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नई दिल्ली: केंद्रीय कानून एवं न्याय मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा ने मंगलवार को कहा है कि मुसलमानों को आतंकवाद के झूठे मामलों में फंसाना चिंता की बात है। उन्होंने एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि मुस्लिम युवाओं के खिलाफ आतंक के झूठे केस लगाए जाने से वह चिंतित है और उन्हें बाद में सबूत ना होने की वजह से रिहा कर दिया जाता है। गौड़ा अलीगढ़ में मोदी सरकार की 2 साल की उपलब्धियों को बताने के लिए मनाए जा रहे 'विकास पर्व' में शामिल होने आए थे। गौड़ा ने इस मौके पर कहा कि झूठे आरोपों की जद में आने वाले समुदाय विशेष के लोगों को बचाने के लिए कानूनी संशोधनों पर विचार हो रहा है और इसमें बदलाव पर विचार किया जा रहा है। उन्होंने कहा, ‘आतंक के झूठे आरोपों के आधार पर मुस्लिम युवाओं को गिरफ्तार करना चिंता का विषय है। हम इसमें बदलाव लाने के बारे में सोच रहे है। लॉ कमीशन इन मामलों की कानूनी प्रक्रिया में बदलाव लाने के लिए रिपोर्ट तैयार कर रहा है। सुप्रीम कोर्ट के जज के नेतृत्व में यह रिपोर्ट तैयार की जा रही है। साथ ही कई कानून विशेषज्ञ भी रिपोर्ट को बनाने में मदद कर रहे हैं।’ कानून मंत्री ने यह बात उस वक्त की जब उनसे मुस्लिम युवाओं पर आतंके के झूठे आरोप लगाए जाने और उनकी रिहाई के बाद उनके सामने आने वाली समस्याओं के बारे में सवाल किया गया। गौरतलब है कि करीब एक हफ्ते पहले केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने भी कहा था कि सरकार आतंकी घटनाओं की जांच के दौरान पुलिस द्वारा सभी संदिग्धों पर आरोप लगाने के बजाय अधिक संवेदनशील तरीके अपनाए जाने के पक्ष में है।

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