अहमदाबाद: किसानों ने केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ आठ दिसंबर को भारत बंद करने का एलान किया है। इस पर गुजरात में 23 किसानों के समूहों ने गुजरात खेडुत संघर्ष समिति नाम से एक संगठन बनाकर आंदोलन संमर्थन किया है। इसको लेकर सोमवार को सीएम विजय रुपाणी ने कहा कि किसानों की तरफ से किए गए भारत बंद के एलान को गुजरात सपोर्ट नहीं करता है। अगर ऐसे में किसी ने जबरदस्ती दुकानों और अन्य प्रतिष्ठानों को बंद कराने की कोशिश की तो उसके खिलाफ सख्ती से कार्रवाई होगी।
यह किसान आंदोलन नहीं रहा
सीएम रुपाणी ने आगे कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार की ओर बनाए गए किसान कानूनों का जो विरोध चल रहा है, वह किसान आंदोलन नहीं रहा,वह राष्ट्रीय आंदोलन बन गया है, क्योंकि कल होने वाले भारत बंद कार्यक्रम में जितने भी बड़े राजनीतिक दल हैं, वो सभी कूद पड़े हैं।
कांग्रेस पर साधा निशाना
गुजरात सीएम विजय रुपाणी ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि मैं कांग्रेस से पूछना चाहता हूं कि आप अपने 2019 का मेनिफेस्टो खोलकर देखें, जिसमें आपने बताया था कि अगर कांग्रेस पार्टी सत्ता में आई तो वो एपीएमसी एक्ट को खत्म कर देगी। जब आज हमारी सरकार यह कर रही है तो राहुल गांधी किसानों को भड़का रहे हैं।
गुजरात में 23 किसानों ने बनाया संगठन
गुजरात में 23 किसानों के समूहों ने गुजरात खेडुत संघर्ष समिति के नाम एक संगठन बनाया है, जो केंद्र सरकार तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के आठ दिसंबर को भारत बंद के एलान का समर्थन करता है। खेडुत समाज के अध्यक्ष जयेश पटेल का कहना है, गुजरात खेडुत समाज और गुजरात किसान सभा की बैठक में संघठन बनाने का फैसला लिया है। जो किसानों के मंगलवार को भारत बंद के एलान का समर्थन करता है। हम पूरे गुजरात में 10 दिन प्रदर्शन करेंगे और इसके अगले दिन हम गांधीनगर में सत्याग्रह छावनी में किसान संसद आयोजित करेंगे। साथ ही 12 दिसंबर को किसान यहां से दिल्ली के लिए कूच करेंगे और वहां प्रदर्शनों में शामिल होंगे।