अहमदाबाद: गुजरात में मौजूदा मुख्यमंत्री विजय रूपाणी को ही फिर से सीएम की कुर्सी सौंप दे दी गई है। हालांकि, गुजरात चुनाव में भाजपा का प्रदर्शन बहुत बेहतर नहीं होने के कारण रूपाणी की जगह किसी और नेता को मुख्यमंत्री बनाने की चर्चाएं थी लेकिन विधायक दल की बैठक में सर्वसम्मति से विजय रूपाणी के नाम पर मुहर लगाई गई। नितिन पटेल को डिप्टी सीएम चुना गया है।
केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली और सरोज पांडे पर्यवेक्षक के तौर पर गुजरात गए थे। भाजपा ने अपने नवनिर्वाचित विधायकों की गांधीनगर में आज बैठक बुलाई थी। इस दौरान प्रदेश भाजपा प्रभारी भूपेंद्र यादव रहे। मुख्यमंत्री बनाए जाने की घोषणा के बाद प्रतिक्रिया देते हुए रूपाणी ने कहा, "गुजरात ले लोगों ने हमें जनादेश दिया है। यह बहुत बड़ी जीत है। हम पर 27 वर्षों तक भरोसा बनाए रखा।"
उधर, उपमुख्यमंत्री बनने वाले नितिन पटेल ने कहा, "मैं गुजरात की जनता को विश्वास दिलाना चाहता हूं कि मैं और विजय भाई अपने पार्टी के सदस्यों के सहयोग से गुजरात के लोगों की मदद पहले की तरह करते रहेंगे।" इससे पहले उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल और अन्य मंत्रियों के साथ रुपाणी ने गांधीनगर में राज्यपाल से मिलकर मंत्रिमंडल का इस्तीफा सौंप दिया था।
हालांकि नई सरकार के गठन तक वह कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहेंगे। हाल में हुए 182 सदस्यीय विधानसभा के चुनाव में भाजपा को 99, कांग्रेस को 77 और छह सीटें अन्य ने जीतीं।
उधर, शानदार बहुमत के साथ हिमाचल प्रदेश में सत्ता में वापसी करने वाली भाजपा में राज्य के मुख्यमंत्री के चुनाव को लेकर माथापच्ची जारी है। केंद्रीय पर्यवेक्षक निर्मला सीतारमण और नरेन्द्र सिंह तोमर आरएसएस नेताओं के साथ शिमला बैठक कर रहे हैं, ताकि एक नाम पर सहमति बन सके। बैठक के बाहर धूमल और जयराम ठाकुर के समर्थकों के बीच नारेबाजी भी हुई।
सूत्रों के अनुसार, पांच बार के विधायक जयराम ठाकुर का नाम सबसे आगे चल रहा है। हालांकि पार्टी के सामने विकट स्थिति यह है कि धूमल गुट जयराम ठाकुर को मुख्यमंत्री बनाए जाने से सहमत नहीं है। ऐसे में पार्टी धूमल को मनाने में जुटी हुई है। सूत्र बता रहे हैं कि पार्टी धूमल को राज्यसभा भेज सकती है या उन्हें राज्यपाल भी बनाया जा सकता है। इसी बीच जयराम ठाकुर के धूमल से भी मुलाकात की बात सामने आ रही है।