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गुवाहाटी: असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने सोमवार को कहा कि कोविड-19 टीकाकरण अनिवार्य नहीं है, लेकिन जो लोग वैक्सीन नहीं लगवाना चाहते, उन्हें घर पर रहना चाहिए। यहां मीडिया को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, 'कोविड -19 के खिलाफ टीकाकरण अनिवार्य नहीं है, लेकिन बिना वैक्सीन लगवाए हुए लोग बैठकों में शामिल नहीं हो सकते हैं, कार्यालयों और रेस्तरां में नहीं जा सकते। जो लोग वैक्सीन नहीं लगवाना चाहते, वे घर पर रह सकते हैं।'

उन्होंने आगे कहा कि केंद्र सरकार ने जो कहा है, वही राज्य सरकार भी कह रही है। उन्होंने कहा, 'असम में, यदि जरूरत होगी तो कोविड-19 टीकाकरण प्रमाण पत्र दिखाना होगा। हम जनविरोधी कार्य नहीं होने दे सकते। 'उन्होंने ये भी कहा कि गुवाहाटी में 100 फीसदी लोगों को पहली और दूसरी डोज लग चुकी है। इस बीच, असम सरकार ने रात के कर्फ्यू के समय को भी अगले आदेश तक रात 10 बजे से सुबह 6 बजे तक बदल दिया है। इससे पहले, असम में रात के कर्फ्यू का समय सुबह 11.30 बजे से शाम 6 बजे तक था।

कोरोना वायरस के मामलों में आई तेजी

बता दें, असम में सोमवार को कोरोना वायरस संक्रमण के अबतक के सबसे अधिक 6,982 नए मामले सामने आए और राज्य में संक्रमण के मामलों की कुल संख्या 6,53,717 हो गई है। स्वास्थ्य मंत्री केशव महंत ने बताया कि 64,919 नमूनों के परीक्षण के बाद इन नये मरीजों का पता चला। राज्य में संक्रमण दर 10.75 प्रतिशत पहुंच गई है। साथ ही कोरोना की वजह से 11 और लोगों की जान चली गई, जिसके बाद मृतकों की कुल संख्या 6,217 हो गई है।

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