मुंबई: मुंबई ड्रग्स मामले में जांच कर रहे एनसीबी के अधिकारी समीर वानखेड़े को कानूनी सुरक्षा चाहिए। इसके लिए उन्होंने मुंबई पुलिस को 'डोंट -अरेस्ट-मी' का खत लिखा है। उन्होंने फंसाए जाने का डर जाहिर करते हुए कानूनी कार्रवाई से सुरक्षा मांगी है। इसके साथ ही नवाब मलिक ने आज समीर वानखेड़े का जन्म प्रमाणपत्र को लेकर ट्वीट किया है।
सूत्रों के मुताबिक, इसे लेकर समीर वानखेड़े ने कहा कि मुझे अपने जन्म प्रमाण पत्र को लेकर नवाब मलिक के एक ताजा ट्वीट के बारे में पता चला है। यह उन सभी चीजों को लाने का एक घटिया प्रयास है, जो इस सब से असंबंधित है। मेरी मां मुस्लिम थी तो क्या वह मेरी मृत मां को इस सब में लाना चाहते हैं? मेरी जाति और पृष्ठभूमि को सत्यापित करने के लिए वह, आप या कोई भी मेरे मूल स्थान पर जा सकता है और मेरे परदादा से मेरे वंश का सत्यापन कर सकता है, परन्तु उसे यह गंदगी इस तरह नहीं फैलानी चाहिए। मैं यह सब कानूनी रूप से लड़ूंगा और अदालत के बाहर इस पर ज्यादा टिप्पणी नहीं करना चाहता।
बता दें कि आर्यन ख़ान ड्रग्स मामले की जांच कर रहे मुंबई एनसीबी के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े को खुद को फंसाए जाने और गिरफ़्तारी का डर भी सता रहा है। उन्होंने रविवार को मुंबई पुलिस प्रमुख को एक चिट्ठी लिखी है। जिसमें खुद को फंसाए जाने के खिलाफ कानूनी कार्रवाई से सुरक्षा मांगी है। वानखेड़े ने मुंबई पुलिस प्रमुख को पत्र लिखकर कहा कि उनके खिलाफ सम्मानित हस्तियों द्वारा जेल और बर्ख़ास्तगी की धमकी जारी की गई है और अज्ञात व्यक्ति उन्हें झूठे मामले में फंसाने की योजना बना रहे हैं।
दरअसल, उनकी इस चिट्ठी को महाराष्ट्र सरकार के मंत्री नवाब मलिक की हालिया टिप्पणी के संदर्भ में देखा जा रहा है, जिसमें उन्होंने कहा था कि वानखेड़े एक साल के भीतर अपनी नौकरी खो देगा और हमारे पास उसके फर्जी मामलों के सबूत हैं। इस केस की जांच में लगे जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर आरोप अब खुद एनसीबी के एक गवाह प्रभाकर सईल ने लगाया है। प्रभाकर का कहना है कि उसने एक अन्य गवाह किरण गोसावी को 18 करोड़ रुपए की डील की बात करते सुना और ये भी सुना की इसमें से आठ करोड़ रुपए वानखेड़े को दिए जाएंगे। एनसीबी ने इन आरोपों को बेबुनियाद बताया है।