ‘हम भारत-अमेरिका के बीच संबंधों में भारत की रणनीतिक महत्ता को स्पष्ट रूप से समझते हैं। हम 21वीं सदी की अर्थव्यवस्था के साथ तरक्की कर रहे हैं ,ऐसे में भारत हमारे प्रौद्योगिकी और चिकित्सीय पेशों के विकास में मदद के लिए काफी अहम रहा है।’ अमेरिका में भारत के राजदूत नवतेज सरना द्वारा एनजीए के सदस्यों के सम्मान में अपने आवास पर आयोजित स्वागत समारोह में मैकऔलिफ ने कहा, ‘हम भारत को ऐसे देश के रूप में पहचानते है जो अमेरिका का करीबी सामरिक सहयोगी है। इसलिए हम गवर्नर्स आज रात यहां हैं।’ रिकार्ड 25 राज्यों के गवर्नर अपनी पत्नियों के साथ इस समारोह में शामिल हुए जो पिछले कई वर्षों में इन राज्यों के साथ बनाये गये भारत के मजबूत संबंधों को दर्शाता है। हाल के वर्षों में राजदूत के आवास पर आयोजित ऐसे किसी समारोह में पहली बार बड़ी संख्या में लोग शामिल हुये। अमेरिकी कंपनियों से भारत की सफलता की कहानियों का हिस्सा बनने का आह्वान करते हुये सरना ने कहा कि भारत की तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था अमेरिकी सामानों की जोरदार मांग पैदा कर रही है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के बीच विनम्र और रचनात्मक बातचीत हुई।

सरना ने कहा, ‘एक दशक से ज्यादा समय तक एक राज्य के मुख्यमंत्री रह चुके प्रधानमंत्री ‘सहकारी संघवाद’ के पक्षधर हैं। भारतीय दूतावास और एनजीए के बीच यह सहकारी मंच हमारे दोनों देशों के राज्य स्तरीय प्रशासनों के बीच लाभकारी और सक्रिय सहयोग की उर्वर जमीन उपलब्ध कराता है।’

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