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लखनऊ: यूपी में राज्यसभा की दस सीटों के लिए होने वाले चुनाव का सस्पेंस बुधवार को खत्म हो गया। एक प्रत्याशी का पर्चा खारिज होने से अब केवल दस ही प्रत्याशी बचे हैं। ऐसे में चुनाव नहीं कराना होगा। राज्यसभा में दावेदारी के लिए भाजपा की तरफ से आठ, सपा और बसपा की तरफ से एक-एक प्रत्याशी के अलावा निर्दल के रूप में प्रकाश बजाज ने नामांकन दाखिल कर दिया था। दस सीटों पर 11 प्रत्याशियों के नामांकन से मतदान की नौबत आ गई थी।

भाजपा के आठ और सपा के एक प्रत्याशी की जीत में तो कोई संशय नहीं था लेकिन निर्दल के रूप में उतरे प्रकाश बजाज के कारण बसपा प्रत्याशी रामजी गौतम की सीट फंसती नजर आ रही थी। इसी बीच बुधवार की दोपहर रामजी गौतम के पांच प्रस्तावकों ने अपना प्रस्ताव वापस लेने का आवेदन दे दिया। मतपत्रों की जांच के दौरान पीठासीन अधिकारी ने एक बार प्रस्ताव करने के बाद वापस लेने को औचित्यहीन माना। ऐसे में विधायकों की बगावत के बाद भी बसपा प्रत्याशी रामजी गौतम का पर्चा सही पाया गया। 

 

वहीं, निर्दल मैदान में उतरे सपा समर्थित प्रकाश बजाज का पर्चा खारिज कर दिया गया। बताया गया कि प्रस्तावक में सपा विधायक नवाब जान के स्थान पर नवाब शाह लिख दिया गया था। इस नाम का कोई विधायक सदन की सूची में न होने के कारण प्रकाश बजाज के प्रस्तावकों के नाम गलत पाए गए। लिहाजा, पर्चा खारिज कर दिया गया है। 

ये चुने गए निर्विरोध

राज्यसभा की दस सीटों पर हुए चुनाव में भाजपा के उम्मीदवार एवं केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप सिंह पुरी, भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री अरुण सिंह, पूर्व डीजीपी ब्रजलाल, नीरज शेखर, हरिद्वार दुबे, गीता शाक्य, सीमा द्विवेदी और बीएल वर्मा निर्विरोध निर्वाचित होना तय है। वहीं सपा के प्रमुख महासचिव रामगोपाल यादव भी निर्विरोध चुने जाएंगे। बुधवार को दिनभर चली मशक्कत के बाद बसपा के रामजी गौतम भी राज्यसभा जाना तय हो गया है।

 

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